भय्यूजी मामले में एक और खुलासा, सेवादार से की थी सुसाइड कर लेने की बात
भय्यूजी महाराज दूसरी शादी कर पछता रहे थे। पत्नी अक्सर विवाद करती थी। महिला थाने में घसीटने की धमकी देती थी।
इंदौर (जेएनएन)। भय्यूजी महाराज आत्महत्या केस में भले ही पुलिस ने किसी को जिम्मेदार नहीं माना, लेकिन दोस्त और गुप्त सेवादार इसके लिए उनकी पत्नी डॉ. आयुषी पर ही प्रताड़ना का आरोप लगा रहे हैं। एक दोस्त ने तो अफसरों को बताया कि महाराज डॉ. आयुषी का जिक्र कर फूटफूट कर रोए थे। भय्यूजी महाराज के दोस्त ने पिछले दिनों डीआइजी से मिलकर कहा कि डॉ. आयुषी से दूसरी शादी करने के बाद महाराज परेशानी में घिर गए थे। तनाव इतना हुआ कि कई बीमारियों ने घेर लिया। कुछ समय पहले वह भंडारी अस्पताल में भर्ती थे। वह उनसे मिलने गया तो डॉ. आयुषी भी वहीं थी। इस दौरान भय्यूजी महाराज शांत रहे लेकिन जैसे ही डॉ. आयुषी किसी काम से पार्किंग तक गई, महाराज फूटफूट कर रोने लगे।
किया ये खुलासा
उन्होंने कहा कि वह दूसरी शादी कर पछता रहे हैं। पत्नी अक्सर विवाद करती है। महिला थाने में घसीटने की धमकी देती है। अब और अपमान सहन नहीं कर सकता। किसी दिन खुद को शूट कर लूंगा। कुछ दिन बाद वह महाराज के घर गया और डॉ. आयुषी को समझाने की कोशिश की। उसने कहा कि ऐसे हालातों में महाराज आत्महत्या जैसा कदम भी उठा सकते हैं। आपको उनकी चिंता करनी चाहिए।
गुप्त सेवादर के पत्र में लिखी है घर की हकीकत
जांच में शामिल अफसर के मुताबिक डीआइजी को मिले गोपनीय पत्र में कई बातें सच हैं। जो बातें सेवादार और परिजन के बयानों में सामने आईं, उन बातों का भी पत्र में दिन और समय के साथ उल्लेख किया गया है। पत्र में लगाए गए आरोपों की गोपनीय जांच शुरू करवा दी गई है। उधर डॉ. आयुषी की मां रानी शर्मा ने पुलिस जांच पर सवाल उठाए हैं। उनका कहना है कि आत्महत्या की असल वजह कुछ और है। पुलिस को कॉल डिटेल की छानबीन करनी चाहिए।
कौन-कौन सी बातें अब तक आईं सामने
आपको बता दें कि जब से भय्यूजी महाराज की मौत हुई है उसके बाद से ही कई सारी अनसुनी बातें सामने आ चुकी हैं। संत भय्यू महाराज अपनी दूसरी पत्नी और बेटी के बीच चल रही जंग में बुरी तरह फंस गए थे। बेटी के डर से उन्हें पत्नी से चोरों की तरह मिलने आना पड़ता था। उन्हें हर वक्त यही भय सताता रहता था कि बेटी और पत्नी में कभी भी हाथापाई हो सकती है। यह खुलासा भय्यू महाराज की सास रानी शर्मा ने पुलिस के समक्ष किया है। गौरतलब है कि खुदकुशी से पहले एक कागज पर भय्यूजी ने लिखा था- 'बहुत ज्यादा तनाव में हूं, छोड़ कर जा रहा हूं।' इसके बाद भय्यूजी ने अपनी बंदूक से खुद को गोली मार ली। जब तक अस्पताल लेकर पहुंचे तब तक भय्यूजी इस दुनिया को अलविदा कह चुके थे।
शादी के लिए राजी नहीं थी रानी
रानी ने बताया- 'वे भय्यू महाराज से बेटी की शादी के लिए कतई राजी नहीं थे। काफी दबाव के बाद उन्हें शादी की हामी भरना पड़ी, शादी के पहले वे कुहू से मिलना चाहते थे। महाराज ने उन्हें भरोसा दिलाया और कहा कि कुहू शादी के लिए मान गई है। महाराज ने शादी की तारीख तय की। शादी में कुहू नहीं आई। शादी के करीब 10 दिन ही बीते थे कि कुहू अचानक घर आ गई। उसने आते ही हंगामा किया और आयुषी से मारपीट शुरू कर दी। आयुषी पति को कॉल कर मिलने बुलाती थी। बेटी के डर से भय्यू महाराज रात 12 बजे दबे पांव घर से निकलते और चोरों की तरह मिलने आते। वे कुहू के जागने से पहले सुबह 6 बजे उठकर निकल जाते थे। उन्होंने बेटी और पत्नी का विवाद सुलझाने की कोशिशें भी की, लेकिन कुहू आत्महत्या की धमकी देती थी।
कुहू की जल्द शादी करने की बात
जांंच में यह बात भी सामने आई कि भय्यूजी कुहू की जल्द शादी कर देना चाहते थे। वह उसके लिए लड़का ढूंढ रहे थे, लेकिन कुहू ने शादी से इंकार कर दिया और कहा कि वह अभी छोटी है और पढ़ना चाहती है। कुहू ने कहा कि वह पिता की दूसरी शादी के पक्ष में नहीं थी। उसने न आयुषी को कभी अपनी मां माना, न ही उससे कभी बातचीत की। उसने यह भी बताया कि महाराज की शादी के कुछ दिन बाद आयुषी से विवाद हुआ और घर में तस्वीरें फेंक दी। इन घटनाओं की वजह से पिता तनाव में थे।
भय्यू्जी पर कर्ज का बोझ
आश्रम से जुड़े सूत्रों में इस बात की भी चर्चा है कि भय्यू महाराज आर्थिक परेशानी का सामना कर रहे थे। उन्होंने कुछ दिनों पूर्व 10 लाख रुपए कर्जा भी लिया था। कुछ कारोबारी और अकसर उनके आश्रम आने वाली मुंबई की प्रसिद्ध गायिका से भी रुपए की गुहार लगाई थी। बताया तो यह भी जाता है कि एक महीने पूर्व वह निजी अस्पताल में भर्ती हुए तो उपचार के लिए रुपए कम पड़ गए। भय्यू महाराज के अनुयायियों ने उनकी आत्महत्या पर भी सवाल उठाए हैं। उन्होंने कहा कि भय्यू महाराज बाएं हाथ का उपयोग करते थे यानी लेफ्टहैंंडी थे, लेकिन उनकी मौत दाईं ओर गोली लगने से हुई हैं। उन्हें गोली चलाने पर भी संदेह है।
कौन थे भय्यूजी महाराज
29 अप्रैल 1968 को जन्मे भय्यूजी महाराज का असली नाम उदयसिंह देखमुख था। वे शुजालपुर के जमीदार परिवार से ताल्लुक रखते थे। कभी कपड़ों के एक ब्रांड के लिए मॉडलिंग कर चुके भय्यूजी महाराज अब गृहस्थ संत थे। सदगुरु दत्त धार्मिक ट्रस्ट उनकी ही देखरेख में चलता था। उनका मुख्य आश्रम इंदौर के बापट चौराहे पर है। उनकी पत्नी माधवी का दो साल पहले निधन हो चुका है। पहली शादी से उनकी एक बेटी कुहू है, जो पुणे में रहकर पढ़ाई कर रही है। पहली पत्नी माधवी के निधन के बाद उन्होने ग्वालियर की डॉक्टर आयुषी शर्मा से दूसरा विवाह किया था।