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ऑनलाइन शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए मोदी सरकार सभी शिक्षकों को देगी प्रशिक्षण

लॉकडाउन के दौरान शिक्षकों को जब घर से ही ऑनलाइन पढ़ाने के लिए कहा गया तो बड़ी संख्या में शिक्षकों ने हाथ खड़े कर दिए।

By Bhupendra SinghEdited By: Published: Fri, 08 May 2020 09:09 PM (IST)Updated: Fri, 08 May 2020 09:09 PM (IST)
ऑनलाइन शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए मोदी सरकार सभी शिक्षकों को देगी प्रशिक्षण
ऑनलाइन शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए मोदी सरकार सभी शिक्षकों को देगी प्रशिक्षण

जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। ऑनलाइन शिक्षा को बढ़ावा देने के साथ ही सरकार का फोकस शिक्षकों को इसके लिए तैयार करने को लेकर भी है। यही वजह है कि स्कूलों में पढ़ाने वाले सभी शिक्षकों को आनलाइन पढ़ाने से जुड़ा प्रशिक्षण देने की तैयारी है। फिलहाल इसके लिए राष्ट्रीय अध्यापक शिक्षा परिषद (एनसीटीई) और एनसीईआरटी को पूरा प्लान तैयार करने का जिम्मा सौंपा गया है। वहीं शिक्षकों के प्रशिक्षण को लेकर पहले से चल रहे निष्ठा प्रोग्राम में भी कोरोना संकट काल की नई चुनौतियों को देखते हुए जरूरी बदलाव करने की तैयारी है।

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विश्वविद्यालयों को अब कोर्स का 25 फीसद हिस्सा ऑनलाइन पढ़ाना होगा

देश की मौजूदा शिक्षा व्यवस्था को वैसे भी पहले से ही ऑनलाइन की ओर ले जाने की सरकार की मुहिम चल रही थी, जिसे कोरोना संकट ने अब और तेज गति दी है। इसे लेकर मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने पढ़े भारत ऑनलाइन जैसी नई मुहिम शुरु की है। जिसमें कोर्स के एक बड़े हिस्से को भविष्य में भी ऑनलाइन पढ़ाने की तैयारी है। यूजीसी ने इसे लेकर पूरा प्लान ही जारी कर दिया है, जिसके तहत विश्वविद्यालयों को अब कोर्स का 25 फीसद हिस्सा ऑनलाइन ही पढ़ाना होगा।

शिक्षकों का पूरी तरह से तैयार न होने से ऑनलाइन पढ़ाने में छात्रों को कई समस्याओं से जूझना पड़ा 

इस सब के बीच जो बड़ी चुनौती थी, वह इसे लेकर शिक्षकों का पूरी तरह से तैयार न होना था। यही वजह है कि लॉकडाउन के दौरान शिक्षकों को जब घर से ही ऑनलाइन पढ़ाने के लिए कहा गया, तो बड़ी संख्या में शिक्षकों ने हाथ खड़े कर दिए। वहीं जो शिक्षक इसे लेकर आगे भी आए, वह तकनीकी तैयार पर इतने मजबूत नहीं थे, लिहाजा ऑनलाइन क्लास के दौरान छात्रों को खराब आवाज, खराब पिक्चर क्वालिटी जैसी समस्याओं से जूझना पड़ा।

शिक्षकों को ऑनलाइन पढ़ाने के लिए प्रशिक्षण दिया जाएगा 

जिन शिक्षकों ने वीडियो तैयार करके भेजे, उनमें खराब लाइट, समयसीमा आदि जैसी चुनौती सामने आयी। वहीं इस दौरान जब कुछ शिक्षकों को टेलीविजन पर लाइव क्लास करने के लिए बुलाया गया, तो इनमें से ज्यादातर कैमरे पर फ्रेंडली न होने से जाने से इंकार कर दिया। मंत्रालय से जुड़े अधिकारियों के मुताबिक इन्हीं सारी समस्याओं को देखते हुए प्रशिक्षण कराने की दिशा में कदम बढ़ाया गया है। 


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