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पूरे सेवाकाल में वेतन नहीं पाने वाले शिक्षक को सुप्रीम कोर्ट ने दी बड़ी राहत, दिया वेतन देने का आदेश

सुप्रीम कोर्ट ने गोखले के साथ ही प्रेम कुमारी को भी राहत दी है। शीर्ष अदालत ने प्रेम कुमारी को दोबारा नियुक्त करने और उन्हें बकाया वेतन समेत सभी तरह के लाभ भी देने का आदेश दिया है।

By Bhupendra SinghEdited By: Published: Sun, 15 Sep 2019 11:17 PM (IST)Updated: Sun, 15 Sep 2019 11:17 PM (IST)
पूरे सेवाकाल में वेतन नहीं पाने वाले शिक्षक को सुप्रीम कोर्ट ने दी बड़ी राहत, दिया वेतन देने का आदेश
पूरे सेवाकाल में वेतन नहीं पाने वाले शिक्षक को सुप्रीम कोर्ट ने दी बड़ी राहत, दिया वेतन देने का आदेश

नई दिल्ली, आइएएनएस। सुप्रीम कोर्ट ने बिहार के एक सेवानिवृत्त शिक्षक को बड़ी राहत दी है। गोपाल कृष्ण गोखले नामक इस शिक्षक को नियुक्ति से लेकर सेवानिवृत्ति तक कभी वेतन ही नहीं मिला था। अब शीर्ष अदालत ने उनके पूरे वेतन का भुगतान करने का आदेश दिया है।

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जस्टिस अरुण मिश्र और जस्टिस एमआर शाह की पीठ ने यह आदेश दिया है। बिहार के सलेमपुर स्थित भरत मिश्रा संस्कृत कॉलेज में जुलाई 1980 में गोखले की नियुक्ति हुई थी और वह जुलाई 2013 में रिटायर हो गए थे। 72 वर्षीय गोखले के वकीलों का कहना है कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बावजूद कॉलेज प्रबंधन उनके बकाए भुगतान को लेकर सहयोग नहीं कर रहा है। उनके एक अन्य वकील ने बताया कि एक अन्य प्रवक्ता से कानूनी लड़ाई के चलते गोखले के बकाए का भुगतान नहीं हो सका है।

एक पद पर दो नियुक्ति से कानूनी लड़ाई में फंस गया था मामला

दरअसल, कामेश्वर सिंह दरभंगा संस्कृत विश्वविद्यालय से संबद्ध इस कॉलेज में 31 जुलाई, 1980 को गोखले के साथ ही प्रेम कुमारी की नियुक्ति भी प्रवक्ता पद पर हुई थी। विज्ञापन एक पद इतिहास के प्रवक्ता के लिए निकला था। प्रेम कुमारी की नियुक्ति इतिहास के प्रवक्ता के पद पर हुई थी। उसी दिन कॉलेज की प्रबंधन समिति ने गोखले की नियुक्ति भी कर दी थी।

गोखले की नियुक्ति को मंजूरी नहीं मिली

प्रेम कुमारी का कहना था कि गोखले अर्थशास्त्र के प्रवक्ता थे, जिसका विज्ञापन ही नहीं निकला था। उनका यह भी कहना था कि विश्वविद्यालय से गोखले की नियुक्ति को कभी मंजूरी ही नहीं मिली। जबकि, गोखले ने प्रेम कुमारी की नियुक्ति को चुनौती देते हुए कहा था कि नियुक्ति के समय वह पोस्ट ग्रेजुएट भी नहीं थी।

विश्वविद्यालय ने गोखले की नियुक्ति को किया था रद

विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार ने गोखले की नियुक्ति को रद कर उसे अस्थायी कर दिया था। उन्होंने इसे कोर्ट में चुनौती दी। कोर्ट के आदेश पर जांच हुई, जिसके बाद विश्वविद्यालय के कुलपति ने प्रेम कुमारी की नियुक्ति को 2013 में रद कर उनसे वेतन की वसूली का आदेश दिया था।

सुप्रीम कोर्ट ने दी गोखले को राहत

सुप्रीम कोर्ट ने गोखले के साथ ही प्रेम कुमारी को भी राहत दी है। शीर्ष अदालत ने प्रेम कुमारी को दोबारा नियुक्त करने और उन्हें बकाया वेतन समेत सभी तरह के लाभ भी देने का आदेश दिया है। 


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