जिस अस्पताल में जन्मे थे एटीएम के आविष्कारक, वहां पहली बार लगाई गई मशीन
अस्पताल के स्वास्थ्य अधीक्षक डॉक्टर रोकेन नोगंरुम ने समाचार एजेंसी पीटीआई को बताया कि एटीएम लगाने के लिए एसबीआइ (स्टेट बैक ऑफ इंडिया) को अर्जी दी गई थी जिसके बाद सात अगस्त को अस्पताल में एटीएम मशीन लगाई गई।
शिलांग, पीटीआई। मेघालय के एक अस्पताल, जिसमें 1925 में ऑटोमेटेड टेलर मशीन यानी एटीएम (automated teller machine, ATM) के आविष्कारक का जन्म हुआ था, वहां पहली बार एटीएम मशीन लगाई गई है। अस्पताल के अधिकारी ने मंगलवार को इस बात की जानकारी दी है। एटीएम के आविष्कारक जॉन एड्रियेन शेफर्ड बैरन (John Adrian Shepherd-Barron) थे।
इस अस्पताल का नाम डॉक्टर एच रॉबर्ट्स हॉस्पिटल है, जिसकी स्थापना को अगले साल 100 वर्ष पूरे हो जाएंगे। अस्पताल के स्वास्थ्य अधीक्षक डॉक्टर रोकेन नोगंरुम ने समाचार एजेंसी पीटीआई को बताया कि एटीएम लगाने के लिए एसबीआइ (स्टेट बैंक ऑफ इंडिया) को अर्जी दी गई थी, जिसके बाद सात अगस्त को अस्पताल में एटीएम मशीन लगाई गई। उन्होंने कहा कि अगले साल अस्पताल की स्थापना को 100 साल पूरे होने से पहले एटीएम मशीन लगाई गई है।
नोंगरुम ने कहा कि एटीएम से मरीजों और कर्मचारियों को काफी मदद मिलेगी। अस्पताल ने एटीएम लगाने के लिए बैंक का आभार भी व्यक्त किया है। अधिकारी ने कहा, 'हमारे अनुरोध पर विचार करने के लिए हम बैंक के अधिकारियों का आभार व्यक्त करते हैं। यह एटीएम इसलिए खास है क्योंकि 96 साल पहले इसी अस्पताल में एटीएम के आविष्कारक का जन्म हुआ था।'
गौरतलब है कि दुनिया में पहली एटीएम मशीन लंदन में साल 1967 में लगाई गई थी और लोकप्रिय टीवी शो के सितारे रेग वार्नी एटीएम से नकदी निकालने वाले पहले व्यक्ति थे। शेफर्ड बैरन को 1965 में एटीएम बनाने का विचार आया था उन्हें चॉकलेट बार की मशीन देखने के बाद यह ख्याल आया था। भारत में जन्मे शेफर्ड बैरन का 2010 में स्कॉटलैंड के एक अस्पताल में निधन हो गया था।
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