फेस रिकग्निशन टूल की मदद से 5 साल बाद परिवार को मिला लापता बच्चा, पुलिस ने निभाई अहम भूमिका
14 जुलाई 2015 से लापता सोम सोनी असम के गोलपाड़ा जिले के बाल कल्याण केंद्र में पाया गया। वह 23 जुलाई 2015 को गोलपाड़ा पुलिस को मिला था। पुलिस ने उसे बाल कल्याण केंद्र भेज दिया। माता-पिता से मिलाने में तेलंगाना पुलिस ने भी अहम भूमिका निभाई।
हैदराबाद, आइएएनएस। तेलंगाना राज्य पुलिस के फेस रिकग्निशन टूल 'दर्पण' ने उत्तर प्रदेश के एक लापता बच्चे को पांच साल बाद अपने माता-पिता से मिलाने में मदद की है। प्रयागराज के हंडिया का रहने वाला सोम सोनी 2015 से लापता था। महिला सुरक्षा विभाग की अतिरिक्त महानिदेशक श्वेता लाकड़ा ने बताया कि 14 जुलाई, 2015 से लापता सोम सोनी असम के गोलपाड़ा जिले के बाल कल्याण केंद्र में पाया गया। वह 23 जुलाई, 2015 को गोलपाड़ा पुलिस को मिला था। पुलिस ने उसे बाल कल्याण केंद्र भेज दिया।
तेलंगाना राज्य पुलिस ने चेहरे की पहचान करने वाले उपकरण 'दर्पण' का उपयोग करते हुए उसके फोटो का मिलान देशभर के विभिन्न बाल घरों के लड़कों से किया। बच्चे का पता चलने के बाद तेलंगाना पुलिस ने तुरंत हंडिया पुलिस स्टेशन को सूचित किया, जिसने उसके माता-पिता को सूचना दी। वे बाल कल्याण केंद्र पहुंचे और अपने बच्चे की पहचान की।
पुलिस अधिकारी ने कहा कि तेलंगाना राज्य पुलिस ने पांच साल बाद लापता बच्चे को उसके माता-पिता के साथ फिर से मिलाने में बड़ी भूमिका निभाई। उन्होंने कहा कि 'दर्पण' के माध्यम से पूरे भारत में कई लापता बच्चों का पता लगाने का प्रयास किया जा रहा है, ताकि उन्हें उनके परिवार से मिलाया जा सके।