Lockdown-4: पहले सप्ताह में सामने आए 40941 मामले, रोजाना डेढ़ लाख से अधिक टेस्ट करने की क्षमता
भारत में लॉकडाउन के चौथे चरण के पहले 7 दिनों में 40 हजार से अधिक मामले सामने आए हैं। वहीं दूसरी तरफ भारत में अधिक से अधिक टेस्ट करने की क्षमता भी हासिल की है।
नई दिल्ली। लॉकडाउन-4 शुरू हुए एक सप्ताह पूरा हो गया है, लेकिन इस चरण के लॉकडाउन में अब तक जो आंकड़े सामने आए हैं उनके मुताबिक 40941 मामले सामने आए हैं। येआंकडां अपने आप में चौंकाने वाला है।
आपको यहां पर ये भी बता दें कि लॉकडाउन का चौथा चरण कुल 14 दिनों का है। लेकिन पहले ही सप्ताह में कोरोना के इतने मामले सामने आनके के बाद चिंता होनी स्वाभाविक है। इसके आंकड़े इस बात की तरफ इशारा कर रहे हैं इस लॉकडाउन में पहले के तीन लॉकडाउन के मुकाबले दोगुने मामले सामने आ सकते हैं।
हालांकि यहां पर एक संतोष करने वाली बात ये भी है कि फरवरी में भारत में इस वायरस को टेस्ट करने के लिए मात्र एक लैब थी लेकिन आज देश में 599 लैब मौजूद हैं। इनकी बदौलत अब देश में कोरोना जांच की क्षमता 1.5 लाख टेस्ट प्रतिदिन हो गई है जो एक बड़ी बात है। भारत का ये प्रदर्शन दूसरे देशों की तुलना में काफी बेहतर है। भारत में इस वक्त कोविड के डेडिकेटेड हेल्थ सेंटर की संख्या 2065 हैं। इसमें भी करीब 1.77 लाख बेड हैं। हमने 7063 कोविड केयर सेंटर विकसित किए। इसमें 6.5 लाख बेड उपल्ब्ध हैं।
आपको यहां पर ये भी बता दें कि अब भारत दुनिया के सबसे अधिक कोरोना प्रभावित देशों में ईरान को पछाड़कर 10वें नंबर पर आ गया है। इस महामारी का ये एक ऐसा पहलू है जिस पर हम सभी को विचार करना जरूरी है। आपको बता दें कि वरिष्ठ डॉक्टरों की तरफ से इस बात की आशंका पहले ही जताई जा चुकी है कि आने वाले माह में इस वायरस के संक्रमण की रफ्तार अब से कहीं अधिक होगी। लिहाजा ऐसे में हम सभी की जिम्मेदारी काफी बढ़ जाती है।
इस बीच केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ हर्षवर्धन के मुताबिक भारत ने सही वक्त पर लॉकडाउन लागू कर एक बड़ा कदम उठाया जिसकी वजह से संक्रमण की रफ्तार कम करने में मदद मिल सकी। वहीं यदि दूसरे देशों की बात करें कई देशों ने यहीं पर चूक कर दी थी, इसका खामियाजा इन देशों को भुगतना पड़ा है। बहरहाल, डॉक्टर हर्षवर्धन के मुताबिक लॉकडाउन से पहले भारत में कोरोना मरीजों की संख्या 3.4 दिनों में दोगुनी हो रही थी। आज 13 दिनों से ज्यादा वक्त में मामले दोगुने हो रहे हैं। आपको बता दें कि कोरोना संकट को देखते हुए देश में 25 मार्च से लॉकडाउन लागू किया गया था।
18 मई से शुरू हुए इस लॉकडाउन के चौथे चरण में लगातार मामले बढ़े हैं। 18 मई को 5242, 19 मई को 4970, 20 मई को 5611, 21 मई को 5609, 22 मई को 6088, 23 मई 6654, 24 मई को 6767 मामले सामने आए। भारत में अब तक कोरोना की वजह से 4024 मरीजों की मौत हो चुकी है। हालांकि यहां पर एक अच्छी बात ये भी सामने आई है कि भारत में अब तक कोरोना वायरस से पीडि़त 57721 मरीज ठीक भी हुए हैं। इसके अलावा भारत में 77103 एक्टिव केस हैं।
लॉकडाउन के विभिन्न फेज की ही बात यदि करें तो पता चल जाता है कि 25 मार्च 2020 को जब देश में लॉकडाउन की शुरुआत हुई थी तब तक देश में कोरोना के 657 मामले सामने आ चुके थे। लॉकडाउन-1, जो कि 21 दिनों के लिए था और जो 14 अप्रैल को खत्म हुआ था उस दौरान देश में कोरोना संक्रमितों की संख्या बढ़कर 11487 तक पहुंच गई थी। इसका अर्थ है कि इस दौरान देश में 10830 नए मामले सामने आए। लॉकडाउन के इस चरण में कुल 381 मौतें हुई थीं। इसी तरह लॉकडाउन-2 जो कि 15 अप्रैल से 3 मई तक था लगाया गया था उस दौरान देश में कुल मरीजों की संख्या 11487 से बढ़कर 42505 तक पहुंच गई। 19 दिनों के लिए लगाए गए इस लॉकडाउन-2 में कोरोना के 31018 नए मामले सामने आए थे और 969 मौतें हुई थीं। वहीं लॉकडाउन-3 जो कि 4-17 मई के लिए था में कोरोना के 53193 नए मामले सामने आए और देश में कुल मामलों की संख्या 95698 तक जा पहुंची। लॉकडाउन के इस चरण में कुल 1634 मौतें हुई थीं।