HC का आदेश, अब सोशल मीडिया पर नहीं दिखेगी बाबा रामदेव के खिलाफ आपत्तिजनक चीजें
दिल्ली हाई कोर्ट ने अपने फैसले में कहा है कि अपने प्लेटफॉर्म से इन सामग्रियों को हटा दें। सोशल मीडिया पर कई ऐसे वीडियो भरे हैं जो बाबा रामदेव पर कई मनगढ़ंत आरोप लगा रहे हैं।
नई दिल्ली, जेएनएन। दिल्ली हाई कोर्ट ने बाबा रामदेव के खिलाफ आपत्तिजनक सामग्री हटाने के लिए फेसबुक, गूगल, यूट्यूब और ट्विटर को निर्देश दिया है। गुरुवार को दिल्ली हाई कोर्ट ने अपने फैसले में कहा है कि अपने प्लेटफॉर्म से या तो इन सामग्रियों को हटा दें या इन्हें ब्लॉक कर दें। बता दें कि यूट्यूब पर कई ऐसे वीडियो भरे हैं जो बाबा रामदेव पर कई मनगढ़ंत आरोप लगा रहे हैं।
कोर्ट ने सोशल मीडिया कंपनियों से कहा है कि यह भी बताएं कि आखिर कौन इन सामग्रियों को डाल रहा है। कोई अगर व्यक्तिगत रूप से यह कर रहा है तो वह भी जानकारी दें। सारी जानकारियों को सील बंद लिफाफे में कोर्ट ने जमा करने का आदेश दिया है।
एक वीडियो को देखने के बाद न्यायमूर्ति प्रतिभा एम सिंह ने यह पाया कि इस वीडियो में उस किताब के कुछ अंश हैं जो हाई कोर्ट ने सितंबर में डिलीट करने के आदेश दिए थे। बता दें कि 29 सितंबर, 2018 को गॉडमैन फ्राम टाइकून के प्रकाशक और लेखक को किताब में से कुछ विवादित अंश हटाने का आदेश दिया था।
कोर्ट ने कहा कि वहीं विवादित हिस्सा किसी वीडियो या लेख या तो वह किसी दूसरे रूप में सोशल मीडिया के प्लेटफॉर्म के माध्यम से लोगों के बीच प्रचारित किया जा रहा है। इसी पर रोक के लिए कोर्ट ने फेसबुक और गूगल को अपने सभी अन्य प्लेटफॉर्म से हटाने के लिए कहा है।