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पांच साल पहले पाकिस्तान से लौटी मूक-बधिर गीता अब अपने माता-पिता की तलाश में पहुंची महाराष्ट्र

तत्कालीन विदेश मंत्री सुषमा स्वराज को कोशिशों से उसे 26 अक्टूबर 2015 को वापस भारत लाया गया था। सुषमा ने गीता को हिंदुस्तान की बेटी कहा था। इंदौर में रह रही मूक-बधिर महिला गीता अपने माता-पिता को तलाश करने की उम्मीद लिए महाराष्ट्र के नांदेड़ पहुंची है।

By Bhupendra SinghEdited By: Published: Wed, 16 Dec 2020 07:12 PM (IST)Updated: Wed, 16 Dec 2020 07:12 PM (IST)
पांच साल पहले पाकिस्तान से लौटी मूक-बधिर गीता अब अपने माता-पिता की तलाश में पहुंची महाराष्ट्र
तत्कालीन विदेश मंत्री सुषमा स्वराज को कोशिशों से गीता को 2015 को वापस भारत लाया गया था।

नांदेड़, प्रेट्र। कई साल पाकिस्तान में रहने के बाद 2015 में भारत लौटी और मध्य प्रदेश के इंदौर में रह रही मूक-बधिर महिला गीता अपने माता-पिता को तलाश करने की उम्मीद लिए महाराष्ट्र के नांदेड़ पहुंची है।

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20 साल पहले पाक रेंजर्स ने गीता को लाहौर स्टेशन पर पर अकेला बैठा हुआ पाया था

करीब 20 साल पहले पाकिस्तानी रेंजर्स ने जब गीता को लाहौर स्टेशन पर समझौता एक्सप्रेस में अकेला बैठा हुआ पाया था तब वह महज सात या आठ साल की थी। ईधी फाउंडेशन से उसे एक व्यक्ति ने गोद ले लिया था।

Geeta is looking for family even after 5 years of returning from Pakistan -  TheNewsTrace

सुषमा स्वराज को कोशिशों से उसे 26 अक्टूबर, 2015 को वापस भारत लाया गया था

तत्कालीन विदेश मंत्री सुषमा स्वराज को कोशिशों से उसे 26 अक्टूबर, 2015 को वापस भारत लाया गया था। सुषमा ने गीता को 'हिंदुस्तान की बेटी' कहा था। सुषमा ने गीता से मुलाकात भी की थी और आश्वासन दिया था कि सरकार उसके माता-पिता की तलाश करने की पूरी कोशिश कर रही है।

30 साल की गीता एमपी के इंदौर में दिव्यांगों के लिए कार्यरत एनजीओ में रह रही है

गीता की उम्र इस समय करीब 30 साल बताई जाती है और वह वर्तमान में मध्य प्रदेश के इंदौर में दिव्यांगों के लिए कार्यरत गैर-सरकारी संगठन (एनजीओ) आनंद सर्विस सोसायटी में रह रही है। कई दंपतियों ने उसके माता-पिता होने का दावा किया, लेकिन वह उनमें से किसी को नहीं पहचान पाई और उनमें से कोई भी अपने दावों का साबित नहीं कर पाया।

मूक-बधिर गीता ने कहा- मेरा घर रेलवे स्टेशन के पास था और पास में एक नदी भी थी

एनजीओ के संकेत भाषा विशेषज्ञ ज्ञानेंद्र पुरोहित की मदद से गीता ने पत्रकारों को बताया कि वह अपने माता-पिता को तलाश करने की कोशिश करती रही है। उसने बताया कि उसका घर एक रेलवे स्टेशन के पास था जहां एक अस्पताल, मंदिर और पास में एक नदी भी थी।


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