Move to Jagran APP

अब सेवानिवृत्त के बाद पेंशन के लिए नो टेंशन

सेवानिवृत्ति के बाद पेंशन तय कराने के लिए सरकारी कर्मचारियों को दफ्तरों के चक्कर लगाने न पड़ें इसके लिए सरकार ने नई पेंशन नियमावली लागू कर दी है। शुक्रवार को जारी इसकी अधिसूचना के अनुसार, सेवानिवृत्त हो रहे कर्मचारियों के सर्विस रिकॉर्ड सत्यापित करने में नाकामी के लिए दफ्तर का बॉस जिम्मेदार होगा। इतना ही

By Edited By: Published: Mon, 01 Sep 2014 08:20 PM (IST)Updated: Mon, 01 Sep 2014 08:21 PM (IST)
अब सेवानिवृत्त के बाद पेंशन के लिए नो टेंशन

नई दिल्ली। सेवानिवृत्ति के बाद पेंशन तय कराने के लिए सरकारी कर्मचारियों को दफ्तरों के चक्कर लगाने न पड़ें इसके लिए सरकार ने नई पेंशन नियमावली लागू कर दी है। शुक्रवार को जारी इसकी अधिसूचना के अनुसार, सेवानिवृत्त हो रहे कर्मचारियों के सर्विस रिकॉर्ड सत्यापित करने में नाकामी के लिए दफ्तर का बॉस जिम्मेदार होगा। इतना ही नहीं कर्मचारियों को सेवानिवृत्ति के तत्काल बाद पेंशन मिलने लगे इसके लिए अब सेवानिवृत्त होने के एक साल पहले से ही पेंशन के लिए दफ्तर का प्रमुख कागजी प्रक्रिया पूरी कराएगा।

prime article banner

सरकारी कर्मचारी की सेवा पुस्तिका का समयबद्ध ढंग से पुष्टि के लिए कार्यालय का बॉस ही जिम्मेदार होगा। अभी कई मामलों में कर्मचारियों को अपने सर्विस रिकॉर्ड को सत्यापित कराने के लिए मारा-मार फिरना पड़ता है।

इस अधिसूचना के मुताबिक सेवानिवृत्त हो रहे कर्मचारियों को आवेदन पत्रों में कथित कमियों की वजह से पेंशन देरी नहीं झेलनी पड़ेगी। बॉस तब तक तत्कालिक तौर पर पेंशन और ग्रेच्यूटी दे सकते हैं। नई नियमावली के मुताबिक, प्रत्येक कार्यालय का प्रमुख पेंशन को फार्म-7 में तैयार कराने के काम का बीड़ा कर्मचारी की सेवानिवृत्ति की उम्र सीमा पूरी होने या उस तारीख से जिस दिन से वह सेवानिवृत्ति से पहले अवकाश पर जा रहा है दोनों में जो भी पहले हो, उसके एक साल पहले से ही उठाएगा। इतना ही नहीं कर्मचारी की मौत के बाद उस पर आश्रितों को पेंशन पाने में परेशानी नहीं हो इसके लिए और भी कई प्रावधान किए गए हैं। केंद्र सरकार के पेंशनभोगियों की संख्या करीब 50 लाख है।

पढ़ें: ईपीएफओ ने तय किया न्यूनतम पेंशन, लाखों लोगों को मिलेगा लाभ

पढ़ें: यहां मुर्दे भी उठाते हैं पेंशन


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.