कांग्रेस ने दिया खुर्शीद का साथ, भाजपा ने बोला हमला
विकलांग उपकरण घोटाला पर अरविंद केजरीवाल के ताजा आरोपों पर कांग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह केंद्रीय मंत्री सलमान खुर्शीद के बचाव में उतर आए हैं। जबकि भाजपा ने इस मामले में प्रतिक्रिया देते हुए कहा है कि पहले से ही भ्रष्टाचार के अनेक आरोपों का सामना कर रही कांग्रेस नीत संप्रग सरकार के हिस्से में एक और भ्रष्टाचार का मामला जुड़ गया है।
नई दिल्ली [जागरण ब्यूरो]। विकलांगों की सहायता के नाम पर घोटाले में फंसे सलमान खुर्शीद के बचाव में सरकार और कांग्रेस खुलकर उतर आई है। सलमान ने सोमवार को प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह से मुलाकात भी की, लेकिन मंत्रिमंडल से उनके इस्तीफे के संकेत नहीं हैं। सलमान के साथ एकजुटता दिखाने में दिग्विजय समेत पार्टी प्रवक्ताओं ने उनके पक्ष में जहां बयान दिए, वहीं सामाजिक न्याय मंत्री मुकुल वासनिक ने दो-टूक कहा कि खुर्शीद के एनजीओ जाकिर हुसैन मेमोरियल ट्रस्ट ने कोई गड़बड़ी नहीं की, लिहाजा उसका अनुदान नहीं रोका जाएगा। पार्टी का मानना है कि आरोपों का केंद्रीय कानून मंत्री ने प्रभावी तरीके से जवाब दिया है।
दूसरी ओर भाजपा के वरिष्ठ नेता यशवंत सिन्हा ने कहा, केंद्रीय कानून मंत्री सलमान खुर्शीद के खिलाफ लगे आरोप काग्रेस नीत संप्रग सरकार के शासनकाल के दौरान सामने आएं भ्रष्टाचार के अनेक मामलों की सूची में एक नए मामले के रूप में जुड़ गया हैं।
उन्होंने कहा, 2जी मामला, पूर्व इस्पात मंत्री वीरभद्र सिंह के खिलाफ भ्रष्टाचार के मामले, कोयला घोटाला और अब सलमान खुर्शीद पर भी भ्रष्टाचार के आरोप लगे है, जो कभी भी किसी शासन के अतीत में कभी नहीं हुआ है। यशवंत सिन्हा ने दावा करते हुए कहा, भ्रष्टाचार एक महामारी की तरह फैल गया है और इससे भारत की छवि दुनियाभर में खराब हुई है।
उधर, केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री अंबिका सोनी ने खुर्शीद को सम्मानित नेता बताते हुए दावा किया कि पार्टी उनके साथ है। साथ ही कहा कि केजरीवाल के हर आरोप का जवाब पार्टी नहीं देगी, क्योंकि वह आरोप बार-बार बदलते हैं। वहीं, काग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह ने भी साफ कहा कि खुर्शीद के इस्तीफे का कोई सवाल ही नहीं है। उन पर लगे आरोप झूठे साबित हो चुके हैं। इसके साथ ही उन्होंने कैग पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री और वित्तामंत्री इस बात की जांच कराएं कि सरकार के खिलाफ आंकड़े संसद के सामने पेश होने से पहले ही कैसे लीक हो जाते हैं। दूसरी ओर ट्रस्ट की मान्यता रद करने और अनुदान न देने की मांग को मुकुल वासनिक ने नकार दिया। उन्होंने कहा कि 2003 में राजग सरकार के कार्यकाल में एनजीओ को अनुदान दिया गया था। उनके एकाउंट में कोई गड़बड़ी नहीं है, लिहाजा हम उसे निरस्त नहीं कर सकते। पार्टी प्रवक्ता संदीप दीक्षित ने कहा कि चूंकि कोर्ट पहुंचने के साथ उत्तार प्रदेश सरकार ने इस मामले की जांच के आदेश दे दिए हैं। लिहाजा हमें यह यह मामला उत्तार प्रदेश सरकार और कोर्ट पर छोड़ देना चाहिए। उन्होंने कहा कि कानून मंत्री के प्रेस कांफ्रेंस के बाद यह साफ हो गया है कि जितनी बातें इस संबंध में कहीं गई वे सभी सत्य नहीं हैं। अगर किसी के पास सुबूत है तो उसे जांच दल या कोर्ट को मुहैया कराना चाहिए। ट्रस्ट द्वारा बताए गए लाभार्थियों के गलत नाम संबंधी टीवी चैनलों की रिपोर्ट पर उन्होंने कहा कि इस बाबत उनकी बातचीत सलमान की पत्नी लुईस खुर्शीद से हुई है और उन्होंने अपना स्पष्टीकरण दे दिया है। आरोपों में कोई दम नहीं है। रॉबर्ट वाड्रा पर पूछे गए सवाल पर दीक्षित ने कहा कि वह एक व्यवसायी हैं और उन्हें व्यापार करने की छूट है। डीएलएफ-वाड्रा सौदे पर हरियाणा सरकार ने भी कहा है कि आरोप निराधार हैं।
रकम 71 करोड़ होती तो हम गंभीर होते
नई दिल्ली [जागरण ब्यूरो]। सलमान खुर्शीद का बचाव करते-करते केंद्रीय इस्पात मंत्री बेनी प्रसाद वर्मा यह कह गए कि यदि यह रकम 71 करोड़ होती तो हम भी गंभीर होते। उनके मुताबिक एक केंद्रीय मंत्री के लिए 71 लाख रुपये की रकम बड़ी छोटी होती है। इसे घोटाला नहीं कहा जाना चाहिए। सलमान खुर्शीद जैसे नेता 71 लाख रुपये का घपला नहीं कर सकते।
वह इतने पर ही नहीं रुके और इस मुद्दे पर सड़कों पर सियासी कोहराम मचाए अरविंद केजरीवाल पर भी अभद्र भाषा का इस्तेमाल किया। उन्होंने कहा कि केजरीवाल जैसे लोगों को, जो अपनी पार्टी शुरू करने जा रहे हैं, रात-दिन भौंकने के बजाय कभी-कभार दहाड़ना चाहिए। वहीं, बयान से नाराज कांग्रेस महासचिव राहुल गांधी ने बेनी को तलब किया। इसके बाद बेनी की भाषा बदली नजर आई और उन्होंने अपने बयान पर सफाई भी दी। उन्होंने कहा कि 'मेरे बयान का गलत मतलब निकाला गया, एक रुपये का भ्रष्टाचार भी बर्दाश्त नहीं किया जाना चाहिए।'
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