डोनाल्ड ट्रंप ने कहा, पाकिस्तान से निपटने के लिए भारत की लेंगे मदद
ट्रंप ने कहा, हम पाकिस्तान को मदद देते हैं और धन भी देते हैं। ऐसा इसलिए करते हैं क्योंकि वह गलत दिशा में न चला जाए। अगर वह गलत दिशा में चला गया तो विपदा खड़ी हो जाएगी।
वाशिंगटन,(पीटीआई)। अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव में रिपब्लिकन पार्टी की उम्मीदवारी के लिए सबसे आगे चल रहे डोनाल्ड ट्रंप ने पाकिस्तान को अस्थिर परमाणु हथियार वाले देश की संज्ञा दी है। उन्होंने कहा कि यह देश एक समस्या है और इससे निपटने में वह भारत की मदद लेंगे। विदेश नीति पर भाषण के दौरान ट्रंप ने यह बात एक सवाल के जवाब में कही।
सवाल था कि वह पाकिस्तान जैसे देश से कैसे निपटेंगे, जो अमेरिका के सामने अक्सर अपना दोहरा चरित्र प्रस्तुत करता है।1प्रश्नकर्ता ने पूछा, हम उसे पैसा देते हैं और वह हमें नकली चेहरा दिखाता है। ट्रंप ने कहा, समस्या पाकिस्तान के साथ है। जहां पर परमाणु हथियार हैं। यही असली समस्या है। यह अकेली सबसे बड़ी समस्या है। वह अकेला ऐसा देश नहीं है जिसके पास परमाणु हथियार हैं। नौ देश हैं जिनके पास परमाणु हथियार हैं। लेकिन पाकिस्तान अस्थिरता का शिकार है। हम उसे पूरी तरह से अस्थिर होते नहीं देख सकते। हम उससे अच्छे संबंध चाहते हैं।
ट्रंप ने कहा, हम पाकिस्तान को मदद देते हैं और धन भी देते हैं। ऐसा इसलिए करते हैं क्योंकि वह गलत दिशा में न चला जाए। अगर वह गलत दिशा में चला गया तो विपदा खड़ी हो जाएगी। ट्रंप ने यह स्पष्ट नहीं किया कि वह विपदा क्या होगी।रिपब्लिकन नेता ने कहा, दूसरी तरफ भारत समेत अन्य कई देश हैं। जिन्हें अमेरिका मदद और बहुत ज्यादा धन देता है, कई से हमें बदले में कुछ मिलता भी नहीं है। बावजूद इसके हमें उनसे कोई शिकायत नहीं है।
ट्रंप का यह बयान उसी दिन आया है जब अमेरिकी सांसदों ने पाकिस्तान से अपेक्षित नतीजे न आने के बावजूद उसे अरबों डॉलर की सहायता दिए जाने पर ओबामा प्रशासन से सवाल पूछा है। संसदीय समिति के समक्ष सांसद मैट सैलमन ने कहा, वल्र्ड ट्रेड सेंटर पर हुए हमले के बाद पाकिस्तान को आतंकवाद से लड़ाई के नाम पर 25 अरब डॉलर (1.66 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा) से ज्यादा की अमेरिकी मदद मिल चुकी है। इसके बावजूद वहां पर आतंकी संगठन लगातार सक्रिय हैं और आतंकी भारत में घुसकर हमले करते हैं।
अमेरिका फस्र्ट..
रिपब्लिकन पार्टी के नेता डोनाल्ड ट्रंप ने साफ कर दिया कि वह राष्ट्रपति बने तो उनके लिए अमेरिका का हित सवरेपरि होगा और कोई अमेरिकी उनके लिए सबसे पहला प्रिय व्यक्ति होगा। विदेश नीति की दृष्टि से महत्वपूर्ण ट्रंप के भाषण में अमेरिका की सुरक्षा को सबसे ऊपर स्थान दिया गया है। ट्रंप ने चीन को उत्तर कोरिया के परमाणु कार्यक्रम पर रोक लगाने के लिए कहा। चेतावनी दी कि अगर चीन ऐसा नहीं करता है तो अमेरिका उसके साथ व्यापार में कटौती करेगा। ट्रंप ने राष्ट्रपति बराक ओबामा और डेमोक्रेटिक पार्टी की नेता हिलेरी क्लिंटन की विदेश नीति संबंधी सोच की निंदा की।