Move to Jagran APP

वाराणसी में रेल मंत्री का फर्जी निजी सचिव बनकर धन उगाही करने वाला गिरफ्तार, ट्रांसफर व पोस्टिंग के लिए बनाता था अनुचित दबाव

साइबर क्राइम थाने की पुलिस ने गुरुवार को रेल मंत्री के फर्जी निजी सचिव बताकर ट्रांसफर-पोस्टिंग कराने का झांसा देने वाले जालसाज को गिरफ्तार किया है। बिहार के पश्चिमी चंपारण के मठिया-राजपुर का रहने वाला जालसाज अधिकारियों पर दबाव बनाकर धन उगाही करता था। ठिकाने बदल-बदल कर रहता था।

By Anurag SinghEdited By: Published: Thu, 18 Aug 2022 08:22 PM (IST)Updated: Thu, 18 Aug 2022 08:22 PM (IST)
वाराणसी में रेल मंत्री का फर्जी निजी सचिव बनकर धन उगाही करने वाला गिरफ्तार, ट्रांसफर व पोस्टिंग के लिए बनाता था अनुचित दबाव
सारनाथ साइबर क्राइम पुलिस ने रेलमंत्री के फर्जी निजी सचिव को किया गिरफ्तार।

वाराणसी, जागरण संवाददाता। साइबर क्राइम थाने की पुलिस ने गुरुवार को रेल मंत्री के फर्जी निजी सचिव बताकर ट्रांसफर-पोस्टिंग कराने का झांसा देने वाले जालसाज को गिरफ्तार किया है। बिहार के पश्चिमी चंपारण के मठिया-राजपुर का रहने वाला जालसाज अधिकारियों पर दबाव बनाकर धन उगाही करता था। वर्तमान समय में वह भेलूपुर के खोजवां रामलीला मैदान व अस्सी क्षेत्र में ठिकाने बदल-बदल कर रहता था। उसके पास से जालसाजी में इस्तेमाल किया जाने वाला मोबाइल फोन व 950 रुपये बरामद किए गए।

loksabha election banner

आरपीएफ के डीजी ने भेजा था पत्र

प्रदेश के अपर पुलिस महानिदेशक साइबर क्राइम को आरपीएफ के महानिदेशक ने पत्र भेजा था कि मोबाइल नंबर 9140605348 से संबधित रजत कुमार मिश्रा स्वयं को रेल मंत्री का निजी सचिव बताता है। वह रेलवे के वरिष्ठ अधिकारियों को काल कर अनुचित दबाव बनाता है। रेल मंत्री के कार्यालय में इस नाम का कोई अधिकारी या कर्मचारी नहीं है। प्रदेश के एडीजी साइबर क्राइम ने इसकी जांच सारनाथ स्थित परिक्षेत्र के साइबर क्राइम थाने की पुलिस को सौंपी थी। इस मामले में 18 अक्टूबर 2021 को साइबर क्राइम थाने में धोखाधड़ी व आइटी एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज कर विवेचना की जा रही थी। साइबर क्राइम क्षेत्राधिकारी अविनाश चंद्र सिन्हा ने बताया कि मोबाइल नंबर की काल डिटेल व सर्विलांस की मदद से आरोपित रजत को चिह्नित कर उसे दबोच लिया गया।

इन्हें करता था काल

क्षेत्राधिकारी साइबर क्राइम अविनाश चंद्र सिन्हा ने बताया कि पूछताछ में आरोपित ने स्वीकार किया कि वह दो मोबाइल नंबरों से रेल मंत्री का फर्जी निजी सचिव बनकर रेलवे के अधिकारियों को काल कर दबाव बनाता था। ट्रांसफर व पोस्टिंग कराने, रेल टिकट कंफर्म कराने के नाम पर प्रदेश से लेकर बिहार व पश्चिम बंगाल तक रेलवे के कई अधिकारियों से अब तक धन उगाही की है। उसके द्वारा जनरल मैनेजर ईस्ट कोस्ट रेलवे भुवनेश्वर तथा डिवीजनल रेलवे मैनेजर हुबली को भी फोन काल किया गया था।

प्रोटोकाल के साथ लोगों को दर्शन कराकर उनसे ऐंठ लेता था रुपये

काशी विश्वनाथ मंदिर कंट्रोल रूम में फोन काल कर बनारस व गोरखपुर के डीएम का लायजनिंग अधिकारी बनकर या फिर रेल मंत्री का निजी सचिव बनकर अपना नाम आरके मिश्रा बताता था।। साथ ही प्रोटोकाल के साथ लोगों को दर्शन कराकर उनसे रुपये ऐंठ लेता था। एसपी देवरिया श्रीपति मिश्रा का भांजा बनकर भी कई बार अलग-अलग अधिकारियों को काल कर अनुचित लाभ लिया है।

शक न होने के कारण बनाया था पुजारी का वेश

पूछताछ में उसने बताया कि पुलिस की गिरफ्त से बचने के लिए वह सामान्य तौर पर पुजारी के वेश में ही रहता था। इससे उस पर किसी को शक भी नहीं होता था। उसे यह भी याद नहीं है कि अब तक उसने किसने रुपये कमाए। जो भी पैसा मिलता उससे वह नए-नए मोबाइल फोन व कपड़े खरीदने से लेकर होटलों में ठहरने व मौज मस्ती में खर्च कर दिया। वह इस अपराध में दो-ढाई साल से जुड़ा है।

गिरफ्तारी करने वाली टीम

रेंज के पुलिस महानिरीक्षक के सत्यनारायण के निर्देशन में आरोपित को गिरफ्तार करने वाली पुलिस टीम में साइबर क्राइम थाना प्रभारी निरीक्षक विजय नारायण मिश्र, हेड कांस्टेबल प्रभात कुमार द्विवेदी, कांस्टेबल गोपाल चौहान, अनिल कुमार, गौतम कुमार व राहुल कुमार शामिल थे।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.