कोआपरेटिव बैंकों में भ्रष्टाचार की जांच को कर्मचारी हुए मुखर
सीसीटीवी कैमरा और कंप्
कोआपरेटिव बैंकों में भ्रष्टाचार की जांच को कर्मचारी हुए मुखर
जागरण संवाददाता, बांदा : जिला सहकारी बैंक के कर्मचारियों ने सीसीटीवी कैमरा और कंप्यूटराइजेशन में किए गए करोड़ों रुपये के घोटाले की उच्च स्तरीय जांच कराने सहित अन्य समस्याओं को लेकर काली पट्टी बांध विरोध जताया। महाप्रबंधक को ज्ञापन देकर उच्च स्तरीय जांच कमेटी गठित कर शीघ्र कार्रवाई की मांग की।
शुक्रवार को कोआपरेटिव बैंकों के कर्मचारियों ने मुख्य शाखा में धरना दिया और काली पट्टी बांध कर विरोध जताया। मुख्य कार्यपालक को दिए ज्ञापन में कहा कि मुख्य शाखा और इसकी 27 शाखाओं में कंप्यूटराइजेशन और सीसीटीवी कैमरों को लगवाने में करोड़ों का घोटाला किया गया। इसकी जांच सालों से लंबित है। इसकी उच्च स्तरीय जांच कमेटी गठित कर जांच कराई जाए। कर्मचारियों ने नए लाइसेंस प्राप्त 16 जिला सहकारी बैंकों के कर्मचारियों को भी आयुक्त एवं निबंधक के वेतनमान पुनरीक्षण परिपत्र की सुविधा देने, चीनी मिलों को नियमों, अधिनियमों, नाबार्ड व सामान्य बैंकिंग के नियमों का उल्लंघन कर बैंकों द्वारा वित्त पोषण करने की जांच कराने और 2012 से 2017 के मध्य भर्ती कर्मचारियों से संबंधित आयुक्त एवं निबंधक कार्यालय के लगाए गए प्रतिबंध समाप्त करते हुए सभी सुविधाएं देने की मांग की। कहा कि मांगे पूरी न होने पर 19 से 22 अगस्त तक काली पट्टी बांधकर विरोध करेंगे। शाम पांच बजे हर रोज धरना-प्रदर्शन किया जाएगा। 23 से 25 अगस्त तक बैंक मुख्यालयों पर पांच कर्मचारी प्रतिदिन धरना देंगे। 26 को डीएम कार्यालय पर धरना प्रदर्शन करेंगे। इस तरह पांच सितंबर को प्रदेश स्तरीय धरना प्रदर्शन होगा।
इस मौके पर हृदयेन्द्र जाटव, हेमेंद्र नाथ, रवि वर्मा समेत तमाम कर्मचारी शामिल रहे।