राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए खतरा है गूगल का मैपिंग कांटेस्ट
इंटरनेट सर्च इंजन गूगल ने देश के कोने-कोने का नक्शा अपनी साइट पर अपलोड कर अमेरिका स्थित सर्वर में सुरक्षित कर लिया है। देश की सुरक्षा से खिलवाड़ करने वाला यह कार्य अमेरिकी सर्च इंजन ने 12 फरवरी से 25 मार्च के बीच मैपिंग (नक्शा) कांटेस्ट मैपाथॉन का आयोजन कर किया है। देश की सर्वोच्च नक्शा एजेंसी सर्वे ऑफ इं
नई दिल्ली। इंटरनेट सर्च इंजन गूगल ने देश के कोने-कोने का नक्शा अपनी साइट पर अपलोड कर अमेरिका स्थित सर्वर में सुरक्षित कर लिया है। देश की सुरक्षा से खिलवाड़ करने वाला यह कार्य अमेरिकी सर्च इंजन ने 12 फरवरी से 25 मार्च के बीच मैपिंग (नक्शा) कांटेस्ट मैपाथॉन का आयोजन कर किया है। देश की सर्वोच्च नक्शा एजेंसी सर्वे ऑफ इंडिया ने गूगल की इस हरकत को राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए बड़ा खतरा बताया है। उसने सर्च इंजन के खिलाफ दिल्ली पुलिस से शिकायत की है। पुलिस उपायुक्त छाया शर्मा के अनुसार, सर्वे ऑफ इंडिया की 25 मार्च की शिकायत पर हमने जांच शुरू कर दी है। भारत में गूगल की प्रवक्ता परोमा रायचौधरी ने कानून का उल्लंघन करने संबंधी आरोपों से इन्कार किया है।
सर्वे ऑफ इंडिया के एक वरिष्ठ अधिकारी आरसी पाधी का कहना है कि विभाग की ओर से सबसे पहले गूगल को पत्र लिखकर मैपाथॉन के आयोजन को राष्ट्रीय नक्शा नीति के प्रावधानों के विरुद्ध बताया गया था। उससे कहा गया था कि मैपिंग कांटेस्ट राष्ट्रीय सुरक्षा से खिलवाड़ करने वाली प्रतियोगिता है। इससे देश की सुरक्षा खतरे में पड़ सकती है। अधिकारी के मुताबिक, जब गूगल ने हमारी आपत्तियों पर ध्यान नहीं दिया तो पुलिस में शिकायत की गई। उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय सुरक्षा के साथ किसी भी कीमत पर खिलवाड़ नहीं किया जा सकता है। गूगल पर अपलोड किए गए कुछ नक्शे बेहद संवेदनशील हैं। हम इसकी अनदेखी नहीं कर सकते। पुलिस उपायुक्त छाया शर्मा ने बताया कि सर्वे ऑफ इंडिया की गूगल के खिलाफ शिकायत की जांच पुलिस के साइबर सेल के हवाले की जा रही है। उसकी रिपोर्ट आने के बाद ही सर्च इंजन के खिलाफ केस दर्ज किया जाएगा। इस पर गूगल की प्रवक्ता सुश्री रायचौधरी का कहना है कि हम राष्ट्रीय हित और देश की सुरक्षा के मसले को काफी गंभीरता से लेते हैं। मैपाथॉन कानून की कसौटी पर पूरी तरह से खरा उतरता है। हमने इसके जरिये स्थानीय जानकारियों तक सब की पहुंच बढ़ाने की कोशिश की है। प्रवक्ता के मुताबिक, सर्वे ऑफ इंडिया की शिकायत के बाबत पुलिस ने अभी तक सर्च इंजन से संपर्क नहीं साधा है। उन्होंने बताया कि सर्च इंजन ने अपनी मैप मेकर सर्विस के बारे में पूरा ब्योरा विज्ञान एवं तकनीक मंत्रालय समेत सर्वेयर जनरल ऑफ इंडिया को पहले ही दे दिया था।
गूगल द्वारा 12 फरवरी से 25 मार्च के बीच मैपाथॉन प्रतियोगिता का आयोजन किया गया था। इसमें इंटरनेट उपभोक्ताओं से सर्च इंजन के मैप मेकर सर्विस के लिए अपने-अपने क्षेत्र का नक्शा भेजने के लिए कहा गया था। इसका मकसद स्थान विशेष के नक्शे को सबके लिए सुलभ करना बताया गया था। गूगल ने 2008 में इस सर्विस को भारत में शुरू किया था। दरअसल सर्च इंजन के नक्शा प्रतियोगिता को लेकर शुरू से ही विवाद रहा। नक्शों के दुरुपयोग को लेकर मार्च में ही अमेरिका में गूगल पर करीब 38 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया गया। 2011 में बेंगलूर पुलिस ने सर्च इंजन से अपने साइट पर से शहर के एक महत्वपूर्ण सड़क का नक्शा हटाने का आदेश दिया था। भाजपा नेता तरूण विजय ने भी इसको लेकर सरकार से विरोध दर्ज कराया था और गूगल के खिलाफ कार्रवाई की मांग की थी। उनका कहना था कि भारत के कोने-कोने का नक्शा अमेरिका स्थित सर्च इंजन के सर्वर पर मौजूद रहना बेहद चिंता का विषय है।
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