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Ram Nath Kovind In Bhopal: राष्ट्रपति रामनाथ कोविन्द ने भोपाल से दिया एक देश-एक स्वास्थ्य तंत्र का मंत्र

Madhya Pradesh राष्ट्रपति रामनाथ कोविन्द ने आमजन से दैनिक दायित्वों के साथ प्रकृति के अनुरूप सरल जीवन शैली अपनाने की अपील की। उन्होंने कहा कि इससे हमारा स्वास्थ्य बेहतर रहेगा। उन्होंने कहा कि योग को किसी धर्म से नहीं जोड़ना चाहिए।

By Sachin Kumar MishraEdited By: Published: Sat, 28 May 2022 06:02 PM (IST)Updated: Sat, 28 May 2022 06:40 PM (IST)
Ram Nath Kovind In Bhopal: राष्ट्रपति रामनाथ कोविन्द ने भोपाल से दिया एक देश-एक स्वास्थ्य तंत्र का मंत्र
भोपाल में राष्ट्रपति ने 'एक देश-एक स्वास्थ्य सेवा' पर आरोग्य मंथन का किया शुभारंभ। फोटो इंटरनेट मीडिया

भोपाल, जेएनएन। राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द ने शनिवार को मध्य प्रदेश के भोपाल से एक देश-एक स्वास्थ्य तंत्र का मंत्र दिया। आरोग्य मंथन का शुभारंभ करते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि आयुर्वेद, होम्योपैथी, यूनानी, एलोपैथी के विशेषज्ञ चारों पद्घति को समानान्तर उपयोग में लाने की रणनीति को अंतिम रूप दे रहे हैं, जो आरोग्य भारती की देखरेख में किया जा रहा है। कुशाभाऊ ठाकरे सभागार में आरोग्य भारती द्वारा आयोजित मंथन का विषय एक 'देश-एक स्वास्थ्य तंत्र-वर्तमान समय की आवश्यकता' रहा। राष्ट्रपति ने आमजन से दैनिक दायित्वों के साथ प्रकृति के अनुरूप सरल जीवन शैली अपनाने की अपील की। उन्होंने कहा कि इससे हमारा स्वास्थ्य बेहतर रहेगा। उन्होंने कहा कि योग को किसी धर्म से नहीं जोड़ना चाहिए। भारत की प्राचीन चिकित्सा पद्धति ने विश्व का मार्गदर्शन किया है। योग, प्राणायाम, व्यायाम और आध्यात्मिक शक्ति का बोध कराया है।

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आरोग्य मंथन का शुभारंभ किया, कहा- योग को किसी धर्म से जोड़ा जाना ठीक नहीं
इस मौके पर राष्ट्रपति ने कहा कि योग से बचने के लिए बहाने ठीक नहीं हैं। योग को लेकर कुछ लोग भ्रांति फैलाते हैं, जबकि निरोग रहने के लिए कोई भेदभाव या भ्रांति आड़े नहीं आनी चाहिए। राष्ट्रपति ने कहा कि देश की एक स्वास्थ्य सेवा के लिए वर्तमान सेवाओं को समझना होगा। दुनियाभर में महंगे इलाज के बीच भारत में सस्ते इलाज की व्यवस्था है। इसीलिए दिल्ली के अस्पतालों में देश के विभिन्न हिस्सों के साथ विदेश के भी मरीज इलाज के लिए आते हैं। उन्होंने कहा कि देश में चिकित्सा पर्यटन बढ़ रहा है, पर यह भी सच है कि जरूरत के अनुसार उपचार व्यवस्था को मजबूत करना है। उन्होंने दो देशों की यात्रा का जिक्र करते हुए कहा कि वहां दो कार्यक्रमों में गए थे। वहां के प्रधानमंत्री एवं गवर्नर ने कहा कि भारत ने वैक्सीन नहीं दी होती, तो हमारी आधी आबादी नहीं बचती। इस मौके पर राज्यपाल मंगुभाई पटेल, मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भी आरोग्य भारती के प्रयासों की सराहना की। आरोग्य भारती के राष्ट्रीय संगठन सचिव अशोक कुमार वाष्र्णेय ने कहा कि कोरोना की वजह से लोगों में स्वास्थ्य के प्रति जागरकता बढ़ गई है। देश में डाक्टर और जनसंख्या का अनुपात बहुत कम है। प्रयोग जैसे-जैसे होंगे चिकित्सा की लागत भी कम होगी। राष्ट्रपति ने भोपाल के मोतीलाल नेहरू स्टेडिटम में 399.72 करोड़ की लागत से बनने वाले नवीन स्वास्थ्य संस्थाओं का भूमि पूजन व लोकार्पण किया।

आयुर्वेद महासम्मेलन का उद्घाटन करेंगे राष्ट्रपति

राष्ट्रपति रविवार को उज्जैन में अखिल भारतीय आयुर्वेद महासम्मेलन के 59वें महाधिवेशन का उद्घाटन करेंगे। इस मौके पर 19.37 करोड़ की लागत से बने शासकीय आयुर्वेद महाविद्यालय उज्जैन का लोकार्पण भी करेंगे।


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