हम मजबूत लोकतंत्र के रूप में उभरे हैं
राष्ट्रीय हित के नाम पर ससद मे सभी राजनीतिक दलो के एकजुट होने की बात की ओर ध्यान दिलाते हुए राज्यसभा मे विपक्ष के नेता अरुण जेटली ने कहा कि पिछले 60 साल के दौरान हमने न केवल अपने लोकतत्र को बरकरार रखा है बल्कि एक ताकत बनकर उभरे है।
नई दिल्ली। राष्ट्रीय हित के नाम पर संसद में सभी राजनीतिक दलों के एकजुट होने की बात की ओर ध्यान दिलाते हुए राज्यसभा में विपक्ष के नेता अरुण जेटली ने कहा कि पिछले 60 साल के दौरान हमने न केवल अपने लोकतंत्र को बरकरार रखा है बल्कि एक ताकत बनकर उभरे हैं।
लोकसभा की पहली बैठक के 60 वर्ष पूरे होने के अवसर पर संसद का आज विशेष सत्र बुलाने पर राज्यसभा में जेटली ने कहा कि 60 वर्ष किसी राष्ट्र के जीवन में समुद्र की एक बूंद की तरह होते हैं लेकिन हमारे संविधान निर्माताओं ने जो दिशा तय की, हम उस दौरान उस ओर मजबूती से बढ़े हैं। उन्होंने कहा कि हमने देश की एकता और अखंडता को बरकरार रखने का मुख्य मकसद को हासिल किया है।
उन्होंने कहा कि पिछले 60 साल के दौरान कई देशों में लोकतंत्र ढह गया और वहां राजतंत्र या तानाशाही आ गई। लेकिन हमारे देश में लोकतंत्र मजबूत होता गया। हालांकि इस बीच हमने संभवत: सबसे अधिक युद्धों का सामना किया, प्राकृतिक आपदाएं झेलीं और सीमा पार के आतंकवाद का सामना किया।
भाजपा नेता ने कहा कि जब भी देश हित की बात आती है तो हम एक स्वर में बोलते हैं और इसी कारण हम एक ताकत बनकर उभरे हैं। उन्होंने कहा कि दिसंबर 2001 में संसद पर हुआ हमला भी एक ऐसा ही अवसर था। उन्होंने संसद की रक्षा करने के लिए अपनी जान गंवाने वाले सुरक्षाकर्मियों और अन्य लोगों को भी श्रद्धांजलि दी।
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