Maharashtra Rain Updates: महाराष्ट्र में आफत की बारिश से 129 की गई जान, कई घर तबाह; उद्धव ठाकरे ने किया दौरा
Maharashtra Rain Updates महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने रायगढ़ के बाढ़ प्रभावित क्षेत्र तलिए गांव का दौरा किया। तलिये गांव में भूस्खलन होने से भारी नुकसान हुआ है। एक व्यक्ति ने बताया कि हमारे गांव में 40 घर हैं और इस वक्त 100 लोग रह रहे हैं।
मुंबई, एएनआइ। महाराष्ट्र में मानसूनी बारिश का कहर के चलते दो दिनों में 129 लोग अपनी जान गंवा चुके हैं। भूस्खलन और बाढ़ के कारण रायगढ़, रत्नागिरी व सतारा में हुई इन घटनाओं में कई लोग अब भी मलबे में दबे हुए हैं, कई मकान तबाह हो चुके हैं। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने रायगढ़ के बाढ़ प्रभावित क्षेत्र तलिए गांव का दौरा किया। तलिये गांव में भूस्खलन होने से भारी नुकसान हुआ है। एक व्यक्ति ने बताया कि हमारे गांव में 40 घर हैं और इस वक्त 100 लोग रह रहे हैं। गांव में कुछ भी नहीं बचा है। भूस्खलन के बाद इलाका पूरा मैदान में बदल गया है। उद्धव ठाकरे ने कहा कि बाढ़ से जिन लोगों को नुकसान हुआ है उन्हें मुआवजा दिया जाएगा। हम कोशिश करेंगे कि भविष्य में ऐसी घटनाओं में किसी की जान न जाए।
एनडीआरएफ (राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल) की टीम रत्नागिरी जिले के बाढ़ प्रभावित निचले चिपलूण इलाके में बचाव और राहत अभियान चला रही है। भारी बारिश के बाद महाराष्ट्र के कई हिस्सों में सड़कें जलमग्न हो चुकी हैं एनडीआरएफ लोगों के बीच भोजन वितरित कर रही है। भारी बारिश के कारण सांगली जिले के तंदुलवाड़ी गांव में बाढ़ आ गई है। बचाव और राहत कार्य जारी है राज्य में बाढ़ से 76 लोगों की मौत हो चुकी है।
#WATCH Tandulwadi village in Sangali district flooded due to heavy rainfall in the region; rescue and relief operations underway
76 people have lost their lives due to floods in the state#MaharashtraFloods pic.twitter.com/GsI0HV0N25— ANI (@ANI) July 24, 2021
राहत एवं पुनर्वास विभाग के मुताबिक बाढ़ से 76 लोगों और 75 जानवरों की मौत हो चुकी है। कुल 38 लोग घायल हुए और 30 लोग लापता हैं। बाढ़ प्रभावित इलाकों से 90,000 लोगों को निकाला गया है।
राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द ने महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी को फोन किया और राज्य में बारिश और बाढ़ के कारण जान-माल के नुकसान पर चिंता व्यक्त की। राज्यपाल ने उन्हें स्थिति की जानकारी देते हुए किए जा रहे बचाव और राहत कार्यों से अवगत कराया।
महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले के तलाई गांव में कल लगातार बारिश के कारण भूस्खलन होने से कई मकान तबाह हो गए। एक निवासी, अंकिता ने बताया , "मेरा घर बह गया है। ऐसा पहले कभी नहीं हुआ था। लोगों ने नए घर बनाए थे और उनके लिए कर्ज लिया था। सब कुछ तबाह हो गया।
जिला कलेक्टर निधि चौधरी के अनुसार महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले में भूस्खलन के कारण दो अलग-अलग घटनाओं में कुल 44 लोगों की मौत हो गई है जबकि 25 से ज्यादा लोग अब भी मलबे में दबे हुए हैं। 35 लोगों का इलाज चल रहा है । बता दें कि रायगढ़ में छह स्थानों पर भूस्खलन हुआ है।
जलस्तर कम होने पर दिखी नुकसान की भयावहता
पिछले तीन दिनों से महाराष्ट्र के समुद्रतटीय कोंकण, रायगढ़ एवं पश्चिम महाराष्ट्र में भारी बारिश हो रही है जिससे हुए हादसों में अब तक 129 लोग अपनी जान गंवा चुके हैं। रत्नागिरी जिले के चिपलूण शहर बड़ा हिस्सा गुरुवार को पूरी तरह जलमग्न हो गया था, जलस्तर कम होने पर वहां हुए नुकसान का भयावहता नजर आने लगी है। इन इलाकों में भूस्खलन से अब तक 100 से अधिक लोग अपनी जान गंवा चुके हैं। इस क्षेत्र में स्थित पर्यटन स्थल महाबलेश्वर में बीते तीन दिनों में रिकार्ड 1500 मिमी. बारिश दर्ज की गई है।
#WATCH Tandulwadi village in Sangali district flooded due to heavy rainfall in the region; rescue and relief operations underway
76 people have lost their lives due to floods in the state#MaharashtraFloods pic.twitter.com/GsI0HV0N25— ANI (@ANI) July 24, 2021
महाराष्ट्र में खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं नदियां
पश्चिम महाराष्ट्र के कोल्हापुर, सांगली एवं सातारा की नदियों का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर पहुंच चुका है जबकि कोंकण के रत्नागिरी एवं रायगढ़ जिलों में बरसात का पानी शुक्रवार को उतरता दिखाई दिया। कोल्हापुर की पंचगंगा एक दिन पहले से ही रौद्र रूप दिखा रही है। सांगली की कृष्णा नदी भी खतरे के निशान से ऊपर बह रही है। नदियों का जलस्तर बढ़ने से आस पास के इलाके पूरी तरह जलमग्न हो चुके हैं।
पानी में डूबा पुणे-बेंगलुरु हाइवे
कोंकण एवं पश्चिम महाराष्ट्र में बचाव अभियान जारी है लेकिन तेज हवा और भारी बरसात के कारण बचाव दल का पहुंचना मुश्किल हो रहा है। एनडीआरएफ की टीमें बचाव कार्यों में लगी हुई हैं। अब तक यहां के बाढ़ग्रस्त इलाकों में एनडीआरएफ की 18 टीमें पहुंच चुकी हैं। पुणे-बेंगलुरु हाइवे पानी से डूबा नजर आ रहा है। बाढ़ग्रस्त इलाकों में लोगों को घरों की छतों पर जाने के लिए कहा जा रहा है तो कुछ लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा रहा है।