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    दिल्ली की जहरीली हवा पर सुप्रीम कोर्ट सख्त, हरियाणा और पंजाब से मांगा पराली पर एक्शन से जुड़ी रिपोर्ट

    Updated: Wed, 12 Nov 2025 08:30 PM (IST)

    दिल्ली-एनसीआर में बढ़ते वायु प्रदूषण पर सुप्रीम कोर्ट ने चिंता जताई है। कोर्ट ने पंजाब और हरियाणा से पराली जलाने पर की गई कार्रवाई का ब्योरा मांगा है। याचिकाकर्ता के वकील ने दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण और निर्माण कार्यों का मुद्दा उठाया, जिस पर कोर्ट ने कार्रवाई का आश्वासन दिया। मामले की अगली सुनवाई सोमवार को होगी।

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    दिल्ली में प्रदूषण: पराली जलाने पर सुप्रीम कोर्ट सख्त, मांगा जवाब

    जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। दिल्ली एनसीआर में बढ़ते वायु प्रदूषण और जहरीली होती हवा पर संज्ञान लेते हुए सुप्रीम कोर्ट ने पंजाब और हरियाणा से पराली जलाने पर की गई कार्रवाई का ब्योरा मांगा है। मामले पर सोमवार को फिर सुनवाई को होगी।

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    ये आदेश बुधवार को प्रधान न्यायाधीश बीआर गवई की अध्यक्षता वाली पीठ ने दिल्ली एनसीआर के वायु प्रदूषण मामले में दिए। बुधवार को समय न होने के कारण इस मामले की सुनवाई नहीं हो सकी।

    सोमवार को ही मामले की अगली सुनवाई

    कोर्ट ने याचिकाकर्ता के वकील गोपाल शंकर नारायण और न्यायमित्र वरिष्ठ वकील अपराजिता सिंह के अनुरोध पर मामले को सोमवार को सुनवाई के लिए लगाने का निर्देश दिया है। इससे पहले जब बुधवार को सुनवाई का समय समाप्त होने लगा और इस केस का नंबर नहीं आया तो वरिष्ठ अधिवक्ता गोपाल शंकर नारायण ने पीठ के समक्ष मामले का जिक्र करते हुए कहा कि दिल्ली में इतना वायु प्रदूषण हो गया है कि ग्रैप तीन लागू हो गया है। कुछ जगहों पर तो स्थिति इतनी खराब है कि एक्यूआइ 450 पार कर गया है।

    'निर्माण गतिविधियों पर कार्रवाई की जाएगी'

    शंकर नारायण ने पीठ से कहा कि यहां सुप्रीम कोर्ट में ही कोर्ट नंबर दस के सामने निर्माण और खुदाई का काम चल रहा है, कम से कम यहां तो ऐसा नहीं होना चाहिए। सीजेआइ ने कहा कि निर्माण गतिविधियों पर कार्रवाई की जाएगी। उधर मामले की सुनवाई में कोर्ट की मदद कर रही न्यायमित्र वरिष्ठ वकील अपराजिता सिंह ने प्रदूषण के अपलोड किये जा रहे डेटा पर सवाल उठाया और कहा कि अधिकारियों से निगरानी के मुद्दे पर स्पष्टीकरण मांगा जाना चाहिए।

    सिंह ने कहा कि दिवाली के दौरान कुछ निगरानी स्टेशन काम नहीं कर रहे थे। उन्होंने कहा कि वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग से भी हलफनामा मांगा जाना चाहिए कि उन्होंने वायु प्रदूषण को रोकने के लिए क्या कदम उठाए हैं। गत मंगलवार को ¨सह ने हरियाणा और पंजाब में बड़ी मात्रा में पराली जलने की बात कही थी और तब कोर्ट ने कहा था कि वह बुधवार को इस पर कुछ आदेश देगा।

    वायु गुणवत्ता आयोग की ओर से पेश एएसजी ऐश्वर्या भाटी ने कहा कि आयोग इस संबंध में हलफनामा दाखिल कर रिपोर्ट देगा। हालांकि बुधवार को सुनवाई का समय न होने के कारण कोर्ट ने मामले को सोमवार 17 नवंबर को सुनवाई के लिए लगाने का आदेश दिया। इसके साथ ही कोर्ट ने पंजाब और हरियाणा राज्य से कहा है कि वह वह बताए कि पराली जलाने के मामलों में उसने क्या कार्रवाई की है।  

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