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अंतरिक्ष यात्री के गलत नंबर डायल करने से क्यों उड़ गए नासा में सबके होश

अमेरिकी स्पेस एजेंसी नासा में उस समय हड़कंप मच गया जब एक अंतिरिक्ष यात्री ने गलत नंबर मिला दिया, आखिर क्या था उस गलत काॅल में।

By Molly SethEdited By: Published: Mon, 07 Jan 2019 11:49 AM (IST)Updated: Mon, 07 Jan 2019 11:49 AM (IST)
अंतरिक्ष यात्री के गलत नंबर डायल करने से क्यों उड़ गए नासा में सबके होश
अंतरिक्ष यात्री के गलत नंबर डायल करने से क्यों उड़ गए नासा में सबके होश

बरपा हंगामा

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अंतरिक्ष की कक्षा में भ्रमण कर रहे एक डच अंतरिक्ष यात्री ने वहां से काॅल लगार्इ आैर उस एक फोन ने स्पेस एजेंसी नासा के ह्यूस्‍टन बेस पर हंगामा खड़ा कर दिया। वहां मौजूद वैज्ञानिकों के होश उड़ गए, अब आप सोच रहे होंगे कि आखिर उस एक फोन में एेसा क्या था। दरसल काॅल में कुछ नहीं था उस नंबर में था क्योंकि वो नासा का आपात कालीन नंबर था। इस नंबर पर फोन आने का अर्थ होता है कि अंतरिक्ष यान या वहां की परिस्थितियों में कोर्इ परेशानी खड़ी हो गर्इ है। जाहिर है इस नंबर से फोन आते ही हड़बड़ी मच गर्इ आैर सभी लोग परेशानी की खोजबीन में लग लगए। बाद में हुआ खुलाासा जिसने उनकी सांसों को काबू में किया।

क्या था मामला

दरसल जब अंतरिक्ष से इमरजेंसी कॉल आने लगी आैर वैज्ञानिकों को लगा कि स्‍पेसशिप में कुछ गड़बड़ी है और वे सभी वैज्ञानिक गड़बड़ी को ढूंढने में लग गए, तब पता चला कि वास्तव में एेसी कोर्इ समस्या है ही नहीं ये सारा मामला गलत नंबर की डायलिंग के चलते बिगड़ा है। विमान में मौजूद नीदरलैंड के अंतरिक्ष यात्री आंद्रे कुईपर सैटेलाइट के जरिए फोन करना चाह रहे थे। इसके लिए उन्हें निर्धारित अंक 9011 डायल करने थे पर संभवत गुरुत्वाकर्षण या किसी अन्य दिक्कत के चलते बीच से जीरो गायब हो गया आैर काॅल 911 पर चली गर्इ जो आपातकालीन नंबर है। जिसके चलते सारी हलचल हुर्इ

मुझसे गलती हो गर्इ

फाॅक्स समाचार के अनुसार अंतरिक्ष यात्री कुईपर ने स्वीकार किया कि उनसे गलती हो गर्इ। अपनी बात स्पष्ट करते हुए उन्होंने बताया कि अंतरिक्ष से सैटेलाइट के जरिए कॉल करने के लिए एक स्‍पेशल कोड लगाना होता है। इसके लिए सबसे पहले 9 दबाना होता है फिर कोड 011 लगाना होता है। उन्होंने जब सैटेलाइट के जरिए फोन करना चाहा तो शायद गुरुत्‍वाकर्षण की गैरमौजूदगी की कारण जीरो नहीं दबा और 9011 की जगह 911 पर कॉल हो गई। इस नंबर पर फोन आने के कारण नासा के ह्यूस्‍टन बेस में खलबली मच गई।

र्इमेल से मिली जानकारी

जब इमरजेंसी कॉल के बाद जांच करने पर भी वैज्ञानिकों को स्‍पेस स्‍टेशन में कोर्इ गड़बड़ काफी देर तक नहीं मिली तो उन्होंने आंद्रे को र्इमेल भेजी आैर बताया कि किसी भी परेशानी की जानकारी नहीं मिली है। मेल से हैरान आंद्रे ने जब पता किया कि क्या हुआ तो उन्हें अपनी गलती का पता चला आैर उन्होंने बेस स्टेशन से माफी मांगी कि उनसे गलती से ये नंबर मिला है। इसके बाद नासा ने राहत की सांस ली। हांलाकि कुईपर दो बार स्पेस मिशन पर कुल 203 दिन बिता चुके हैं आैर उन्हें नंबरों की जानकारी है पर अनजाने में उनसे ये भूल हो गर्इ थी। 


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