समुद्र तटों की सुरक्षा के लिए दो दिवसीय अभ्यास आज से, नौसेना, कोस्ट गार्ड समेत कई सुरक्षा एजेंसियां लेंगी हिस्सा
तटीय रक्षा तंत्र को मजबूत करने के इरादे से भारतीय नौसेना और कोस्ट गार्ड मंगलवार और बुधवार को तटीय सुरक्षा अभ्यास करेंगी। दो दिवसीय इस अभ्यास को सी विजिल नाम दिया गया है जो सागर सतर्कता का दूसरा संस्करण है।
मुंबई, पीटीआइ। तटीय रक्षा तंत्र को मजबूत करने के इरादे से भारतीय नौसेना और कोस्ट गार्ड मंगलवार और बुधवार को तटीय सुरक्षा अभ्यास करेंगी। दो दिवसीय इस अभ्यास को 'सी विजिल' नाम दिया गया है, जो सागर सतर्कता का दूसरा संस्करण है। पश्चिमी नौसेना कमांड मुख्यालय में कमांड तटीय सुरक्षा अधिकारी कैप्टन अजय यादव ने कहा कि इसका मकसद देश के तटों की सुरक्षा तैयारियों का आकलन करना है।
यह अभ्यास देश के सभी तटीय राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों और भारत के विशेष आर्थिक क्षेत्रों के साथ किया जाएगा। साथ ही इसमें सभी हितधारकों को शामिल किया जाएगा। इनमें नौसेना के साथ ही भारतीय वायु सेना, कोस्ट गार्ड, राष्ट्रीय सुरक्षा गार्ड (एनएसजी), पुलिस, कस्टम, सीआइएसएफ, मत्स्यपालन, डीजी शिपिंग, पोर्ट ट्रस्ट इत्यादि शामिल हैं।
उन्होंने कहा कि इस अभ्यास में तकनीकी इंफ्रास्ट्रक्चर का व्यापक पैमाने पर उपयोग करने के साथ ही सुरक्षा बलों के 'आंख और कान' के रूप में काम करने वाले मछली पकड़ने वाले समुदाय की क्षमता को भी परखा जाएगा। समुद्र के रास्ते आने वाले किसी भी तरह के खतरे की जानकारी यह समुदाय ही सबसे पहले देता है।
कैप्टन यादव ने कहा कि सभी युद्धपोतों पर स्वत: सूचना प्रणाली (एआइएस) स्थापित की गई है, इसके जरिये गुरुग्राम स्थित सूचना प्रबंधन एवं विश्लेषण केंद्र को उनके बारे में पल-पल की जानकारी मिलती रहेगी। यहां से यह जानकारी देश के विभिन्न हिस्सों में स्थित संयुक्त संचालन केंद्रों (जेओसी) को जारी की जाएगी।
उल्लेखनीय है कि पूर्वी लद्दाख में चीन के साथ चल रहे तनाव के बीच भारतीय नौसेना लगातार अभ्यास कर रही है। अभी हाल ही में उसने वियतनाम की नौसेना के साथ दक्षिण चीन सागर में दो दिन अभ्यास किया था। यह अभ्यास समुद्री सुरक्षा में सहयोग बढ़ाने के लिहाज से किया गया था। दो दिन के इस अभ्यास में दोनों देशों की नौसेनाओं ने एक-दूसरे की खूबियों और सामरिक तकनीक को समझा-जाना।