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पंचायत चुनाव में ओबीसी आरक्षण पर सुुप्रीम कोर्ट में आज होगी सुनवाई, एमपी सरकार ने दायर की है याचिका

पंचायत चुनाव में अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) आरक्षण पर मध्य प्रदेश सरकार की पुनर्विचार याचिका पर सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई होगी। शीर्ष अदालत ने महाराष्ट्र सरकार के मामले का हवाला देते हुए मध्य प्रदेश सरकार की मूल याचिका को खारिज कर दिया था।

By Neel RajputEdited By: Published: Mon, 17 Jan 2022 08:15 AM (IST)Updated: Mon, 17 Jan 2022 08:15 AM (IST)
पंचायत चुनाव में ओबीसी आरक्षण पर सुुप्रीम कोर्ट में  आज होगी सुनवाई, एमपी सरकार ने दायर की है याचिका
राज्य सरकार ने पुनर्विचार याचिका दायर की है (फाइल फोटो)

नई दिल्ली, जेएनएन। पंचायत चुनाव में अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) आरक्षण पर मध्य प्रदेश सरकार की पुनर्विचार याचिका पर सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई होगी। शीर्ष अदालत ने महाराष्ट्र सरकार के मामले का हवाला देते हुए मध्य प्रदेश सरकार की मूल याचिका को खारिज कर दिया था। उसके बाद राज्य सरकार ने पुनर्विचार याचिका दायर की है।

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बता दें कि मध्य प्रदेश में पंचायत चुनाव रद होने के बाद ओबीसी आरक्षण को लेकर लगातार सियासी घमासान जारी है। कांग्रेस ओबीसी आरक्षण को लेकर भाजपा पर हमला कर रही है। कांग्रेस का कहना है कि पंचायत चुनाव में ओबीसी आरक्षण खत्म होने के लिए भाजपा जिम्मेदार है। कांग्रेस विधायक और पूर्व मंत्री कमलेश्वर पटेल ने कहा कि भाजपा ने चुनाव प्रक्रिया से चुनाव ना कराकर मिले हुए अधिकार को छीनने का काम किया है, जो सही नहीं है। उन्होंने भारतीय जनता पार्टी को ओबीसी विरोधी बताते हुए लोगों की भावनाओं को दबाने का काम करने का आरोप लगाया है।

महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश सरकार की बढ़ी मुश्किलें

बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने स्थानीय निकाय चुनावों में ओबीसी आरक्षण को रद कर दिया है। इसके साथ ही यह भी निर्देश दिया है कि किसी भी हाल में आरक्षण की अधिकतम सीमा 50 फीसद से अधिक नहीं हो सकती है। इस संबंध में कोर्ट ने महाराष्ट्र सरकार को इंपीरिकल डाटा एकत्र करने के निर्देश दिए थे। इससे यह स्पष्ट होगा कि कोई जाति क्यों पिछड़ी मानी जाए। अगर पिछड़ी है तो उसकी कितनी तादाद है मतलब किस आधार पर एक निश्चित प्रतिशत के आरक्षण की मांग की जा रही है। राज्य सरकार ने इसके लिए और समय की मांग की है और केंद्र से आग्रह किया है कि चूंकि राज्य सरकार के पास जनगणना के आंकड़े हैं, उनसे वे इंपीरिकल डाटा उपलब्ध करवाने में मदद करे। इससे पहले कोर्ट ने सुनवाई के दौरान चुनाव आयोग को स्थानीय निकायों के चुनावों में ओबीसी आरक्षण रद किए जाने से खाली सीटों पर चुनाव करवाने का आदेश दिया था, लेकिन इन सीटों पर ओपन कैटेगरी से चुनाव करवाने का निर्देश दिया गया था।


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