हाईकोर्ट के जज ने भ्रष्टाचार को क्यों बताया देश का सबसे बड़ा खलनायक, जानें
गुजरात हाई कोर्ट के न्यायाधीश जस्टिस जेबी पारडीवाला ने भ्रष्टाचार को खलनायक बताते हुए कहा कि यह खतरनाक स्तर तक पहुंच गया है।
शत्रुघ्न शर्मा, अहमदाबाद। आरक्षण व्यवस्था पर टिप्पणी करने के बाद कई सांसदों के निशाने पर आए गुजरात हाई कोर्ट के न्यायाधीश जस्टिस जेबी पारडीवाला ने भ्रष्टाचार को खलनायक बताते हुए कहा कि यह खतरनाक स्तर तक पहुंच गया है। दो पूर्व मंत्रियों पर चल रहे 400 करोड़ के फिशरीज घोटाला मामले में सुनवाई के दौरान उन्होंने कहा कि इसके चलते गवर्नेस मजाक बन कर रह गया।
बिना टेंडर 400 करोड़ का मछली ठेका देने के मामले में ईशाक मरडिया ने गुजरात हाई कोर्ट में याचिका दाखिल की है। इसके बाद राज्य के मत्स्योद्योग राज्यमंत्री पुरुषोत्तम सोलंकी, नाबार्ड के उपाध्यक्ष पूर्व मंत्री दिलीप संघाणी और पांच सेवानिवृत्त अधिकारियों के खिलाफ शिकायत दर्ज हुई। गत दिनों गांधीनगर की विशेष अदालत ने आरोपित नेताओं को समन कर हाजिर होने का आदेश दिया। इसके बाद उन्होंने अपने खिलाफ जारी समन रद करने की मांग करते हुए हाई कोर्ट में याचिका दाखिल की।
भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो इस घोटाले की जांच कर रहा है। अदालत के हस्तक्षेप के बाद शुरू हुई जांच में पहली नजर में सामने आया कि नियमों की अवहेलना कर मछली पकड़ने का ठेका दिया गया, जिससे सरकारी खजाने को करोड़ों का घाटा हुआ।
जस्टिस पारडीवाला ने याचिका पर सुनवाई करते हुए कहा कि भ्रष्टाचार के कारण ही देश विकास नहीं कर पा रहा है। लाखों लोग गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करने को मजबूर हैं। आज रोड, रेलवे, ब्रिज, जलापूर्ति, बिजली आदि हर महकमे में भ्रष्टाचार व्याप्त है।
जस्टिस पारडीवाला जनहित याचिकाओं पर फैसलों को लेकर अक्सर चर्चा में रहे हैं। इससे पहले उन्होंने आरक्षण को देश के विकास में बाधक बता दिया था, जिसके बाद अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति वर्ग से जुडे़ 50 सांसदों ने उनके खिलाफ संसद में महाभियोग लाने की चेतावनी दे दी थी।