बूस्टर डोज के तौर पर नेजल वैक्सीन का परीक्षण करना चाहती है भारत बायोटेक, DCGI से मंजूरी मांगी
भारत बायोटेक ने अपने इंट्रानैसल कोविड वैक्सीन (Intranasal Covid vaccine) की बूस्टर डोज के लिए डीसीजीआई को तीसरे चरण के क्लिनिकल ट्रायल के लिए आवेदन प्रस्तुत किया है। कोविड रोधी यह वैक्सीन कोवैक्सीन और कोविशील्ड लगवा चुके लोगों को भी दी जा सकती है।
नई दिल्ली, पीटीआइ। भारत बायोटेक नाक से देने वाली (नेजल) अपनी कोरोना रोधी वैक्सीन का बूस्टर डोज के रूप परीक्षण करना चाहती है। कोविशील्ड या कोवैक्सीन लगवा चुके लोगों पर इसके तीसरे चरण के क्लीनिकल परीक्षण के लिए कंपनी ने भारत के दवा महानियंत्रक (डीसीजीआइ) से अनुमति मांगी है। हैदराबाद स्थित भारत बायोटेक द्वारा तैयार की जा रही नेजल वैक्सीन बीबीवी154 को अभी देश में लगाने की अनुमति नहीं मिली है। अगस्त में डीसीजीआइ ने इसके दूसरे चरण के परीक्षण के लिए मंजूरी दी थी।
तीसरे चरण के परीक्षण की अनुमति मांगी
एक अधिकारी ने कहा कि भारत बायोटेक ने पहले से कोरोना रोधी टीका लगवाने वाले लोगों पर तीसरी (बूस्टर) डोज के रूप में बीबीवी154 और बीबीवी152 की सुरक्षा और प्रतिरक्षा का आकलन करने के लिए तीसरे चरण के परीक्षण की अनुमति मांगी है।
एडेनोवायरस से तैयार हुई है वैक्सीन
बीबीवी154 एक वेक्टर वैक्सीन है जिसे चिंपांजी के कमजोर एडेनोवायरस से तैयार किया गया है। कंपनी अमेरिका के सेंट लुईस स्थित वाशिंगटन यूनिवर्सिटी के लाइसेंस पर इसे बना रही है। पहले चरण के परीक्षण में इसे कारगर पाया गया है।
बूस्टर डोज पर फैसला सही समय पर होगा
बूस्टर डोज को लेकर पिछले हफ्ते नीति आयोग के सदस्य (स्वास्थ्य) डा. वीके पाल ने कहा था कि वैज्ञानिकों की टीम इसका आकलन कर रही है और उपयुक्त समय पर इस पर फैसला किया जाएगा। अभी सबसे पहली प्राथमिकता ज्यादा से ज्यादा लोगों को टीके की कम से कम पहली डोज लगाने की है।
शीशी खुलने के बाद भी 28 दिन तक खराब नहीं होगी कोवैक्सीन
भारत बायोटेक ने सोमवार को कहा कि उसकी कोरोना रोधी कोवैक्सीन को शीशी खुलने के बाद भी दो से आठ डिग्री सेल्सियस तापमान में 28 दिनों तक सुरक्षित रखा जा सकता है। खुली शीशी में बची रहने वाली वैक्सीन को उसी दिन या टीका सत्र खत्म होने के तुरंत बाद फेंकने की जरूरत नहीं होगी। दो डोज वाली वैक्सीन अभी चार से छह हफ्ते के अंतराल पर लगाई जाती है। कंपनी ने यह भी बताया कि केंद्रीय दवा मानक नियंत्रण संगठन (सीडीएससीओ) ने कोवैक्सीन की वैधता अवधि (एक्सपायरी डेट) को भी उत्पादन की तिथि से बढ़ाकर 12 महीने कर दिया है।