दिल्ली-मुंबई में अब ऑन लाइन लेनी होगी भवन निर्माण की अनुमति
यदि आपको अपना घर बनवाना है तो इसकी अनुमति के लिए अब आपको ऑफिसों के चक्कर नहीं लगाने होंगे। दिल्ली और मुंबई में इसके लिए अब आपको ऑनलाइन आवेदन करना होगा।
नई दिल्ली (जागरण ब्यूरो)। दिल्ली व मुंबई में भवन निर्माण करने वालों को अब आन लाइन ही अनुमति लेनी होगी। इसके लिए कागज पर आवेदन करने की जरूरत नहीं है। सरकार के इस प्रावधान से आम लोगों को कार्यालयों के चक्कर लगाने से मुक्ति मिल जाएगी। एनडीएमसी में यह प्रावधान 15 मई से लागू हो जाएगा। जबकि राजधानी दिल्ली के नगर निगमों में इसे मई के आखिर तक लागू कर दिया जाएगा।
केंद्रीय शहरी विकास मंत्री एम. वेंकैया नायडू ने देश के अन्य शहरों को भी दिल्ली व मुंबई की तर्ज पर इस प्रावधान को लागू करने का अनुरोध किया है। बताया गया है कि दिल्ली शहरी निकाय में आटोमेटिक कलकुलेटर से फीस का निर्धारण किया जाएगा। जबकि निर्माण की अनुमति के लिए आन लाइन प्राप्त आवेदनों की मंजूरी के लिए 200 से अधिक वास्तुकार और इंजीनियर लगाये जाएंगे।
नायडू बृहस्पतिवार को यहां निर्माण में अनुमति लेने के प्रावधानों पर आयोजित एक कार्यशाला में बोल रहे थे। राष्ट्रीय राजधानी में आन लाइन अनुमति देने के प्रावधानों को दूसरे शहरी निकायों में लागू करने की अपील करते हुए नायडू ने कहा कि इससे लोगों को बहुत सहूलियत मिलेगी और इससे भ्रष्टाचार कम होगा। उन्होंने कहा कि लोकतंत्र में कई मर्तबा विधेयक समय पर पारित नहीं हो पाते हैं।
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नायडू ने कहा कि आन लाइन आवेदन व उसकी मंजूरी प्रणाली को सरल व सहज बनाया गया है। इसके पहले चरण में इसे दिल्ली व मुंबई में लागू किया जा रहा है। देश के अन्य शहरों यह प्रावधान चरणबद्ध तरीके से लागू किया जाएगा। इस प्रक्रिया को सरल बनाने शहरी क्षेत्रों में गरीबी कम होगी और लोगों को रोजगार मुहैया होंगे।
कार्यशाला में एनडीएमसी के अध्यक्ष नरेश कुमार ने कहा कि उनका परिषद 15 मई के बाद भवन निर्माण संबंधी कोई आवेदन हाथ से स्वीकार करेगा। सभी लोगों को आन लाइन ही आवेदन करना होगा। दिल्ली नगर निगमों के तरफ से संयुक्त प्रस्तुति डाक्टर पुनीत गोयल ने दी, जो दक्षिण नगर निगम के आयुक्त हैं। उन्होंने कहा कि तीनों नगर निगमों का एक ही तरह का आवेदन पत्र होगा, जिसे मई के आखिर तक आन लाइन कर दिया जाएगा। निगमों की ओर से फीस जमा करने का प्रावधान आटोमेटिक कलकुलेटर से ही हो रहा है।