CBSE Board Exam: 10वीं-12वीं के छात्रों को भी आंतरिक परीक्षा के आधार पर किया जाए उत्तीर्ण : सिसोदिया
CBSE Board Exam 2020 दिल्ली सरकार ने केंद्र सरकार से मंगलवार को आग्रह किया है कि 10वीं और 12 वीं के बच्चों की बची हुई परीक्षा ना ली जाए।
नई दिल्ली, राज्य ब्यूरो। CBSE Board Exam 2020: देश में कोरोना की मौजूदा स्थिति को देखते बोर्ड परीक्षा देने वाले 10वीं और 12वीं के छात्रों के बचे हुए पेपर न लिए जाएं। ऐसे छात्रों को उनकी आंतरिक परीक्षा के आधार पर उत्तीर्ण किया जाए ताकि वे अगली कक्षा में प्रवेश ले सकें। यह सुझाव उपमुख्यमंत्री व शिक्षामंत्री मनीष सिसोदिया ने केंद्रीय मानव संसाधन मंत्री रमेश पोखरियाल 'निशंक' को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये बातचीत में दिए। निशंक ने मंगलवार को देशभर के शिक्षा मंत्रियों की बैठक बुलाई थी।
बैठक में सिसोदिया ने कहा कि स्वास्थ्य की दृष्टि से आज नहीं तो कल हम कोरोना से बाहर निकल ही जाएंगे, लेकिन इसका शिक्षा और अर्थव्यवस्था पर जो प्रभाव पड़ेगा वह दूरगामी होगा। इसलिए हम सब शिक्षा मंत्रियों की जिम्मेदारी बनती है कि इससे कम से कम नुकसान हो, इसके लिए हम अभी से तैयार रहें।
सिसोदिया ने कहा कि 9वीं और 11वीं कक्षा के छात्रों को भी आंतरिक मूल्यांकन के जरिये ही पास किया गया है। ऐसी व्यवस्था 10वीं व 12वीं के छात्रों के लिए भी लागू करनी चाहिए। क्योंकि निकट भविष्य में भी शारीरिक दूरी की वजह से बचे हुए पेपर कराना संभव नहीं होगा।
सभी पाठ्यक्रम में हो तीस फीसद की कटौती
सिसोदिया ने आग्रह किया कि अगले शैक्षणिक सत्र में सीबीएसई सभी कक्षा के पाठ्यक्रम में तीस फीसद की कटौती करे। अगले जेईई व नीट परीक्षा के सिलेबस में भी तीस प्रतिशत की कटौती करे। इसके साथ ही केंद्र सरकार का मानव संसाधन विकास विभाग दूरदर्शन व ऑल इंडिया रेडियो द्वारा एयरटाइम दिलाए ताकि दिल्ली सरकार के शिक्षक इसके द्वारा आनलाइन कक्षा ले सकें। उन्होंने कहा कि दिल्ली सरकार पिछले एक माह से तकनीक का इस्तेमाल कर लाखों बच्चों तक शिक्षा पहुंचा रही है। दिल्ली सरकार के स्कूलों में मात्र 68 फीसद बच्चों के पास स्मार्टफोन हैं, जबकि सभी बच्चों को ऑनलाइन कक्षा की जरूरत है।