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    तमिलनाडु में 13 साल की लड़की से यौन उत्पीड़न: 5 गिरफ्तार, हिरासत में 7 नाबालिग

    Updated: Tue, 13 May 2025 09:41 PM (IST)

    तमिलनाडु के पल्लवरम में 13 साल की लड़की से यौन उत्पीड़न के मामले में पांच पुरुष गिरफ्तार और सात नाबालिग हिरासत में हैं। लड़की के गर्भवती होने का पता अ ...और पढ़ें

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    पल्लवरम पुलिस स्टेशन के बाहर इकट्ठा भीड़, जहां यौन उत्पीड़न मामले में गिरफ्तारियां हुईं।

    डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। तमिलनाडु के पल्लवरम, चेन्नई के पास, पुलिस ने पांच लोगों को गिरफ्तार किया और सात नाबालिगों को हिरासत में लिया है। इन पर 13 साल की एक लड़की के साथ कई बार यौन उत्पीड़न करने का इल्ज़ाम है। यह मामला तब सामने आया जब लड़की को तेज पेट दर्द की शिकायत पर अस्पताल ले जाया गया।

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    डॉक्टरों ने जांच के दौरान पाया कि लड़की गर्भवती है, जिसके बाद उन्होंने तुरंत पुलिस को सूचित किया। यह कदम प्रोटेक्शन ऑफ चिल्ड्रन फ्रॉम सेक्सुअल ऑफेंसेस (पॉक्सो) एक्ट के तहत अनिवार्य है। लड़की की मां, जो पहले शिकायत दर्ज करने को राजी थी लेकिन बाद में ऐसा नहीं किया, को भी सहायता करने के इल्ज़ाम में गिरफ्तार किया गया।

    पुलिस की त्वरित कार्रवाई और जांच

    पुलिस को इस मामले की जानकारी तब मिली जब लड़की को स्थानीय अस्पताल में भर्ती कराया गया। डॉक्टरों ने गर्भावस्था की पुष्टि की और पुलिस को सूचित किया। इसके बाद पल्लवरम की ऑल-वुमन पुलिस स्टेशन ने तुरंत एक औपचारिक FIR दर्ज की और जांच शुरू की।

    पुलिस के मुताबिक, मुख्य आरोपी एक पानी का विक्रेता है, जिसने शादी का वादा करके लड़की से दोस्ती की और फिर उसका यौन शोषण किया। कई महीनों तक उसने कथित तौर पर अपने दोस्तों को लड़की से मिलवाया, जिन्होंने भी उसका उत्पीड़न किया।

    मामले की गंभीरता और कानूनी कदम

    यह मामला न केवल यौन उत्पीड़न की गंभीरता को दर्शाता है, बल्कि नाबालिगों की सुरक्षा के लिए कानून की सख्ती को भी रेखांकित करता है। पॉक्सो एक्ट के तहत, इस तरह के अपराधों में कड़ी सजा का प्रावधान है। पुलिस अब सभी आरोपियों के खिलाफ सबूत जुटा रही है ताकि मामले को अदालत में मजबूती से पेश किया जा सके।

    लड़की की मां की गिरफ्तारी ने भी इस मामले में एक नया मोड़ ला दिया है।

    पुलिस का कहना है कि वह इस बात की भी जांच कर रही है कि क्या और लोग इस अपराध में शामिल थे या नहीं। फिलहाल, पीड़िता को मेडिकल और मनोवैज्ञानिक सहायता दी जा रही है ताकि वह इस सदमे से उबर सके।

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