गिग इकोनॉमी की बढ़ती लोकप्रियता, जानिए यहां कैसे तलाशे नौकरियां
युवाओं से लेकर प्रोफेशनल्स के बीच आजकल गिग इकोनॉमी की लोकप्रियता तेजी से बढ़ रही है।
नई दिल्ली, अजय शर्मा। युवाओं से लेकर प्रोफेशनल्स के बीच आजकल गिग इकोनॉमी की लोकप्रियता तेजी से बढ़ रही है। वर्क-लाइफ संतुलन और अच्छी कमाई करने के साथ-साथ यह कल्चर लोगों को सूक्ष्म उद्यमी बनने का मौका भी उपलब्ध करा रहा है। आप भी कैसे इस दिशा में कदम बढ़ा सकते हैं, बता रहे हैं फ्यूचर ऑफ वर्क एक्सपर्ट एवं गेट मी एक्सपट्र्स के फाउंडर अजय शर्मा...
क्या आप 40 वर्ष की आयु के पार पहुंच कर खुद को करियर के बीच में फंसा हुआ महसूस करते हैं? वर्तमान नौकरी में न तो आपको वेतन में पर्याप्त वृद्धि और न ही पदोन्नति मिल पा रही है। ऑफिस जाने का सारा उत्साह खत्म हो चुका है। आप खुद को मध्य करियर संकट में फंसा हुआ पाते हैं, नई नौकरी में जाना भी आपको मुश्किल लगता है, क्योंकि आप नई नौकरी की नई चुनौतियों का सामना करने का साहस नहीं जुटा पा रहे हैं। नौकरीपेशा में करीब 95 प्रतिशत लोगों को उम्र बढ़ने के साथ आजकल इन्हीं सब समस्याओं से दो-चार होना पड़ रहा है। सिर्फ 5 प्रतिशत लोग ही इस समस्या से बाहर निकलने का साहस जुटा पाते हैं। लेकिन अब आपको परेशान होने की जरूरत नहीं है। गिग इकोनॉमी आपके लिए एक आशाजनक समाधान हो सकता है।
क्या है गिग इकोनॉमी?
गिग का अर्थ है प्रत्येक असाइनमेंट के लिए पहले से निर्धारित भुगतान राशि। इस गिग इकोनॉमी में आप प्रति असाइनमेंट के आधार पर कमाई करते हैं। आप यहां अपनी सहूलियत के अनुसार काम कर सकते हैं। गिग इकोनॉमी एक कर्मचारी को वे सभी सुविधाएं देती है, जो वह चाहता हैं,जैसे कि लचीलापन, पसंदीदा काम, वर्क-लाइफ संतुलन और अच्छी कमाई। इस प्रकार गिग इकोनॉमी प्रोफेशनल तनावपूर्ण नौकरी का एक पर्याय बनकर उभर रहा है। दरअसल, अमेरिका, जर्मनी, यूरोप में गिग अर्थव्यवस्था बहुत तेजी से बढ़ रही है। एक अनुमान के मुताबिक, भारत में भी लगभग एक तिहाई श्रमिक स्वतंत्र उद्यमी बनने की दिशा में स्थानांतरित हो रहे हैं। गिग इकोनॉमी प्रोफेशन भारत और दुनिया भर में मुख्यधारा के पेशे, करियर या व्यापार के रूप में लोकप्रियता प्राप्त कर रहा है। इसके तहत दुनिया भर में बड़ी संख्या में लोग सोलो-प्रेन्योर या सूक्ष्म उद्यमी बन रहे हैं।
आज देश में भी बड़ी तादाद में फ्लेक्सीऑर्ग तथा गेट मी एक्सपट्र्स जैसे प्लेटफॉर्म से न सिर्फ युवा बल्कि प्रोफेशनल लोग भी तेजी से जुड़ रहे हैं। उभरता फील्ड: टेक्नोलॉजी के विकास के साथ लोगों को गिग अर्थव्यवस्था में अनेक तरह के रोजगार विकल्प मिल रहे हैं। यह लोगों को उनकी कार्यकुशलता के अनुसार कार्य के अनेक विकल्प देता है। उदाहरण के लिए फ्लेक्सिओरग डॉट कॉम, फ्रीलासंर डॉट कॉम जैसे पोर्टल लोगों को उनकी कार्यक्षमता के अनुसार कंपनियों के साथ कनेक्ट कर उनके कौशल से संबंधित सेवाओं वाले काम का अवसर प्रदान करते हैं। कम शिक्षित कार्यबल के लिए ग्रैब, उबर, ओला जैसी कंपनियां बड़ी संख्या में लोगों को मौका दे
रही हैं। डिलिवरू, स्विगी, फूडपांडा में डिलीवरी बॉय जैसे कार्य के मौके सामने आ रहे हैं। इसी तरह, अमेजन, फ्लिपकार्ट, शॉपक्लू, ईबे और अलीबाबा जैसी ईकॉमर्स वेबसाइट्स किसी को भी व्यापारी बनने में सक्षम बनाती हैं।
क्या कहते हैं आंकड़े
अनुमान के मुताबिक, गिग अर्थव्यवस्था प्रतिवर्ष 25-30 फीसद की दर से बढ़ रही है। एचआर प्रोफेशनल भी अपनी मैनपावर प्लानिंग अब आने वाले दिनों में इसी आधार पर तैयार करने पर जोर दे रहे है, जिसमें न केवल जूनियर स्तर पर नौकरियों के लिए गिग प्रोफेशनल शामिल होंगे, बल्कि मध्य-स्तर पर
असाइनमेंट के लिए भी गिग प्रोफेशनल को ही हायर किया जाएगा। अनुमान है कि 2025 तक गिग इकोनॉमी में 75 प्रतिशत तक इजाफा हो जाएगा। इस क्षेत्र में बढ़ती जॉब संभावनाओं को देखते हुए सरकार भी सभी क्षेत्रों में नियत अवधि के रोजगार पर श्रमिकों को भर्ती करने की सुविधा बढ़ा रही है। जाहिर है, आने वाले समय में गिग इकोनॉमी प्रोफेशनल के लिए अधिक से अधिक पूर्णकालिक अवसर बढ़ेंगे और संगठनों के पास उनके लिए 30-40 प्रतिशत नौकरियां होंगी।
डिमांडिंग गिग जॉब्स
एक अध्ययन के अनुसार, इस समय सबसे अधिक भुगतान करने वाले गिग जॉब्स में ब्लॉकचेन, सिचर्स, एथिकल हैकिंग, एडब्ल्यूएस, डाटा एनालिटिक्स तथा रोबोटिक्स आदि शामिल हैं, जहां प्रति घंटे की दर से 80-120 डॉलर तक मिलते हैं। हालांकि भारत में लेखन, अनुवाद, रचनात्मक कार्य, भर्ती, बिक्री, डिजिटल डिस्ट्रिब्यूशन, ब्रांडिंग, वास्तुकला, बीआइएम, लेखा, डाटा एनालिसिस, कंसल्टिंग सर्विसेज के विकल्प अधिक प्रचलित हैं। सबसे अच्छी बात है कि गिग प्रोफेशन में आप एक साथ कई संगठनों के साथ काम कर सकते हैं।