ट्रिब्यूनल में नियुक्ति से जुड़े मामले पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई, सरकार के रुख पर जताई नाराजगी
सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र को विभिन्न न्यायाधिकरणों में नियुक्तियां करने के लिए दो और सप्ताह का समय दिया है। ट्रिब्यूनल रिफाम्स ऐक्ट 2021 की संवैधानिक वैधता को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार के रुख से नाराजगी जताई है।
नई दिल्ली, एजेंसियां। सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र को पीठासीन अधिकारियों के साथ-साथ न्यायिक और तकनीकी सदस्यों की भारी कमी का सामना कर रहे ट्रिब्यूनल्स में नियुक्तियां करने के लिए दो और सप्ताह का समय दिया है। मुख्य न्यायाधीश एनवी रमना और न्यायमूर्ति डी वाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली पीठ ने ट्रिब्यूनल रिफाम्स ऐक्ट 2021 की संवैधानिक वैधता और ट्रिब्यूनल में रिक्तियों से संबंधित मामले को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार के रुख से नाराजगी जताई है।
While hearing petitions challenging the constitutional validity of Tribunal Reforms Act 2021 & case relating to vacancies across tribunals, SC says, "not happy about how Centre has acted on recommendations of search cum selection committees for appointments in various Tribunals pic.twitter.com/d8lRSFzkK2
— ANI (@ANI) September 15, 2021
अटर्नी जनरल केके वेणुगोपाल ने पीठ को आश्वासन दिया कि केंद्र दो सप्ताह में ट्रिब्यूनल में खोज और चयन समिति द्वारा अनुशंसित व्यक्तियों की सूची से नियुक्तियां करेगा। बता दें कि देश भर में विभिन्न प्रमुख ट्रिब्यूनल्स और अपीलीय ट्रिब्यूनल्स में लगभग 250 पद खाली पड़े हैं। इनमें एनसीएलटी, डीआरटी, टीडीसेट आदि शामिल हैं। कोर्ट ने ट्रिब्यूनल रिफार्म एक्ट को चुनौती देने वाले कांग्रेस नेता जयराम रमेश की याचिका पर सरकार को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है।
पिछली सुनवाई के दौरान कोर्ट ने केंद्र को चेतावनी देते हुए कहा कि वह अवमानना की कार्यवाही शुरू करने पर भी विचार कर सकती है। इस दौरान चीफ जस्टिस ने कहा कि हम सरकार से किसी तरह का टकराव नहीं चाहते। हम खुश हैं जिस तरह सरकार ने सुप्रीम कोर्ट के जजों की नियुक्ति की है पूरी कानूनी बिरादरी इसकी सराहना करती है लेकिन इन ट्रिब्यूनल्स का क्या।