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Pandora Papers Case: सीबीडीटी की अध्यक्षता में बहुस्तरीय एजेंसियां करेंगी पैंडोरा पेपर्स मामले की जांच

केन्द्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) के आधिकारिक प्रवक्ता ने कहा कि पैंडोरा पेपर्स से संबंधित मामलों की जांच की जाएगी। सरकार ने सोमवार को निर्देश दिया है कि पेंडोरा पेपर लीक के मामलों की जांच की निगरानी सीबीडीटी के अध्यक्ष की अध्यक्षता में की जाएगी।

By Dhyanendra Singh ChauhanEdited By: Published: Mon, 04 Oct 2021 07:01 PM (IST)Updated: Mon, 04 Oct 2021 08:21 PM (IST)
Pandora Papers Case: सीबीडीटी की अध्यक्षता में बहुस्तरीय एजेंसियां करेंगी पैंडोरा पेपर्स मामले की जांच
सीबीडीटी, प्रवर्तन निदेशालय, भारतीय रिजर्व बैंक और वित्तीय खुफिया इकाई के प्रतिनिधि होंगे

नई दिल्ली, एएनआइ। केन्द्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) के आधिकारिक प्रवक्ता ने कहा कि पैंडोरा पेपर्स से संबंधित मामलों की जांच की जाएगी। सरकार ने सोमवार को निर्देश दिया है कि पैंडोरा पेपर लीक के मामलों की जांच की निगरानी सीबीडीटी के अध्यक्ष की अध्यक्षता में की जाएगी, जिसमें सीबीडीटी, प्रवर्तन निदेशालय, भारतीय रिजर्व बैंक और वित्तीय खुफिया इकाई के प्रतिनिधि होंगे।

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केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) ने एक बयान में कहा कि सरकार ने इस पर ध्यान दिया है और संबंधित बहुस्तरीय एजेंसियां ​​इन मामलों की जांच करेंगी और कानून के अनुसार उचित कार्रवाई की जाएगी।

दुनियाभर में अमीर व्यक्तियों की वित्तीय संपत्ति का खुलासा करने वाले 'पैंडोरा पेपर्स' में व्यवसायियों सहित 300 से अधिक धनी भारतीयों के नाम शामिल हैं, और कई भारतीयों ने गलत कामों के आरोपों को खारिज कर दिया है। इंटरनेशनल कंसोर्टियम ऑफ इन्वेस्टिगेटिव जर्नलिस्ट्स (ICIJ) ने 'पैंडोरा पेपर्स', ऑफशोर टैक्स हैवन्स में वित्तीय रिकॉर्ड के एक लीक को प्राप्त किया है।

इन मामलों की प्रभावी जांच सुनिश्चित करने के लिए सरकार प्रासंगिक करदाताओं/संस्थाओं के संबंध में जानकारी प्राप्त करने के लिए विदेशी क्षेत्राधिकारों के साथ भी सक्रिय रूप से जुड़ेगी। सीबीडीटी ने कहा कि भारत सरकार भी एक अंतर-सरकारी समूह का हिस्सा है जो इस तरह के लीक से जुड़े कर जोखिमों को प्रभावी ढंग से संबोधित करने के लिए सहयोग और अनुभव साझा करना सुनिश्चित करता है। सीबीडीटी ने आगे कहा कि अब तक केवल कुछ भारतीयों (कानूनी संस्थाओं के साथ-साथ व्यक्तियों) के नाम मीडिया में सामने आए हैं।

यहां तक ​​कि आइसीआइजे की वेबसाइट ने अभी तक सभी संस्थाओं के नाम और अन्य विवरण जारी नहीं किए हैं। आइसीआइजे की वेबसाइट का सुझाव है कि जानकारी चरणों में जारी की जाएगी और पैंडोरा पेपर्स जांच से जुड़े संरचित डेटा आने वाले दिनों में ही इसके ऑफशोर लीक्स डेटाबेस पर जारी किए जाएंगे।

बता दें कि पैंडोरा पेपर्स के नाम से लीक हुए करोड़ों दस्तावेज में भारत समेत 91 देशों के वर्तमान एवं पूर्व नेताओं, अफसरों और मशहूर हस्तियों के वित्तीय रहस्यों को उजागर करने का दावा किया गया है। इन दस्तावेजों में सबसे चौंकाने वाला नाम मशहूर पूर्व क्रिकेटर सचिन तेंदुलकर का है। साथ ही इसमें भारत के छह और पाकिस्तान के सात राजनेताओं के नाम भी शामिल हैं।

सचिन तेंदुलकर के वकील ने कहा सारा निवेश है वैध

इंटरनेशनल कंसोर्टियम आफ इंवेस्टीगेटिव जर्नलिस्ट्स (ICIJ) ने रविवार को जारी अपनी कथित रिपोर्ट में दावा किया कि तेंदुलकर की विदेश में संपत्तियां हैं। हालांकि उनके वकील का कहना है कि उनके निवेश वैध हैं और कर अधिकारियों के पास इसकी जानकारी है। भारत के अन्य लोगों के बारे में विवरण नहीं मिल पाया है।


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