आधा किमी दूर नदी से पीने का पानी लाते हैं स्कूली बच्चे
मध्यप्रदेश सरकार ने सूखाग्रस्त घोषित किए गए जिलों को राहत राशि का पैकेज देना शुरू कर दिया है। पहले चरण में 11 जिलों को 462 करोड़ 96 लाख रुपये का पैकेज दिया है।
सोंईकलां (श्योपुर), नईदुनिया। अडूसा गांव के मिडिल व प्राइमरी स्कूल में पीने का पानी नहीं है। बच्चे पीने का पानी लेने पार्वती नदी पर जाते हैं।
अडूसा गांव के मिडिल स्कूल में 23 और प्राइमरी में कुल 16 बच्चे हैं। मिडिल स्कूल में अडूसा, मुदाला का पाड़ा और इचनाखेंडली का टपरा गांव के बच्चे पढ़ने आते हैं। इस स्कूल परिसर में तीन हैंडपंप लगे हुए हैं, लेकिन हैंडपंपों में अब पानी नहीं है। बच्चे सुबह घरों से पानी लेकर आते हैं, जो दोपहर तक समाप्त हो जाता है।
इसके बाद सभी बच्चे इकठ्ठा होकर पानी के लिए आधा किमी दूर पार्वती नदी पर जाते हैं। नदी किनारे खड़े होकर बच्चे बोतलों को भरते हैं, उसके बाद वापस स्कूल आते हैं। दोपहर के समय जब बच्चे पानी के लिए नदी पर जाते हैं, तो स्कूल में पदस्थ शिक्षकों में से एक शिक्षक बच्चों के साथ जाता है।
सूखे से निपटने मिले 36 करोड़
मध्यप्रदेश सरकार ने सूखाग्रस्त घोषित किए गए जिलों को राहत राशि का पैकेज देना शुरू कर दिया है। पहले चरण में 11 जिलों को 462 करोड़ 96 लाख रुपये का पैकेज दिया है। इसमें श्योपुर जिले को 36 करोड़ 2 लाख रुपये की राशि शासन ने दी है। इस राहत राशि से गांवों में रोजगार देने के साथ-साथ पेयजल सुविधा की जाएगी।