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ज्यादा केस वाले जिलों में ठीक से नहीं हो रहा कोरोना नियंत्रण के उपायों का पालन, मिलीं खामियां

कोरोना के सर्वाधिक मामलों वाले जिलों में तैयारियां जांचने गईं केंद्रीय टीमों ने पाया है कि कई अस्पतालों में संक्रमण नियंत्रण उपायों का ठीक से पालन नहीं किया जा रहा है।

By Krishna Bihari SinghEdited By: Published: Wed, 29 Apr 2020 07:31 PM (IST)Updated: Wed, 29 Apr 2020 07:54 PM (IST)
ज्यादा केस वाले जिलों में ठीक से नहीं हो रहा कोरोना नियंत्रण के उपायों का पालन, मिलीं खामियां
ज्यादा केस वाले जिलों में ठीक से नहीं हो रहा कोरोना नियंत्रण के उपायों का पालन, मिलीं खामियां

नई दिल्ली, पीटीआइ। कोरोना वायरस के सर्वाधिक मामलों वाले जिलों में तैयारियां जांचने गईं केंद्रीय टीमों ने पाया है कि कई अस्पतालों में संक्रमण नियंत्रण उपायों का ठीक से पालन नहीं किया जा रहा था। इससे स्वास्थ्य कर्मियों की सुरक्षा के प्रति चिंता बढ़ गई है। आधिकारिक सूत्रों ने बुधवार को यह जानकारी दी। बता दें कि केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने क्लस्टर कंटेनमेंट के समुचित अनुपालन में राज्यों के स्वास्थ्य विभागों की मदद व समीक्षा करने और कोविड-19 के लिए अस्पतालों की तैयारियां जांचने के लिए छह उच्चस्तरीय टीमें गठित की थीं।

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इन विशेषज्ञों ने की पड़ताल 

टीमों में राष्ट्रीय रोग नियंत्रण केंद्र (एनसीडीसी), अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) और भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (आइसीएमआर) के विशेषज्ञ भी शामिल थे। इन टीमों ने अप्रैल के दूसरे और तीसरे हफ्ते में गुजरात, महाराष्ट्र, राजस्थान, मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, तेलंगाना और तमिलनाडु का दौरा किया था क्योंकि इन्हीं राज्यों में कोरोना के ज्यादा मामलों वाले जिले हैं।

स्वास्थ्य कर्मियों में संक्रमण की संभावना बढ़ी

सूत्रों के मुताबिक, 'उन्होंने देखा कि सैंपल कलेक्शन और कोरोना मरीजों के इलाज के दौरान संक्रमण नियंत्रण उपायों का ठीक से पालन नहीं किया जा रहा था। इसकी वजह से स्वास्थ्य कर्मियों में संक्रमण और उसके आगे ट्रांसमिशन की संभावना से चिंता बढ़ गई है।' केंद्रीय टीमों ने सिफारिश की है कि अस्पतालों में संक्रमण नियंत्रण गाइडलाइंस का सख्ती से पालन किया जाए। देश में संक्रमित स्वास्थ्य कर्मियों की संख्या के बारे में पूछे जाने पर एक अधिकारी ने कहा कि केंद्रीय स्तर पर इस तरह के आंकड़े नहीं रखे गए हैं।

कोल्ड चेन बरकरार रखी जाए

केंद्रीय टीमों ने राज्यों को सैंपल कलेक्शन और कोल्ड चेन को बरकरार रखते हुए उनके लैब तक ट्रांसफर में निर्धारित प्रक्रिया का पालन करने का सुझाव भी दिया है। सूत्रों ने बताया, 'यह देखा गया कि कुछ मामलों में कोल्ड चेन का पालन नहीं किया जा रहा था जिससे टेस्ट रिजल्ट गलत हो सकते हैं।' कोल्ड चेन के बारे में बताते हुए उन्होंने कहा कि सैंपलों, नमूनों, कुछ दवाओं और रीजेंट्स को एक खास तापमान पर रखने की जरूरत होती है। जब भी उन्हें एक स्थान से दूसरे स्थान पर ले जाया जाता है तो भी वही तापमान बरकरार रखना होता है ताकि वे खराब नहीं हो जाएं।

पैसिव सर्विलांस मजबूत करने की सिफारिश

केंद्रीय टीमों ने कंटेनमेंट जोनों में घर-घर सर्वे के लिए ज्यादा से ज्यादा फील्ड स्टाफ तैनात करने और बफर जोनों में पैसिव सर्विलेंस को मजबूत बनाने की सिफारिश की है ताकि बिना लक्षण वाले मरीज छूट न जाएं। टीमों ने अस्पतालों में हल्के, मध्यम और गंभीर मरीजों के लिए अलग-अलग क्षेत्र निर्धारित करने की सिफारिश भी की है क्योंकि कई स्थानों पर इसका पालन नहीं किया जा रहा था।

स्वास्थ्य कर्मी गाइडलाइंस से अनजान

केंद्रीय टीमों को ने स्वास्थ्य कर्मियों को प्रशिक्षण प्रदान करने की सिफारिश भी की है क्योंकि उनमें से कइयों से बातचीत में पता चला कि वे कोविड-19 के मरीजों की देखभाल के दौरान पालन की जाने वाली गाइडलाइंस से अनजान थे जो बेहद चिंताजनक है।


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