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भगोड़े मेहुल चोकसी पर कसेगा शिकंजा, सीबीआइ और विदेश मंत्रालय ने उठाए ये बड़े कदम

सरकार ने भगोड़े हीरा कारोबारी मेहुल चोकसी के प्रत्‍यर्पण की कोशिशें तेज कर दी हैं। सरकार ने डोमिनिका की अदालत में अभियोग आवेदन दाखिल किया है। एक आवेदन सीबीआई की ओर से जबकि दूसरा विदेश मंत्रालय की ओर से दाखिल किया गया है।

By Krishna Bihari SinghEdited By: Published: Sat, 12 Jun 2021 04:23 PM (IST)Updated: Sun, 13 Jun 2021 12:16 AM (IST)
सरकार ने भगोड़े हीरा कारोबारी मेहुल चोकसी के प्रत्‍यर्पण की कोशिशें तेज कर दी हैं।

नई दिल्‍ली, एजेंसियां। सरकार ने भगोड़े हीरा कारोबारी मेहुल चोकसी के प्रत्‍यर्पण की कोशिशें तेज कर दी हैं। सरकार ने डोमिनिका की अदालत में अभियोग आवेदन दाखिल किया है। एक आवेदन सीबीआई की ओर से जबकि दूसरा विदेश मंत्रालय की ओर से दाखिल किया गया है। सीबीआई मेहुल चौकसी की भगोड़ा स्थिति साबित करने के लिए पीएनबी मामले पर ध्यान केंद्रित करेगी जबकि विदेश मंत्रालय उसकी भारतीय नागरिकता की स्थिति पर ध्यान केंद्रित करेगा। समाचार एजेंसी एएनआई ने सूत्रों के हवाले से बताया है कि यदि इन आवेदनों को स्‍वीकार कर लिया जाता है तो दिग्‍गज वकील हरीश साल्वे सीबीआई और विदेश मंत्रालय दोनों का प्रतिनिधित्व करेंगे।  

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वहीं समाचार एजेंसी पीटीआइ के मुताबिक डोमिनिका हाईकोर्ट ने अवैध रूप से घुसपैठ के मामले में भगोड़ा हीरा कारोबारी मेहुल चोकसी को जमानत देने से इनकार कर दिया है। उच्च न्यायालय ने अपने फैसले में कहा है कि चोकसी के भाग जाने का खतरा है। मालूम हो कि चोकसी 23 मई को एंटिगुआ और बरबुडा से लापता हो गया था और कथित तौर पर 26 मई को उसे डोमिनिका में पकड़ लिया गया था। चोकसी 2018 से एंटीगुआ और बारबुडा में नागरिक के तौर पर रह रहा था। चोकसी ने डोमिनिका में मजिस्ट्रेट अदालत द्वारा जमानत याचिका खारिज किये जाने के बाद उच्च न्यायालय का रुख किया है।

चोकसी (62) के खिलाफ इंटरपोल रेड नोटिस जारी किया गया। वह 23 मई को रहस्यमय परिस्थिति में एंटीगुआ और बारबुडा से गायब हो गया। भारत से भागने के बाद यहां वह बतौर नागरिक 2018 से रह रहा था। उसे अपनी कथित प्रेमिका के साथ पड़ोसी द्वीपीय देश डोमिनिका में अवैध रूप से घुसने के आरोप में हिरासत में लिया गया। चोकसी के वकीलों ने आरोप लगाया कि एंटीगुआई और भारतीय जैसे दिखने वाले पुलिसकर्मियों ने एंटीगुआ में जोली हार्बर से उसका अपहरण किया और नौका से डोमिनिका ले गये। सीबीआई और विदेश मंत्रालय डोमिनिका हाईकोर्ट में हलफनामा दाखिल कर के बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका में पक्षकार बनाए जाने की अपील कर चुके हैं।

केंद्रीय जांच एजेंसी सीबीआइ चोकसी की आपराधिक जवाबदेही, भगोड़ा मामले की स्थिति, उसके खिलाफ लंबित वारंट, रेड नोटिस और चार्जशीट दायर करने पर ध्यान केंद्रित करेगी। वहीं विदेश मंत्रालय चोकसी की भारतीय नागरिकता को लेकर दलीलें देगा। समाचार एजेंसी पीटीआइ के मुताबिक बंदी प्रत्यक्षीकरण मामले की सुनवाई कर रहे डोमिनिका हाईकोर्ट के न्यायाधीश बर्नी स्टीफेंसन के आदेश पर चोकसी को अवैध प्रवेश के आरोपों का जवाब देने के लिए रोसियू मजिस्ट्रेटी अदालत में पेश किया गया। हालांकि इस पेशी के दौरान चोकसी ने अपना गुनाह कबूल नहीं किया। इसके बाद अदालत ने उसे जमानत देने से इनकार कर दिया।


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