Coronavirus in India: सावधान! कोरोना सेफ्टी मास्क एवं ऐप के नाम पर हो सकता है साइबर हमला
हैकर्स इन दिनों कई मॉलवेर या वायरस का इस्तेमाल कर रहे हैं। इनमें कोविडलॉक क्ति्रमसन रैट लोकिबॉट ट्रिकबॉट इमोटेट ट्रिकीमाउस एजेंट टेस्ला एवं विसियस पंडा जैसे वायरस शामिल हैं।
राजीव कुमार, नई दिल्ली। अगर आपको इन दिनों किसी ऐप को इंस्टॉल करने पर कोरोना सेफ्टी मास्क देने की पेशकश की जा रही हो तो सावधान रहिएगा। क्योंकि यह काम हैकर्स कर रहे हैं जो इस ऐप की मदद से आपके डेटा को उड़ाने के साथ आपके बैंक खाते को भी साफ कर सकते है। यह चेतावनी आईटी मंत्रालय की इंडियन कंप्यूटर इमरजेंसी रिस्पांस टीम (आईसीईआरटी) की तरफ से दी गई है।
आईसीईआरटी ने कहा है कि जब पूरी दुनिया कोरोना वायरस से लड़ रही है तो साइबर अपराधी लोगों को कोरोना या कोविड19 के नाम पर डराकर उन्हें नुकसान पहुंचा रहे हैं। हैकर्स इन दिनों कई मॉलवेर या वायरस का इस्तेमाल कर रहे हैं। इनमें कोविडलॉक, क्ति्रमसन रैट, लोकिबॉट, ट्रिकबॉट, इमोटेट, ट्रिकीमाउस, एजेंट टेस्ला एवं विसियस पंडा जैसे वायरस शामिल हैं।
आईसीईआरटी की चेतावनी में कहा गया है कि साइबर अपराधी की तरफ से भेजे गए कोरोना वायरस ट्रैकर ऐप को डाउनलोड करने पर यह आपके एंड्रायड फोन एवं कैमरा में अपनी पहुंच बना लेता है। कोरोना मास्क सेफ्टी लेने के लिए ऐप डाउनलोड करने पर ट्रोजन नामक वायरस को आपके फोन में छोड़ दिया जाता है और फिर साइबर अपराधी अपने हिसाब से आपके फोन से डेटा लेने में कामयाब हो सकता है। हैकर्स अपने वायरस के प्रमोशन के लिए इन दिनों कोविड19 को डिस्काउंट कोड के रूप में भी इस्तेमाल कर रहे हैं ताकि उन्हें आर्थिक लाभ मिल सके। आईसीईआरटी ने बताया है कि साइबर अपराधी कोविड19 के नाम पर साइबर अपराध करने के लिए भरोसेमंद संगठन या कंपनी के नाम का इस्तेमाल कर रहे हैं ताकि उनके नाम पर किसी पेशकश को जारी कर आपको जाल में फंसा सके।
आईसीईआरटी ने इस प्रकार के साइबर अपराध से बचने के लिए सबसे पहले फिशिंग मेल, थर्ड पार्टी ऐप या प्रोग्राम से दूर रहने की सलाह दी है। कोरोना से जुड़े कई कैंपेन के मेल आपको भेजे जा सकते हैं जो आपको क्लिक करने पर मजबूर कर सकता है, लेकिन उनसे बचकर रहना है।