एक लाख रुपये निकाल सकेंगे पीएमसी बैंक खाताधारक, आरबीआइ ने बड़ी राहत दी
पंजाब एंड महाराष्ट्र को-ऑपरेटिव यानी पीएमसी बैंक के खाताधारकों को आरबीआइ ने अब एक लाख रुपये तक निकालने की इजाजत दे दी है।
मुंबई, पीटीआइ। कथित घोटाले के फेर में फंसे पंजाब एंड महाराष्ट्र को-ऑपरेटिव (पीएमसी) बैंक के खाताधारकों को आरबीआइ ने बड़ी राहत दी है। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआइ) ने पीएमसी खाताधारकों को एक लाख रुपये तक निकालने की इजाजत दे दी, ताकि वे कोरोना संकट के इस मुश्किल दौर में वित्तीय जरूरतें पूरी कर सकें। हालांकि केंद्रीय बैंक ने पीएमसी पर नियामकीय प्रतिबंध को अगले छह महीनों के लिए बढ़ा दिए हैं जो 22 दिसंबर तक लागू रहेंगे। इससे पहले बैंक के खाताधारकों को अपने खातों से 50 हजार रुपये निकालने की ही इजाजत थी।
बता दें कि रिजर्व बैंक ने पिछले साल 23 सितंबर को पीएमसी बैंक मुंबई पर कई नियामकीय अंकुश लगाए दिए थे। उस वक्त बैंक में कई वित्तीय अनियमितताओं की बातें सामने आई थीं। यह भी कहा गया था कि बैंक ने रीयल एस्टेट कंपनी HDIL को दिए गए कर्ज की सही जानकारी नहीं दी थी। एक बयान में आरबीआइ ने कहा कि एक लाख रुपये की यह सीमा कुल मिलाकर है और इसमें इससे पहले 50,000 रुपये तक निकालने की छूट शामिल है। रिजर्व बैंक ने कहा कि निकासी की सीमा बढ़ने से बैंक के 84 फीसद ग्राहक खातों से अपना पूरा पैसा निकाल पाएंगे।
केंद्रीय बैंक ने अपने बयान में कहा कि बैंक की तरलता की स्थिति और कोरोना संकट के दौरान जमाकर्ताओं को राहत देने के लिए प्रति जमाकर्ता निकासी की सीमा को 50 हजार रुपये से बढ़ाकर एक लाख रुपये किया जा रहा है। आरबीआइ ने कहा कि वह अंशधारकों से बातचीत कर रहा है ताकि बैंक के लिए समाधान की संभावाना तलाशी जा सके जो कि कोरोना संकट के चलते प्रभावित हुई है। इसके साथ ही आरबीआइ ने श्री गुरु राघवेंद्र सहकार बैंक (बेंगलुरु) और यूथ डेवलपमेंट को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड (कोल्हापुर) समेत चार अन्य को-ऑपरेटिव बैंकों में भी खाताधारकों के लिए निकासी सीमा बढ़ाई है। ये सभी इस वक्त आरबीआइ के प्रतिबंधों के दायरे में हैं।