जी 20 सम्मेलन में पर्यावरण सुधार पर भी होगी गंभीर चर्चा, पर्यावरण के अनुकूल जीवनशैली के लाभ बताए जाएंगे
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने पर्यावरण के अनुकूल जीवनशैली अपनाने के लिए लाइफस्टाइल फार एन्वायरमेंट मिशन सुझाया है। पर्यावरण सुधार की चर्चा के दौरान जरूरतमंद विकासशील देशों को धन और तकनीक की मदद देने का भी अनुरोध होगा। ये विषय संयुक्त राष्ट्र द्वारा आयोजित पर्यावरण सम्मेलनों में भी उठते रहे हैं।
नई दिल्ली, पीटीआई। भू गुणवत्ता में क्षरण, जैव विविधता में कमी, समुद्र में बढ़ता प्रदूषण, संसाधनों का अति उपयोग और तज्य पदार्थों का अवशोषण कम होने पर जी 20 देशों के सम्मेलन में चर्चा होगी। यह जानकारी पर्यावरण मंत्रालय ने दी है। केंद्रीय पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव ने कहा, जी 20 सम्मेलन में पर्यावरण के अनुकूल जीवनशैली का प्रचार होगा और उसके लाभ बताए जाएंगे। तरक्की की रफ्तार बनाए रखते हुए पर्यावरण के अनुकूल कार्यों की रूपरेखा प्रस्तुत की जाएगी। पर्यावरण सुधार के तरीके स्वीकार करने के लिए समूह के देशों के बीच सहमति बनाने की कोशिश की जाएगी।
विकासशील देशों को धन और तकनीक की मदद देने का भी अनुरोध
उल्लेखनीय है कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने पर्यावरण के अनुकूल जीवनशैली अपनाने के लिए लाइफस्टाइल फार एन्वायरमेंट मिशन सुझाया है। पर्यावरण सुधार की चर्चा के दौरान जरूरतमंद विकासशील देशों को धन और तकनीक की मदद देने का भी अनुरोध होगा।
ये विषय संयुक्त राष्ट्र द्वारा आयोजित पर्यावरण सम्मेलनों में भी उठते रहे हैं। जी 20 के मंच से भी इनके लिए सहमति बनाने की कोशिश होगी। उल्लेखनीय है कि जी 20 दुनिया के औद्योगिक रूप से 20 सबसे संपन्न राष्ट्रों का समूह है।
इन्हीं राष्ट्रों से विकासशील देशों को धन और तकनीक की मदद मिलने की अपेक्षा है। पर्यावरण मंत्रालय के अनुसार सम्मेलन के दौरान 'ओशियंस 20 डायलाग' का सिलसिला शुरू करने की भी कोशिश होगी। इसके जरिये समुद्री पर्यावरण के प्रबंधन पर चर्चा होगी। इसके जरिये समुद्रों में बढ़ रहे प्रदूषण को कम करने के उपाय अमल में लाए जाएंगे। इससे पृथ्वी के तापमान को कम करने में भी मदद मिलेगी।
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