Move to Jagran APP

PM Modi Mother Death: हीराबा का देहांत; पीएम मोदी ने किया ट्वीट 'शानदार शताब्दी का ईश्वर चरणों में विराम'

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मां हीराबा नहीं रही। शुक्रवार सुबह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आधिकारिक ट्विटर हैंडल के जरिए यह जानकारी दी गई। बता दें कि हीराबेन मोदी (99 वर्ष) की बुधवार सुबह तबीयत खराब हो गई। उन्हें तत्काल अहमदाबाद के सरकारी अस्पताल यूएन मेहता में भर्ती कराया गया था।

By AgencyEdited By: Piyush KumarPublished: Fri, 30 Dec 2022 06:26 AM (IST)Updated: Fri, 30 Dec 2022 08:39 AM (IST)
PM Modi Mother Death: हीराबा का देहांत; पीएम मोदी ने किया ट्वीट 'शानदार शताब्दी का ईश्वर चरणों में विराम'
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मां हीराबा नहीं रही।

नई दिल्ली, एजेंसी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मां हीराबा (Heeraben Modi) नहीं रही। शुक्रवार सुबह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आधिकारिक ट्विटर हैंडल के जरिए यह जानकारी दी गई। पोस्ट में लिखा गया, शानदार शताब्दी का ईश्वर चरणों में विराम... मां में मैंने हमेशा उस त्रिमूर्ति की अनुभूति की है, जिसमें एक तपस्वी की यात्रा, निष्काम कर्मयोगी का प्रतीक और मूल्यों के प्रति प्रतिबद्ध जीवन समाहित रहा है। मैं जब उनसे 100वें जन्मदिन पर मिला तो उन्होंने एक बात कही थी, जो हमेशा याद रहती है कि काम करो बुद्धि से और जीवन जियो शुद्धि से।'

loksabha election banner

जानकारी के अनुसार, 99 वर्षीय हीराबा का आज सुबह निधन हो गया। यूएन मेहता अस्पताल के एक बयान में कहा गया है, 'हीराबा मोदी का निधन शुक्रवार तड़के (30 दिसंबर) 3.30 बजे (सुबह) इलाज के दौरान हुआ। पीएम मोदी अहमदाबाद पहुंच चुके हैं। गौरतलब है कि अभी तक मिली जानकारी के अनुसार, पीएम मोदी के आज के कार्यक्रम को रद नहीं किया गया है। 

हीराबा के निधन पर देश के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने शोक जताया है। इसके अलावा, गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने भी दुख जताया है। उन्होंने ट्वीट करते हुए लिखा,'माननीय प्रधान मंत्री श्री नरेंद्रभाई मोदी की माता पूज्य हीराबा के निधन से गहरा दुख हुआ। पूज्य हीराबा उदारता, सादगी, परिश्रम और जीवन के उच्च मूल्यों के प्रतिमान थीं। मैं प्रार्थना करता हूं कि भगवान उनकी आत्मा को शांति प्रदान करें। ૐ शांति।'

हीराब के 5 बेटे और 1 बेटी हैं

सोमा मोदी, सेवानिवृत्त स्वास्थ्य विभाग अधिकारी

पंकज मोदी, गुजरात सूचना विभाग के अधिकारी

अमृत ​​मोदी, सेवानिवृत्त लेथ मशीन ऑपरेटर

सस्ते अनाज के व्यापारी प्रह्लाद मोदी

नरेंद्र मोदी, प्रधानमंत्री

वसंतीबेन हसमुखभाई मोदी

प्रधानमंत्री और मां हीराबा से जुड़ी कुछ यादें

जब प्रधानमंत्री पहली बार गुजरात के मुख्यमंत्री बने तो हीराबा ने उनसे कहा कि वह (प्रधानमंत्री मोदी) किसी से एक रुपया नहीं लेंगे। 2014 में पाकिस्तान के पूर्व प्रधान मंत्री नवाज शरीफ ने नरेंद्र मोदी की मां हीराबा को एक साड़ी भेंट दी थी। इसके बदले में नरेंद्र मोदी ने नवाज शरीफ की मां को एक शॉल दिया था। 2016 में हीरा बा ने प्रधानमंत्री के दिल्ली रेस कोर्स हाउस का दौरा किया था। 2019 में उन्होंने 99 वर्ष की आयु में लोकसभा चुनाव में मतदान किया था।

जून में प्रधानमंत्री मोदी ने हीरा बा के पैर धोकर और आशीर्वाद लेकर उनकी 100वीं जन्मदिन मनाई थी। साथ ही 4 दिसंबर 2022 को रात 9 बजे प्रधानमंत्री ने मां हीरा बा से मिले थे और उनका आशीर्वाद लिया था।

कुछ दिनों से बीमार चल रहीं थी हीराबा

बता दें कि हीराबेन मोदी (99 वर्ष) की बुधवार सुबह तबियत खराब हो गई। उन्हें तत्काल अहमदाबाद के सरकारी अस्पताल यूएन मेहता में भर्ती कराया गया था। इसके बाद प्रधानमंत्री मोदी दोपहर दिल्ली से सीधे अहमदाबाद के यूएन मेहता अस्पताल पहुंचे थे। वह यहां माताजी के पास डेढ़ घंटा रुककर हालचाल जानने व उनके स्वास्थ्य में सुधार होने के बाद शाम को दिल्ली लौट आए थे। बता दें कि हीराबा ने इस साल जून में ही अपना 100वां जन्मदिन मनाया था। उनके 100वें जन्मदिन पर पीएम मोदी ने एक विशेष पत्र भी लिखा था।

संघर्षों को चुनौती देती रहीं हीराबा 

हीराबा का जन्म 18 जून 1923 को पालनपुर में हुआ था। उनका विवाह कम उम्र में दामोदरदास मूलचंदभाई मोदी से हुआ था। दामोदरदास मोदी के वडनगर रेलवे स्टेशन पर चाय बेचा करते थे। दामोदरदास मोदी का बीमारी के कारण निधन हो गया। बाद में वे अपने बेटे पंकज मोदी के घर गांधीनगर के सेक्टर 22 स्थित जी टाइप सरकारी क्वार्टर में रहने लगी थीं। जिसके बाद साल 2015-16 में वे अपने बेटे पंकज मोदी के साथ रायसन स्थित वृंदावन बंगले में रहने लगीं। 

घर की आर्थिक और पारिवारिक स्थिति कमजोर होने के चलते उन्हें पढ़ने का कभी मौका नहीं मिला। लेकिन वह अपने बच्चों को शिक्षा देने के लिए दूसरे के घरों में भी काम करने के लिए तैयार हो गईं। उन्होंने फीस भरने के लिए कभी किसी से उधार पैसे नहीं लिए। हीराबा चाहती थीं कि उनके सभी बच्चे पढ़लिखकर शिक्षित बने।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.