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रात में बंगले से निकाली गई उज्ज्वला

अर्से बाद पिता-पुत्र के बीच बनी बात एक बार फिर बिगड़ गई। अबकी अपमान रोहित की मां उज्ज्वला का हुआ। उन्हें रात 12 बजे एनडी तिवारी के सामने सामान सहित बंगले से बाहर कर दिया गया। इससे बात इतनी बिगड़ी कि अब रोहित भी पिता के पास नहीं जाना चाहते।

By Edited By: Published: Wed, 23 Apr 2014 07:34 AM (IST)Updated: Tue, 22 Apr 2014 11:25 PM (IST)
रात में बंगले से निकाली गई उज्ज्वला

नैनीताल [जागरण संवाददाता]। अर्से बाद पिता-पुत्र के बीच बनी बात एक बार फिर बिगड़ गई। अबकी अपमान रोहित की मां उज्ज्वला का हुआ। उन्हें रात 12 बजे एनडी तिवारी के सामने सामान सहित बंगले से बाहर कर दिया गया। इससे बात इतनी बिगड़ी कि अब रोहित भी पिता के पास नहीं जाना चाहते।

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पितृत्व विवाद में रोहित की एनडी तिवारी से चल रही जंग पर मंगलवार को अदालत ने अपना फैसला सुना दिया और रोहित को कानूनी तौर पर एनडी तिवारी का पुत्र होने की मान्यता दे दी। हालांकि डेढ़ माह पहले ही तिवारी ने रोहित को अपना पुत्र मान लिया था, लेकिन अचानक रिश्तों में आई मिठास 17 अप्रैल को कड़वाहट में तब्दील हो गई।

रोहित ने फोन पर बताया कि मां उज्ज्वला पिता एनडी तिवारी के साथ लखनऊ स्थित उत्ताराखंड आवास में रह रही थीं। वह खुद लखनऊ के मीराबाई गेस्ट हाउस में रह रहे थे। 17 अप्रैल की रात करीब 12 बजे अचानक उज्ज्वला ने रोहित को फोन किया। बताया कि उन्हें सामान सहित बंगले से बाहर निकाल दिया गया। यह सब एनडी तिवारी के सामने उनके करीबियों ने किया। रात में ही उज्ज्वला बेटे के पास गेस्ट हाउस पहुंच गई। रोहित ने कहा कि उनके पिता के कान भरे जा रहे हैं। जो लोग उनके साथ हैं, वे ही यह सब कर रहे हैं, लेकिन उन्हें विश्वास नहीं हो रहा कि उनके पिता कान के इतना कच्चे कैसे हो सकते हैं।

खैर, मां के साथ हुई बदसलूकी से आहत रोहित ने उसके बाद पिता से संपर्क साधने का प्रयास किया, लेकिन उनसे बात नहीं कराई गई। अब वह खुद इस मसले पर पिता से बात नहीं करना चाहते। हां, उनका कहना है कि अगर एनडी तिवारी बात करना चाहते हैं तो वह खुद आएं। मां के साथ इतनी बदसलूकी के बाद वह तो पिता से मिलने नहीं जाएंगे। उन्होंने कहा कि पिछले डेढ़ माह से मैं खुद लगातार पिता के साथ था। उनके साथ तमाम कार्यक्रमों में हिस्सा लिया। चुनाव लड़ने की बात पर खुद उनके साथ नैनीताल पहुंचा। टिकट के लिए रीता बहुगुणा जोशी व समाजवादी पार्टी के मुखिया मुलायम सिंह से भेंट की। एक रोज अचानक उनका फैसला आ गया कि वह चुनाव नहीं लड़ेंगे, जबकि इसकी उन्हें जानकारी नहीं दी गई। उनका कहना है कि पिता की जान को खतरा है और उनके आसपास मौजूद लोग ही यह सब कर रहे हैं।

एनडी के बंगले में सन्नाटा

लखनऊ : एनडी तिवारी इन दिनों लखनऊ के अपने सरकार द्वारा आवंटित आवास आरोही में हैं। बंगले के बाहर पूरी तरह सन्नाटा है। अदालत से एनडी के पुत्र घोषित किए गए रोहित शेखर के मुताबिक एनडी की देखरेख करने वाले उन्हें अपने नियंत्रण में लिए हुए हैं। दूरभाष पर बातचीत में रोहित ने एनडी के बारे में कोई तल्ख टिप्पणी नहीं की, लेकिन किसी का नाम लिए बगैर उन्हें घेरने वालों को खलनायक बताया। एनडी की देखरेख उनके रिश्तेदार भवानी भट्ट करते हैं। भवानी घोषित तौर पर पूर्व मुख्यमंत्री के ओएसडी हैं और एनडी पर पूरी तरह उन्हीं का नियंत्रण दिखता है। भवानी के मोबाइल पर बातचीत करने का बहुत प्रयास किया गया, लेकिन बाद में काल करने का एसएमएस भेजकर उन्होंने चुप्पी लगा ली।

पढ़ें: रोहित शेखर एनडी तिवारी की प्राकृतिक संतान: हाईकोर्ट


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