छत्तीसगढ़ में 125 स्टार्टअप, सरकार नये आइडिया को दे रही बढ़ावा
वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री अमर अग्रवाल ने झंडी दिखाकर योजना के प्रचार-प्रसार के लिए विशेष हाइटेक वाहन को जिलों के लिए रवाना किया।
रायपुर, नईदुनिया, राज्य ब्यूरो। छत्तीसगढ़ में नये आईडिया वाले स्टार्टअप को बढ़ावा देने के लिए सरकार ने स्टार्टअप यात्रा शुरू की है। नया रायपुर स्थित डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी उद्योग एवं व्यापार परिसर में स्टार्ट अप छत्तीसगढ़ यात्रा का शुभारंभ किया गया। वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री अमर अग्रवाल ने झंडी दिखाकर योजना के प्रचार-प्रसार के लिए विशेष हाइटेक वाहन को जिलों के लिए रवाना किया। स्टार्ट अप योजना के लिए सरकार ने कॉलेजों में प्रतियोगिता का आयोजन किया था, जिसमें तीन हजार 800 से ज्यादा नये आइडिया आए। इनमें से 125 सर्वश्रेष्ठ आइडिया का चयन करके स्टार्ट अप इंडिया में पंजीकृत कर लिया गया है।
अग्रवाल ने कहा कि उद्योग एवं व्यापार के क्षेत्र में नये-नये आइडिया को सामने लाने और उन्हें प्रोत्साहित करने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने स्टार्ट अप इंडिया योजना लागू की है। छत्तीसगढ़ में स्टार्ट अप योजना से राज्य के युवाओं को जोड़ने और लाभ दिलाने के लिए स्टार्ट-अप छत्तीसगढ़ योजना शुरू की गई है। राज्य सरकार ने इस संबंध में अलग स्टार्ट-अप नीति भी बनाई है।
उन्होंने कहा कि स्टार्ट अप योजना में छत्तीसगढ़ के युवा प्रतिभाओं ने उत्साहजनक भागीदारी निभाई है। स्टार्ट-अप गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए राजधानी के पंडरी में एक सर्वसुविधा युक्त केन्द्र भी बनाया गया है। सरकार नये उद्यमियों को काम करने के लिए कार्यालय, विपणन, केपिटल आदि जरूरत की चीजें उपलब्ध करा रही है।
कोई भी युवा बन सकता है बिल गेट्स : अमन
सूचना प्रौद्योगिकी विभाग और मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव अमन कुमार सिंह ने कहा कि छत्तीसगढ़ में कोर सेक्टर का उद्योग मजबूत स्थिति में था, लेकिन पिछले 4-5 वर्षों में आईटी सेक्टर ने बड़ी तेजी से प्रगति की है। आज छत्तीसगढ़ में 50-60 आइटी उद्योग की यूनिट आ चुकी हैं। इनमें लगभग 600 करोड़ का निवेश हो चुका है। आइटी सेक्टर में ज्यादा से ज्यादा लोगों को रोजगार प्रदान करने की संभावना होती है। जबकि पावर सेक्टर में रोजगार की संभावना अपेक्षाकृत बहुत कम होती है। नया रायपुर को आइटी हब के तौर पर विकसित किया गया है। छत्तीसगढ़ का कोई भी युवा बिल गेट्स की तरह उभर सकता है। उन्होंने व्ही वर्ग की कामयाबी का उदाहरण देते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ में अनेक ऐसी चीजें और परम्पराएं हैं, जिनसे प्रेरणा लेकर नई कम्पनियां बनाई जा सकती हैं। सिंह ने कामयाबी के लिए 4-सी कांसेप्ट को जरूरी बताया।
दिव्यांगजनों को उद्योग स्थापित करने में 50 लाख तक की मदद देगी सरकार
छत्तीसगढ़ सरकार के समाज कल्याण विभाग ने दिव्यांगजनों के लिए कई योजनाएं शुरू की हैं। अब समाज कल्याण विभाग ने उद्योग स्थापित करने के लिए दिव्यांग प्रतिभाओं से आवेदन मंगाया है। दिव्यांगों को उद्योग स्थापित करने में सरकार भरपूर मदद करेगी। स्टार्ट अप योजना के तहत नए आइडिया लेकर आने वाले दिव्यांग प्रतिभा को 50 लाख रूपये तक की वित्तीय मदद भी उपलब्ध कराई जाएगी।
समाज कल्याण विभाग के अधिकारियों ने बताया कि इस योजना के तहत दिव्यांगजन एक अगस्त से 20 अगस्त तक ऑनलाइन आवेदन दे सकते हैं। चयनित प्रतिभागियों का नाम पांच सितंबर को घोषित किया जाएगा। इसके बाद उनके लिए ट्रनिंग कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा। दिव्यांग उद्योगपतियों को 10 सितंबर से 25 सितंबर तक विशेष प्रशिक्षण दिया जाएगा। प्रशिक्षण का दूसरा सत्र अक्टूबर में भी आयोजित किया जाएगा। चयनित दिव्यांगों को आइएनसी सेंटर पंडरी में ट्रेनिंग दी जाएगी। वहां उनके लिए हाइस्पीड इंटरनेट समेत तमाम सुविधाएं जुटाई जाएंगी। देश-विदेश के एक्सपर्ट उन्हें प्रशिक्षण देंगे। इस शिविर में निर्माण उद्योग, सूचना तकनीक प्रयोगशाला, मल्टी मीडिया प्रयोगशाला जैसी सुविधाएं उपलब्ध होंगी। दिव्यांगों की स्टार्टअप इंडस्ट्री के लिए 50 लाख की प्राथमिक पूंजी का इंतजाम भी सरकार करेगी। दिव्यांगों से ऐसे उद्योगों की अपेक्षा की गई है जो दूसरे दिव्यांगों के लिए मददगार हों। इस योजना का लाभ लेने के लिए छत्तीसगढ़ का मूल निवासी होना अनिवार्य शर्त है।