Move to Jagran APP

उच्च शिक्षण संस्थानों को अब शोध कार्यों से जुड़ना होगा, सरकार ने तैयार किया रोडमैप, एनआरएफ रखेगा निगाह

देश के उच्च शिक्षण संस्थान अब शोध कार्यों से मुंह नहीं मोड़ सकेंगे। इसके लिए सरकार एक नया इन्फ्रास्ट्रक्चर तैयार करने में जुटी है। संस्थानों की क्षमता के आधार पर उन्हें शोध कार्यों का जिम्मा दिया जाएगा। नेशनल रिसर्च फाउंडेशन इस पर नजर रखेगा।

By Krishna Bihari SinghEdited By: Published: Sun, 26 Sep 2021 09:24 PM (IST)Updated: Sun, 26 Sep 2021 11:34 PM (IST)
उच्च शिक्षण संस्थानों को अब शोध कार्यों से जुड़ना होगा, सरकार ने तैयार किया रोडमैप, एनआरएफ रखेगा निगाह
देश के उच्च शिक्षण संस्थान अब शोध कार्यों से मुंह नहीं मोड़ सकेंगे।

नई दिल्ली [जागरण ब्यूरो]। देश के उच्च शिक्षण संस्थान अब शोध कार्यों से मुंह नहीं मोड़ सकेंगे। उन्हें आने वाले दिनों में शोध कार्य करना जरूरी ही होगा। शोध को बढ़ावा देने में जुटी केंद्र सरकार अब इसके लिए देश में एक नया इन्फ्रास्ट्रक्चर तैयार करने में जुटी है। इसमें उच्च शिक्षण संस्थानों को शोध के लिए विषय और पैसा दोनों ही मुहैया कराया जाएगा। बताया जाता है कि नेशनल रिसर्च फाउंडेशन (एनआरएफ) इस पर नजर रखेगा...

loksabha election banner

संख्‍या बड़ी लेकिन योगदान...?

अभी देश में करीब 40 हजार ऐसे उच्च शिक्षण संस्थान है, जिनका देश में कुल होने वाले शोध कार्यों में सिर्फ एक फीसद का योगदान है। इनमें बड़ी संख्या ऐसे संस्थानों की है, जहां लंबे अर्से से एक भी शोध कार्य नहीं हुआ है और न ही कोई शोध पत्र ही प्रकाशित हुआ है।

सरकार बदलना चाहती है हालात

शोध को बढ़ावा देने में जुटी केंद्र सरकार इस क्षेत्र की मौजूदा तस्‍वीर को बदलना चाहती है। फिलहाल इसका जिम्मा शोध कार्यों को नई ऊंचाई देने के लिए प्रस्तावित नेशनल रिसर्च फाउंडेशन (एनआरएफ) को सौंपा गया है जो अब उच्च शिक्षण संस्थानों के साथ मिलकर इसे गति देगा। शिक्षा मंत्रालय के मुताबिक एनआरएफ के गठन का पूरा ढांचा तैयार हो गया है, जल्द ही यह अपना काम भी शुरू कर देगा।

मुहैया कराई जाएगी वित्तीय मदद

फिलहाल सभी उच्च शिक्षण संस्थानों को शोध से जोड़ने की जो योजना बनाई गई है, उसके तहत एनआरएफ आम लोगों और उद्योगों की जरूरत को देखते हुए शोध के विषयों को जुटाएगा। बाद में संस्थानों की क्षमता के आधार पर उन्हें इस कार्य का जिम्मा देगा। इस दौरान वह संस्थानों को शोध के लिए जरूरी वित्तीय मदद भी मुहैया कराएगा।

उच्च शिक्षण संस्थानों को भी होगा लाभ

एनआरएफ को तेजी से आगे बढ़ाने में जुटी एजेंसियों के मुताबिक शोध कार्यों से उच्च शिक्षण संस्थानों को भी बड़ा लाभ मिलेगा। क्योंकि पूरी दुनिया में शीर्ष उच्च शिक्षण संस्थानों में वहीं जगह पता है, जहां शोध कार्यों का प्रदर्शन बेहतर रहता है। ऐसे में बड़ी संख्या में भारतीय उच्च शिक्षण संस्थान भी दुनिया के शीर्ष संस्थानों में जगह बना सकेंगे।

छात्रों का थमेगा पलायन

साथ ही उच्च शिक्षा के लिए दुनिया के दूसरे देशों में जाने वाले भारतीय छात्रों का पलायन भी थमेगा। इससे देश की अर्थव्यवस्था को भी मजबूती मिलेगी। गौरतलब है कि देश में मौजूदा समय में करीब 50 हजार उच्च शिक्षण संस्थान है, इनमें करीब एक हजार विश्वविद्यालय और 45 हजार कालेज शामिल हैं।

पांच सालों में शोध पर पचास हजार करोड़ खर्च का लक्ष्य

शोध को बढावा देने में जुटी केंद्र सरकार ने अगले पांच सालों में अकेले शोध पर पचास हजार करोड खर्च करने और एनआरएफ के गठन का ऐलान किया है। एनआरएफ देश में शोध को एक संयुक्त प्लेटफार्म देगा। साथ ही देश में होने वाले सभी शोधों पर नजर रखेगा। उनकी गुणवत्ता को जांचेगा। पैसा भी देगा। साथ ही यह सुनिश्चित भी करेगा, कि शोध समय पर पूरे हो और उम्मीदों पर खरे उतरें। अभी देश में शोध का इंफ्रास्ट्रक्चर पूरी तरह से बिखरा हुआ है। अभी अपने मनमाफिक शोध से जुड़ी गतिविधियों को संचालित करते है। 


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.