अातंकियों को ठेंगा दिखा शहीद फैयाज की राह पर चल पड़ा कश्मीरी नौजवान
कश्मीर के नौजवानों ने साबित कर दिया है कि उनका रोल मॉडल बुरहान वानी नहीं, बल्कि लेफ्टिनेंट उमर फैयाज हैं।
श्रीनगर,[नवीन नवाज]। आतंकी संगठन और अलगाववादी लाख कोशिशें कर लें, लेकिन शहीद लेफ्टिनेंट उमर फैयाज की दिखाई राह पर कश्मीर नौजवान चल पड़ा है। देशसेवा के लिए भर्ती रैली हो या खेलकूद का मैदान। युवा देश सेवा और खुद को राष्ट्र के साथ जोड़े रखने के लिए कोई कोर कसर नहीं छोड़ रहा। यहां के नौजवानों ने साबित कर दिया है कि उनका रोल मॉडल बुरहान वानी नहीं, बल्कि लेफ्टिनेंट उमर फैयाज हैं।
बुधवार को शोपियां के हरमेन क्षेत्र में लेफ्टिनेंट फैयाज का शव गोलियों से छलनी मिला था। उमर दक्षिण कश्मीर में युवाओं के लिए प्रेरणास्रोत बने हुए थे, उन्हें देखकर कई युवकों ने फौज में शामिल होने की राह पकड़ी तो कई अभिभावकों ने बच्चों को बेहतर भविष्य के लिए सेना के स्कूलों में भेजना शुरू कर दिया। पिछले चार दिनों में पंद्रह हजार लड़के-लड़कियों ने कश्मीर के विभिन्न हिस्सों में पुलिस का सिपाही बनने के लिए दौड़ लगाई है।
शनिवार को श्रीनगर के बख्शी स्टेडियम में पहले दिन दो हजार से ज्यादा लड़के-लड़कियां पुलिस में सब इंस्पेक्टर की वर्दी पहनने की उम्मीद में पहुंच गए। बख्शी स्टेडियम के बाहर खड़े सीआरपीएफ अधिकारी और जवान हैरान थे कि आखिर यह क्या हो रहा है। आतंकियों के एजेंडे से गुमराह होकर पत्थर उठाने वाले आज कैसे बदल गए हैं। स्टेडियम में मौजूद एक नौजवान हाशिम ने कहा कि मैं शहीद उमर के जिला कुलगाम से ही हूं।
मुझे पिछले साल पता चला था कि एक लड़का एनडीए से फौजी अफसर बनकर निकला है। मैंने भी फौज में अफसर बनने के लिए सीडीएस का पेपर दिया था। पास नहीं कर पाया। उसके बाद मैंने राज्य पुलिस में सब इंस्पेक्टर का फार्म भरा है। उम्मीद है कि मैं भर्ती जरूर हो जाऊंगा। एक अन्य युवक मकबूल बोला कि यह भीड़ उसी फरमान का नतीजा है।
सड़क पर पत्थर न हो, कोई मासूम उमर फैयाज की तरह न मरे इसीलिए तो यहां आए हैं। अगर आतंकियों के फरमान का डर होता तो हमारे मां-बाप घर से निकलने देते। डर है, इसीलिए तो हमारे घर वाले चाहते हैं कि फोर्स का हिस्सा बनो ताकि यह डर हमेशा के लिए खत्म हो।
मिस्टर कश्मीर के लिए युवाओं ने दिखाया दमखम
डिस्टि्रक बाडी बिल्डिंग एसोसिएशन श्रीनगर की ओर से आयोजित मिस्टर कश्मीर में कई युवाओं ने अपनी प्रतिभा दिखाई। मंच पर आकर हरके युवा ने प्रदर्शन किया।
राष्ट्रविरोधी नहीं राष्ट्रभक्त हैं युवा: आइजी
आइजीपी कश्मीर एसजेएम जिलानी ने कहा कि यहां जिस तरह से आम नौजवानों को आतंकी, राष्ट्रविरोधी, पाकिस्तान समर्थक प्रचारित किया जा रहा है, असलियत बिल्कुल उल्टी है। कश्मीरी नौजवान आतंकी नहीं है, वह राष्ट्रविरोधी नहीं राष्ट्रभक्त है। वह पुलिस और फौज को अपना दुश्मन नहीं मानता।
एक लाख से अधिक युवाओं ने किया आवेदन
राज्य पुलिस प्रवक्ता ने बताया कि इस समय पुलिस संगठन के विभिन्न विभागों में सब इंस्पेक्टर की 698 पदों की भर्ती प्रक्रिया जारी है। पूरी रियासत में एक लाख से ज्यादा लड़के-लड़कियों ने आवेदन किया था। छंटनी के बाद 67218 आवेदकों को चयन प्रक्रिया में शामिल किया गया है। जम्मू संभाग के 31496 और कश्मीर संभाग के 35722 अभ्यर्थी हैं। कुल 67218 अभ्यर्थियों में से 64625 ने एग्जीक्यूटिव व आर्म्ड पुलिस के लिए आवेदन किया है। इनमें 58584 लड़कें और 6041 लड़कियां हैं। सिर्फ 2530 ने टेलीकम्यूनिकेशन विंग में सब इंस्पेक्टर के पदों पर आवेदन किया है।
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