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कूड़ेदानों के बजाय खुले में फेंक रहे कचरा

कस्बे की साफ सफाई को लेकर म्यूनिसिपल कमेटी ने भले ही कई स्थानों पर कूड़ेदान लगाने की व्यवस्था की है। बावजूद इसके सफाई अभियान सफल होता नहीं दिख रहा है। इसे जागरूकता का अभाव ही कहा जाएगा कि लोग कूड़ेदानों के बजाय खुले में ही जहां-तहां कचरा फेंक कर खुद

By Babita kashyapEdited By: Published: Wed, 04 Feb 2015 09:58 AM (IST)Updated: Wed, 04 Feb 2015 09:59 AM (IST)
कूड़ेदानों के बजाय खुले में फेंक रहे कचरा

संवाद सहयोगी, हीरानगर। कस्बे की साफ सफाई को लेकर म्यूनिसिपल कमेटी ने भले ही कई स्थानों पर कूड़ेदान लगाने की व्यवस्था की है। बावजूद इसके सफाई अभियान सफल होता नहीं दिख रहा है। इसे जागरूकता का अभाव ही कहा जाएगा कि लोग कूड़ेदानों के बजाय खुले में ही जहां-तहां कचरा फेंक कर खुद ही सफाई व्यवस्था को ग्रहण लगा रहे हैं।
कुछ लोग कमेटी का सहयोग नहीं कर रहे। लोग कमेटी की ओर से रखे गए कूड़ेदान में कचरा डालने के बजाय बाहर फेंक देते हैं। यही नहीं, लोगों ने कमेटी व तहसील कार्यालय के बीस गज की दूरी पर गोबर व कचरे के ढेर लगाने शुरू कर दिए हैं। हालांकि कमेटी व अन्य संस्थाओं ने कस्बे को साफ रखने के लिए कई बार जागरूकता अभियान भी चलाए, लेकिन फिर भी लोग सहयोग नहीं कर रहे। कस्बे के वार्ड नंबर 13 में ऐसे चार ढेर साफ देखे जा सकते हैं। ऐसे में लोगों को चाहिए कि देशभर में जारी स्वच्छता अभियान को सफल बनाने के लिए वह अधिकारियों का सहयोग करें।
म्यूनिसिपल कमेटी के ईओ जोध राज का कहना है कि कूड़ेदान या बाहर पड़ा कचरा तो कर्मचारी उठाकर कस्बे के बाहर नाले में फेंक देते हैं। अब गोबर कहां फेंके। लोग गोबर को खेतों के बजाय सड़कों पर फेंक देते हैं। उन्होंने कहा कि पहले सीमांत लोगों के पलायन के कारण व्यस्त थे, अब जल्द ही प्रत्येक वार्ड में शिविर लगाकर लोगों को जागरूक किया जाएगा। इसके बाद फिर भी कोई कचरा फैलाता है तो उस पर कार्रवाई की जाएगी।

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