जानिये किन 50 और शहरों तक जल्द पहुंचेगी सीएनजी और पीएनजी
पीएनजीआरबी ने गुरुवार को 50 और शहरों में सीएनजी और पाइप्ड नेचुरल गैस (पीएनजी) बेचने के लाइसेंस के लिए निविदा आमंत्रित की है।
नई दिल्ली, प्रेट्र। तेल नियामक पेट्रोलियम एंड नेचुरल गैस रेगुलेटरी बोर्ड (पीएनजीआरबी) ने गुरुवार को 50 और शहरों में सीएनजी और पाइप्ड नेचुरल गैस (पीएनजी) बेचने के लाइसेंस के लिए निविदा आमंत्रित की है।
सिटी गैस लाइसेंस के लिए 10वें चरण की बोली प्रक्रिया में पीएनजीआरबी ने 12 राज्यों के 50 भौगालिक क्षेत्रों (जीए) की पहचान की है। नियामक ने आसपास के कुछ जिलों को मिलाकर एक जीए बनाया है। नियामक के मुताबिक बोली पांच फरवरी तक आमंत्रित की गई हैं।
पीएनजीआरबी के मुताबिक कंपनियों से यह बताने के लिए कहा गया है कि वे लाइसेंस मिलने के बाद शुरुआती आठ वर्षो में कितने सीएनजी स्टेशन स्थापित करेंगी और कितने घरेलू रसोई गैस कनेक्शन देंगी। उन्हें यह भी बताने के लिए कहा गया है कि वे जीए में कितनी लंबी पाइपलाइन बिछाएंगी और सीएनजी और सिटी गैस यानी पीएनजी के लिए क्या शुल्क रखेंगी।
कुछ ही महीने पहले नौवां चरण पूर्ण हुआ है, जो अब तक का सबसे बड़ा सिटी गैस वितरण लाइसेंसिंग राउंड था। नौवें चरण में 22 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के 174 जिलों के लिए 86 परमिट ऑफर किए गए थे। सरकार अगले कुछ वर्षो में ऊर्जा खपत के स्रोतों में प्राकृतिक गैस का हिस्सा वर्तमान 6.2 फीसद से बढ़ाकर 15 फीसद पर पहुंचाना चाहती है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी वर्ष 2020 तक एक करोड़ घरों तक पाइप्ड कुकिंग गैस कनेक्शन पहुंचाने का लक्ष्य रखा है, जो वर्तमान आकार का लगभग तीन गुना है।
10वें चरण के प्रमुख शहरों में आंध्र प्रदेश में नेल्लौर, बिहार में मुजफ्फरपुर, हरियाणा में कैथल, कर्नाटक में गुलबर्गा और मैसूर, केरल में अल्लपुझा और कोल्लम, मध्य प्रदेश में उज्जैन, ग्वालियर और मुरैना, उत्तर प्रदेश में झांसी और बस्ती, पंजाब में फिरोजपुर और होशियारपुर, राजस्थान में अजमेर और जालौर, उत्तराखंड में नैनीताल तथा पश्चिम बंगाल में दार्जिलिंग और हावड़ा शामिल हैं।
नए चरण की शर्तो के मुताबिक कम से कम 150 करोड़ रुपये नेटवर्थ वाली कंपनी कम से कम 50 लाख की आबादी वाले जीए के लिए बोली लगा सकती है। वहीं 20-50 लाख की आबादी वाले जीए के लिए बोली लगाने वाली कंपनी न्यूनतम 100 करोड़ रुपये नेटवर्थ वाली होनी चाहिए। कम से कम पांच करोड़ रुपये नेटवर्थ वाली कंपनी 10 लाख से कम आबादी वाले जीए के लिए बोली लगा सकेगी।
लाइसेंस हासिल करने वाली कंपनी को 180 दिनों के भीतर किसी प्राकृतिक गैस प्रदाता या मार्केटिंग कंपनी से निर्धारित शर्तो के मुताबिक प्राकृतिक गैस आपूर्ति का समझौता करना होगा। साथ ही कंपनियों को लाइसेंस मिलने के दिन से 270 दिनों के भीतर फाइनेंशियल क्लोजर हासिल करना होगा।
10वें चरण में लाइसेंस हासिल करने वाली कंपनी को अपने क्षेत्र में आठ साल के लिए मार्केटिंग का अधिकार मिलेगा। नौवें चरण से पहले दिए गए लाइसेंस में कंपनियों को पांच साल का मार्केटिंग अधिकार दिया गया था।