आतंकी फंडिंग के आरोपी पर कसा फेमा का शिकंजा
एनआइए इस साल जनवरी में ही जहूर वटाली समेत अन्य आरोपियों के खिलाफ आतंकी फंडिंग के आरोप में चार्जशीट दाखिल कर चुकी है।
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। कश्मीर घाटी में आतंकी फंडिंग के आरोपी व्यापारी पर अब फेमा का भी शिकंजा कस गया है। प्रवर्तन निदेशालय ने जहूर अहमद शाह वटाली को फेमा उल्लंघन के आरोप में कारण बताओ नोटिस जारी कर दिया है। ध्यान देने की बात है कि फेमा के तहत कारण बताओ नोटिस सामान्य कानून के तहत दाखिल होने वाले चार्जशीट के समान होता है।
ईडी के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि आतंकी फंडिंग की जांच के दौरान जहूर वटाली के एनआरआइ बने बिना उनकी सुविधाओं वाले देश-विदेश में बैंक एकाउंट खोलने और उनमें लेन-देन करने के सबूत मिले थे। जो सीधे तौर पर फेमा कानून का का उल्लंघन है। 2002-03 से 2008-09 के बीच इन खातों में 63 लाख रुपये की विदेशी मूद्रा आयी थी। वटाली एजेंसी को इसका संतोषजनक जवाब नहीं दे पाया।
ध्यान देने की बात है कि आतंकी फंडिंग की जांच करने वाली एनआइए इस साल जनवरी में ही जहूर वटाली समेत अन्य आरोपियों के खिलाफ आतंकी फंडिंग के आरोप में चार्जशीट दाखिल कर चुकी है। एनआइए का आरोप है कि जहूर वटाली पाकिस्तान खुफिया एजेंसी आइएसआइ व अन्य आतंकी संगठनों की ओर हवाला के माध्यम से घाटी में आतंकी गतिविधियों को जारी रखने के लिए फंड पहुंचाने का मुख्य जरिया था। खाड़ी के कई देशों के मार्फत ये पैसे जहूर वटाली की कंपनियों के सहारे घाटी तक पहुंचाये जाते थे। जहां ये पैसे हुर्रियत के अलगाववादी नेताओं से लेकर विभिन्न आतंकी संगठनों में बांटे जाते थे।