दावों पर खरी नहीं उतरी दिल्ली सरकार की एजेंसियां, जानें क्यों नाराज हुए केंद्रीय अधिकारी
पर्यावरण मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों की टीम ने जमीनी हकीकत जांचने की कोशिश की, जिसके दावे दिल्ली सरकार और उसकी एजेंसियां की ओर से किए जा रहे थे।
नई दिल्ली, जागरण ब्यूरो। प्रदूषण के बढ़ते स्तर को देख केंद्र सरकार ने पंजाब और हरियाणा के साथ दिल्ली पर दबाव बढ़ा दिया है। शुक्रवार को इसे लेकर केंद्रीय पर्यावरण मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों की टीम औचक रूप से मैदान में भी उतरी।
साथ ही उन सारी जमीनी हकीकत को भी जांचने की कोशिश की, जिसके दावे दिल्ली सरकार और उसकी एजेंसियां की ओर से लगातार किए जा रहे थे। हालांकि जमीनी हालात देख टीम संतुष्ट नहीं थी। नाखुश टीम ने इस दौरान आनंद विहार में उड़ रही भारी धूल को देख अपने सामने ही पानी का छिड़काव कराया।
दिल्ली के दावों को परखने के लिए उतरी केंद्रीय पर्यावरण मंत्रालय के इस दल की अगुवाई मंत्रालय के संयुक्त सचिव रीतेश कुमार कर रहे थे। दिल्ली को हर दिन करीब चार सौ टैंकर पानी का छिड़काव करना है। हालांकि केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की टीम के मुताबिक अधिकतम 80-90 टैंकरों का ही अब तक छिड़काव किया जा रहा है।
इस कड़ी में शुक्रवार को केंद्रीय दल ने दिल्ली के आनंद बिहार, झिलमिल, पटपड़गंज और फ्रेंड्स कालोनी आदि क्षेत्रों का दौरा किया लेकिन टीम को इनमें से किसी भी स्थान पर पानी की छिड़काव होने की जानकारी नहीं मिली। टीम में शामिल मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि ऐसा ही औचक निरीक्षण दूसरे क्षेत्रों में भी किया जाएगा। गौरतलब है कि दिल्ली और एनसीआर में प्रदूषण लगातार अपने खराब स्तर पर है, इसके आने वाले दिनों में और भी खराब स्तर में पहुंचने का अनुमान है।
टीमों के काम-काज को भी देखा
केंद्रीय दल ने इस दौरान केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की मैदान में उतारी गई टीमों के मूवमेंट को भी परखा। इस दौरान ग्रीन एयर अभियान के तहत टीम ने एक दिन में अकेले दिल्ली में 418 प्रदूषण फैलाने से जुड़े मामले दर्ज किए है। इनमें से करीब सौ शिकायतों पर तत्काल अमल भी कराया गया।