विशाखा गाइडलाइंस पर सख्त हुआ डीजीसीए, यौन उत्पीड़न की घटनाओं पर अंकुश लगाने की दी सलाह
विमानन नियामक ने बताया है कि सुप्रीम कोर्ट ने विशाखा मामले में संस्थानों में यौन उत्पीड़न जैसी स्थितियों से निपटने के लिए व्यवस्था दी है।
नई दिल्ली, प्रेट्र। नागर विमानन महानिदेशालय (DGCA) ने सभी एयरलाइंस के मुख्य कार्यकारी अधिकारियों (CEO) को विशाखा गाइडलाइन का कड़ाई से अनुपालन करने को कहा है। किसी भी संस्थान में यौन उत्पीड़न के मामलों से निपटने में यह गाइडलाइन उपयोगी है।
डीजीसीए ने सीईओ को बुधवार को भेजे गए पत्र में कहा है कि उसके पास विभिन्न एयरलाइंस में काम करने वाली पायलट, केबिन क्रू और अन्य तकनीकी क्षेत्र में काम करने वाली महिला सदस्यों की यौन उत्पीड़न संबंधी कई शिकायतें मिली हैं।
विमानन कंपनियों को व्यापक करना चाहिए प्रचार-प्रसार
उसने कहा कि सभी एयरलाइंस को विशाखा गाइडलाइन के सख्ती से अनुपालन की सलाह दी जाती है। विमानन कंपनियों को इसके बारे में व्यापक रूप से प्रचार-प्रसार करना चाहिए, ताकि महिलाकर्मी यौन उत्पीड़न की शिकायतें बेहिचक कर सकें और उनका नियमसंगत निपटारा भी किया जा सके।
दो सप्ताह के भीतर की जाए कार्रवाई
विमानन नियामक ने बताया है कि सुप्रीम कोर्ट ने विशाखा मामले में संस्थानों में यौन उत्पीड़न जैसी स्थितियों से निपटने के लिए व्यवस्था दी है। इसके तहत सभी संस्थानों में शिकायत समिति की स्थापना के निर्देश दिए गए हैं। साथ ही यौन उत्पीड़न के मामलों में दो सप्ताह के भीतर कार्रवाई की जानी चाहिए। सीईओ को भेजे गए एक पन्ने के पत्र में डीजीसीए ने चार पन्ने की विशाखा गाइडलाइन भी संलग्न की है।
नागरिक उड्डयन मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने गुरुवार को लोकसभा में बताया था कि वर्ष 2019 के दौरान एयर इंडिया और इसकी आनुषंगिक इकाइयों में यौन उत्पीड़न की 10 शिकायतें सामने आ चुकी हैं।