भारतीय जेल में बंद बेटे को बाहर निकालने के लिए पाक पिता ने लगाई SC से गुहार
इरफान साल 2007 में पढ़ाई के सिलसिले में कुछ जरूरी सामान खरीदने दिल्ली आया था और वापस लाहौर लौटते समय समझौता एक्सप्रैस की दो बोगियों में हुए धमाके के बाद से गायब था
नई दिल्ली। पाकिस्तान में रह रहे मोहम्मद जहूर पिछले 9 सालों से अपने बेटे मोहम्मद इरफान से मिलने की कोशिश कर रहे हैं जोकि साल 2007 में हुए समझौता एक्सप्रेस ब्लास्ट के बाद से लापता है जिसमें 60 लोगों की मौत हो गई थी।
घटना के बाद इरफान का डीएनए किसी भी मृत व्यक्ति से ना मिलने की वजह से उसे लापता घोषित कर दिया गया था। सालों खोजने के बाद इरफान के परिवार को पता चला कि उनका बेटा अमृतसर की जेल में है और उसपर कोई आरोप नहीं है।
अपने बेटे के बारे में खबर सुनकर इरफान के पिता मोहम्मद जहूर ने अपने बेटे से मिलने के लिए पाकिस्तान में कई बार राजनीतिक पहल करने की अपील की। यहां तक की वो इस मामले में राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री को भी दखल देने की अपील कर चुके हैं लेकिन पाकिस्तान में उनकी अपील पर कोई कार्रवाई नहीं हुई।
अपनी अपील पर कोई सुनवाई ना होते देख मोहम्मद जहूर ने भारतीय की सर्वोच्य अदालत सुप्रीम कोर्ट से अपने बेटे की तरफ से गुहार लगाई है जिसे एके सीकरी और आरके अग्रवाल की खंडपीठ ने सुनवाई के लिए स्वीकार कर लिया है। सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार को इरफान से जुड़ी सारी जानकारी हासिल करने का आदेश दिया है।
बताया जा रहा है कि इरफान साल 2007 में पढ़ाई के सिलसिले में कुछ जरूरी सामान खरीदने दिल्ली आया था और वापस लाहौर लौटते समय समझौता एक्सप्रैस की दो बोगियों में हुए धमाके के बाद से गायब था, जिसके बाद अब पता चला है कि इरफान अमृतसर जेल में कैद है और उसपर कोई आरोप नहीं है।
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