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कौन हैं निहार ठाकरे, रिश्ता उद्धव के साथ और नाता शिंदे गुट से, शिवसेना की 'सुप्रीम' सुनवाई पर कही ये बात

Who is Nihar thakrey निहार शिवसेना संस्थापक बालासाहब ठाकरे के पौत्र एवं पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के भतीजे हैं। मंगलवार को महाराष्ट्र के सत्ता संघर्ष को लेकर चल रही सुनवार्ई के दौरान निहार मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे गुट की ओर से खड़े नजर आए।

By JagranEdited By: Vijay KumarPublished: Tue, 27 Sep 2022 08:14 PM (IST)Updated: Tue, 27 Sep 2022 08:14 PM (IST)
कौन हैं निहार ठाकरे, रिश्ता उद्धव के साथ और नाता शिंदे गुट से, शिवसेना की 'सुप्रीम' सुनवाई पर कही ये बात
कौन हैं निहार, जो बाला साहब के पौत्र, रिश्ता उद्धव के साथ और नाता शिंदे गुट से

राज्य ब्यूरो, मुंबई। महाराष्ट्र में शिवसेना में बगावत के सुर थमे नहीं हैं। ताजा नाम जुड़ा है निहार ठाकरे का। निहार शिवसेना संस्थापक बालासाहब ठाकरे के पौत्र एवं पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के भतीजे हैं। मंगलवार को महाराष्ट्र के सत्ता संघर्ष को लेकर चल रही सुनवार्ई के दौरान निहार मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे गुट की ओर से खड़े नजर आए। सुनवाई के बाद उन्होंने मीडिया से बात करते हुए यह भरोसा भी जताया कि चुनाव आयोग में पेश तथ्यों के आधार पर शिवसेना का चुनाव चिह्न धनुष-बाण शिंदे गुट को ही प्राप्त होगा।

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स्वर्गीय बिंदुमाधव ठाकरे के बेटे हैं निहार

निहार ठाकरे उद्धव ठाकरे के सबसे बड़े भाई स्वर्गीय बिंदुमाधव ठाकरे के बेटे हैं। वह पिछले माह ही शिंदे गुट में शामिल हुए थे। पेशे से वकील निहार ठाकरे तभी से मुख्यमंत्री शिंदे को कानूनी सलाह देते आ रहे हैं। आज वह सर्वोच्च न्यायालय में महाराष्ट्र के सत्ता संघर्ष को लेकर चल रही महत्त्वपूर्ण सुनवाई के दौरान भी शिंदे गुट के वकीलों की टीम में दिखाई दिए। सुनवाई के बाद मीडिया से बात करते हुए उन्होंने दोहराया कि चूंकि मुख्यमंत्री शिंदे बालासाहब ठाकरे के विचारों को आगे ले जाने का काम कर रहे हैं, इसलिए मैं उनके साथ हूं।

चुनाव चिह्न की लड़ाई जरूर जीतेंगे

मंगलवार को सर्वोच्च न्यायालय ने शिवसेना के चुनाव चिह्न मामले में चुनाव आयोग को अपनी कार्यवाही जारी रखने के निर्देश दिए हैं। इस पर बोलते हुए निहार ठाकरे ने कहा कि सर्वोच्च न्यायालय ने दोनों पक्षों द्वारा प्रस्तुत दस्तावेजों के निरीक्षण के बाद यह निर्णय दिया है कि चुनाव आयोग के सामने जो सुनवाई चल रही है, उसे रोकने की जरूरत नहीं है। चुनाव आयोग उचित निर्णय करेगा। निहार ने भरोसा जताया कि चुनाव आयोग के सामने हम चुनाव चिह्न की लड़ाई जरूर जीतेंगे। चाहे सांसदों की बात हो, या विधायकों की, या फिर पार्टी के कार्यकारिणी सदस्यों की, सभी जगह बहुमत शिंदे के साथ है।

चुनाव चिह्न पर शिंदे गुट का ही दावा मजबूत

निहार ने 1972 के सादिक अली निर्णय का हवाला देते हुए कहा कि जिस गुट के पास बहुमत होता है, उसे ही चुनाव चिह्न दिया जाता है। इसलिए चुनाव चिह्न पर शिंदे गुट का ही दावा मजबूत है। हमें उम्मीद है कि इन सभी बातों का ध्यान रखते हुए चुनाव आयोग जल्द से जल्द कोई निर्णय करेगा। एक सवाल का जवाब देते हुए निहार ने कहा कि चूंकि मुख्यमंत्री शिंदे बालासाहब ठाकरे के विचारों को आगे ले जाने का काम कर रहे हैं, इसलिए उनकी गुट ही असली शिवसेना है।

न्यायदेवता पर हमें पूरा भरोसा : आदित्य ठाकरे

मुंबई। चुनाव चिह्न मामले पर सर्वोच्च न्यायालय द्वारा चुनाव आयोग की कार्यवाही न रोके जाने के निर्णय के बाद पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के पुत्र आदित्य ठाकरे ने कहा है कि हमें न्यायदेवता पर पूरा भरोसा है।

आदित्य ने पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि आज का निर्णय न तो धक्का लगनेवाला है, न दिलासा देनेवाला है। यह प्रकरण सर्वोच्चन्यायालय से चुनाव आयोग के पास गया है। जहां भी सुनवाई होगी, वहां हम लड़ने को तैयार हैं। हमें न्याय प्रक्रिया पर पूरा भरोसा है। हमारी लड़ाई लोकतंत्र के लिए है, संविधान के लिए है। हमें संविधान पर, लोकतंत्र पर और न्यायदेवता पर पूरा भरोसा है। जो कुछ भी यहां चल रहा है, उसे पूरा देश देख रहा है।


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