Move to Jagran APP

बेहिसाब है दो प्रोस्थेटिक पांव और एक हाथ वाले तिंकेश कौशिक का जज्बा, लोग बुलाते हैं 'विल'

26 वर्षीय तिंकेश कौशिक के चेहरे की मुस्कुराहट कहीं से आभास नहीं दिलाती कि उनका जीवन संघर्षों से भरा होगा। उनकी इच्छाशक्ति को देखते हुए ही लोग उन्हें विल कहकर पुकारते हैं।

By Vinay TiwariEdited By: Published: Sun, 12 Jul 2020 01:56 PM (IST)Updated: Sun, 12 Jul 2020 05:14 PM (IST)
बेहिसाब है दो प्रोस्थेटिक पांव और एक हाथ वाले तिंकेश कौशिक का जज्बा, लोग बुलाते हैं 'विल'
बेहिसाब है दो प्रोस्थेटिक पांव और एक हाथ वाले तिंकेश कौशिक का जज्बा, लोग बुलाते हैं 'विल'

नई दिल्ली [अंशु सिंह]। 26 वर्षीय तिंकेश कौशिक के चेहरे की मुस्कुराहट कहीं से आभास नहीं दिलाती कि उनका जीवन संघर्षों से भरा होगा। दो प्रोस्थेटिक पांव और एक हाथ (90 प्रतिशत दिव्यांग) के सहारे वे मल्टी एडवेंचर स्पोर्ट्स चैंपियन बनेंगे। बंजी जंपिंग में एशियन रिकॉर्ड बनाएंगे।

loksabha election banner

साइकलिंग, तैराकी एवं व्हाइट वॉटर राफ्टिंग करेंगे। लेकिन उन्होंने सब किया और आज एक लाइफ कोच के साथ फिटनेस ट्रेनर के रूप में मनमर्जी की जिंदगी जी रहे हैं। लोग प्यार से उन्हें ‘विल’ (इच्छाशक्ति) कहकर पुकारते हैं।

तिंकेश को अपने जीवन से कोई शिकवा या शिकायत नहीं है। न ही किसी को कुछ साबित करके दिखाने की चाहत। वे स्वयं से संतुष्ट हैं, क्योंकि अपने मन का कर पा रहे हैं। उन्हें खुद को नित नई चुनौतियां देना पसंद है। जैसे इन दिनों जब जिम आदि बंद हैं, तो उन्होंने योग सीखने का फैसला लिया है। कहते हैं, ‘मेरे लिए ये निश्चित तौर पर एक चुनौती होगी। लेकिन इसके माध्यम से मैं समाज को संदेश देना चाहता हूं कि फिजिकली चैलेंज्ड क्या नहीं कर सकते। 

अगर लॉकडाउन नहीं होता, तो मैं एवरेस्ट बेस कैंप कर चुका होता। आगे सब ठीक रहेगा, तो अमेरिका के सबसे ऊंचे स्थल से बंजी जंपिंग करनी है।' क्या डर नहीं लगता, पूछने पर तिंकेश बताते हैं, ‘डर किसे नहीं लगता। लेकिन हमें मन को सकारात्मक संकल्प देने होते हैं। जैसी सोच, वैसा नतीजा। कामयाबी भी तभी मिलती है।' दरअसल, तिंकेश को सीखते रहना और खुद को फिट रखना पसंद है। अभी जिम नहीं जा सकते, तो घर पर ही बॉडी वेट ट्रेनिंग कर लेते हैं। इसके अलावा, लोगों की मांग के अनुसार उन्हें ऑनलाइन ट्रेनिंग देते हैं।

नौ साल की उम्र में लगा बिजली का झटका 

2002 की घटना है। नौ साल के तिंकेश को गांव में पतंगबाजी करते हुए 11 हजार वोल्ट का करंट लगा। उनकी जिंदगी का सबसे बड़ा झटका, जो कल्पना से परे था। उन्हें एक हाथ और दोनों पांव गंवाने पड़े। छह महीने अस्पताल में रहने और लंबे इलाज के पश्चात् आखिरकार वे एक सामान्य दिनचर्या जीने, पढ़ाई-लिखाई पूरी करने के लिए तैयार हुए। तिंकेश बताते हैं, ‘मैं हरियाणा के झज्जर जिले से हूं। वहीं से कॉमर्स में ग्रेजुएशन किया है। परिवार वाले चाहते थे कि सरकारी नौकरी करूं। 

कई जगह कोशिश की। कहीं बात नहीं बनी, तो 2018 में पुणे शिफ्ट कर गया।' वहां तमाम सर्टिफिकेशंस हासिल करने के बाद वह एक जिम में फिटनेस कोच के तौर पर काम करने लगे। एम्यूटीज को गाइड करते हैं कि कैसे वे खुद को फिट रख सकते हैं। वे आगे बताते हैं, ‘मैं काम कर रहा था। लेकिन दिल में एक ख्वाहिश थी कि कुछ अलग करना है। इसलिए एडवेंचर स्पोर्ट्स ट्राई करने का निर्णय लिया।

2018 में मुझे नेपाल में बंजी जंपिंग का मौका मिला और मैं दक्षिण एशिया का पहला ट्रिपल एंप्यूटी बना जिसने कैनयन स्विंग साइट से यह कारनामा कर दिखाया था। वहां मैंने आइस स्केटिंग किया। इसके अलावा, कर्नाटक में व्हाइट वॉटर राफ्टिंग का अपना रोमांच था।' 

जयपुर फुट की मदद से दौड़ा हाफ मैराथन 

तिंकेश पहले जयपुर फुट की मदद से ही चल पाते थे। 2016 में पहली बार दिल्ली हाफ मैराथन और एक अन्य मैराथन उन्होंने इसी फुट के सहारे दौड़ा। इस तरह उनके स्पोर्टिंग करियर की शुरुआत भी हुई। वे बताते हैं,‘स्पॉन्सरशिप मिलने के पश्चात् ही मुझे नए पैर (प्रोस्थेटिक लेग्स) मिले। 2017 में मैंने उनकी मदद से ही मैराथन में हिस्सा लिया। साथ ही, हैदराबाद के एक फाउंडेशन की मदद से साल भर साइक्लिंग एवं स्वीमिंग की ट्रेनिंग ली।

हालांकि किन्हीं कारणों से साइक्लिंग छोड़नी पड़ी। लेकिन कई लोग मेरी प्रेरणा रहे और करीबी भी। उन्होंने मेरा पूरा सपोर्ट किया। मैं जो करना चाहता था, वह कर पाया।' तिंकेश की मानें, तो जिंदगी के फैसले आपको खुद ही लेने पड़ते हैं। इसके लिए स्वयं पर निश्चय रखना पड़ता है। जोखिम तो आते ही हैं, लेकिन जब कुछ करने का ठान लिया, तो उसमें खुद का साहस ही काम आता है। वैसे, पैरेंट्स के सहयोग के बिना कुछ करना पाना संभव नहीं था। उनके साथ ने जीने की उम्मीद बांधे रखी।  


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.