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Anu Malik Interview: इंडियन आइडल 11 में बतौर जज वापसी पर जताई खुशी, बोले- अभी भी जारी है मेरी जंग

इंडियन आइडल 11 में वापसी करने पर अनु मलिक ने कहा कि बहुत अच्छा लग रहा है। बीच में एक ब्रेक आ गया था।

By Manish PandeyEdited By: Published: Sat, 02 Nov 2019 05:43 PM (IST)Updated: Sat, 02 Nov 2019 05:43 PM (IST)
Anu Malik Interview: इंडियन आइडल 11 में बतौर जज वापसी पर जताई खुशी, बोले- अभी भी जारी है मेरी जंग
Anu Malik Interview: इंडियन आइडल 11 में बतौर जज वापसी पर जताई खुशी, बोले- अभी भी जारी है मेरी जंग

नई दिल्ली, प्रियंका सिंह। पिछले साल मी टू में गायक और संगीतकार अनु मलिक का नाम आने के बाद उन्हें इंडियन आइडल 10 में जज की कुर्सी छोड़नी पड़ी थी। अब इंडियन आइडल 11 में वह दोबारा बतौर जज वापसी कर चुके है। 

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अनु मलिक से खास बातचीत

प्रियंका सिंह: आप इंडियन आइडल के पहले सीजन से जुड़े रहे हैं। मी टू में नाम आने के बाद आपको शो छोड़ना पड़ा था। वापसी करके कैसा लग रहा है?

अनु मलिक: बहुत अच्छा लग रहा है। इस बार हमें कई कमाल के गायक मिले हैं। बीच में जो ब्रेक आ गया था, उसको लेकर बस यही कहना चाहता हूं कि इंडियन आइडल के आने से सबके सिर पर म्यूजिक का पारा चढ़ने वाला है।

प्रियंका सिंह: बतौर जज प्रतियोगियों के साथ कितना वक्त बिता पाते हैं?

अनु मलिक: मैं उनके साथ उठता-बैठता, खाता-पीता हूं। शो के नियमों के मुताबिक अब प्रतियोगी हमसे बात नहीं कर सकते हैं। हम केवल सेट पर ही उनसे मिल सकते हैं। पहले के सीजन के प्रतियोगी आज भी मुझे कॉल करते हैं। मैं उन्हें अपना सहयोग देता रहता हूं। जिन बच्चों को इस सीजन के लिए हमने चुना है, उन्हें भी टिप्स देता रहता हूं।

प्रियंका सिंह: रियलिटी शो से बाहर निकलने के बाद कई गायकों को बहुत ज्यादा काम नहीं मिल पाता है। इसके पीछे क्या वजह मानते हैं?

अनु मलिक: मुझे जब मोनाली ठाकुर इंडियन आइडल में मिली थीं, तब वह फाइनलिस्ट नहीं थीं, लेकिन मैंने कहा था कि मैं उनके साथ काम करूंगा। मैंने अपना वादा पूरा किया। मोह मोह के धागे... गाना मैंने उनको दिया, जिसके लिए उन्हें राष्ट्रीय पुरस्कार मिला। इंडियन आइडल जीतने के बाद जंग तो जारी ही रहती है। मैं अनु मलिक बन चुका हूं, लेकिन मेरी भी जंग जारी है। आज कई संगीतकार हैं, जो अच्छा काम कर रहे हैं। उनके सामने काम हासिल करना और अपना नाम बनाए रखने के लिए मेहनत करते रहनी पड़ती है। मैं हमेशा यह नहीं कह सकता हूं कि मैंने बाजीगर, मैं हूं ना, विरासत, बॉर्डर जैसी 400 फिल्मों के लिए गाने बनाए हैं। मैंने दम लगाके हईशा, सुई धागा जैसी फिल्मों के लिए गाने बनाए हैं। जंग तो सबको लड़नी पड़ेगी। एक बात यह भी है कि जितने भी बच्चों का इंडियन आइडल में नाम होता है, उनका पासपोर्ट हमसे ज्यादा भारी होता है। वह दुनिया घूमकर इस मंच पर आते हैं। मैं छप्पन साल का हो गया हूं। मैंने इतनी दुनिया अभी तक नहीं देखी है। इस शो के जरिए हर प्रतियोगी दुनिया के कोने तक पहुंच रहे हैं। उन्हें सारी जिंदगी के लिए रोटी मिल जाती है।

प्रियंका सिंह: आप गानों में हमेशा पारंपरिक मूल्यों को शामिल करने की बात करते हैं?

अनु मलिक: जुबां पर अचानक से शायरी आ जाना, गाने बना लेना, यह सब मैं मां सरस्वती की कृपा समझता हूं। उन्होंने मेरे पिता सरदार मलिक के जरिए मुझमें यह प्रतिभा सौंपी है। मैं पांच साल का था, तब से घर का वातावरण ही संगीतमय रहा है। मैं हमेशा से अपने देश के लिए प्यार अपने गानों के जरिए दर्शाना चाहता था। संदेशे आते हैं..., पंक्षी नदिया... गाना आज भी गूंजता है। मैं अपने देश की महानता से प्रेरित रहा हूं। लोकमान्य तिलक, वल्लभ भाई पटेल, शहीद भगत सिंह, महात्मा गांधी से बहुत प्रभावित रहा हूं। हमारे देश में इतने त्योहार, अलग-अलग भाषाएं और बोलियां हैं, उनकी झलक गानों में होनी ही चाहिए।

प्रियंका सिंह: इन दिनों रीमिक्स गानों का जो दौर चल रहा है उसको लेकर क्या कहना चाहेंगे?

अनु मलिक: पहले एक स्टाइल का गाना चलता था। अब कलाकार भी गाने गाते हैं। लोगों को थोड़ा बदलाव चाहिए। मैं इस पर बहस नहीं करता हूं। पहले झंकार बीट्स होते थे, अब रीमिक्स का जमाना आ गया है। आजकल के बच्चों ने पुराने गाने सुने ही नहीं हैं। नए पैकेज में उन्हें यह गाने दिए जा रहे हैं। उम्मीद यही करता हूं कि ओरिजनैलिटी कायम रहे। नए गाने बनाना बहुत जरूरी है। मुझे इस बात का डर है कि अगर पुराने गाने ही रीमिक्स होते रहे तो आज के युवा संगीतकारों को असली गाने बनाने का मौका ही नहीं मिलेगा।

प्रियंका सिंह: गानों में तकनीक का ज्यादा प्रयोग किया जाने लगा है। आप तकनीक के साथ खुद को अपग्रेड करते रहना पसंद करते हैं?

अनु मलिक: मैं एक जमाने में लाइव संगीत बनाता था। आज मैं लॉजिक पर काम करता हूं। मेरे कई पसंदीदा ऐप्स हैं, जिन पर मैं काम करता हूं। मैंने सोचा नहीं था कि मैं तकनीक का इतना इस्तेमाल करूंगा। हमें क्या पता था कि फोन पर संगीत आ जाएगा। नई तकनीक के अनुरूप खुद को उसमें ढालना पड़ता है। हर किसी को यह समझना जरूरी है कि दुनिया बदल चुकी है और हमें भी दुनिया के साथ बदलना पड़ेगा।

प्रियंका सिंह: अब एक ही फिल्म में चार से पांच संगीतकार काम करते हैं। आप आज भी फिल्म का पूरा एलबम करने में यकीन रखते हैं?

अनु मलिक: जो नए बच्चे यह काम कर रहे हैं, मैं उन्हें जिम्मेदार नहीं ठहराऊंगा, क्योंकि वह अपना ब्रांड बनाना चाहते हैं। मैं खुद एक ब्रांड बन चुका हूं। मैं पूरी फिल्म का संगीत अकेले बनाने में यकीन रखता हूं। मैं इस दौर में भी उस ट्रेंड का हिस्सा नहीं बना हूं। जल्दी ही मैं एक बड़ी फिल्म साइन करने जा रहा हूं। फिल्म के बारे में अभी नहीं बता सकता हूं, लेकिन उस फिल्म के सभी गाने मैं ही बना रहा हूं। जब एक कंपोजर पूरी फिल्म करता है तो उस पर जिम्मेदारियां भी ज्यादा होती हैं।


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