पाकिस्तान ने अनुच्छेद- 370 को समाप्त करने के विरोध में बंद हुई डाक सेवा को किया बहाल

अनुच्छेद- 370 को समाप्त करने और इसे दो केंद्र शासित क्षेत्रों में विभाजित करने के फैसले पर विरोध जताते हुए पाकिस्तान ने 27 अगस्त से इस सेवा पर रोक लगा दी थी।

By Bhupendra SinghEdited By: Publish:Tue, 19 Nov 2019 08:10 PM (IST) Updated:Tue, 19 Nov 2019 08:10 PM (IST)
पाकिस्तान ने अनुच्छेद- 370 को समाप्त करने के विरोध में बंद हुई डाक सेवा को किया बहाल
पाकिस्तान ने अनुच्छेद- 370 को समाप्त करने के विरोध में बंद हुई डाक सेवा को किया बहाल

इस्लामाबाद, प्रेट्र। पाकिस्तान ने भारत के साथ डाक सेवा फिर से बहाल कर दी है। हालांकि, पार्सल सेवा को फिलहाल निलंबित ही रखा गया है। यह जानकारी मंगलवार को पाकिस्तानी मीडिया ने दी। इस संबंध में पाक सरकार की तरफ से कोई आधिकारिक घोषणा नहीं की गई है।

अनुच्छेद- 370 समाप्त के बाद पाक ने डाक सेवा रोक दी थी

दरअसल, जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद- 370 को समाप्त करने और इसे दो केंद्र शासित क्षेत्रों में विभाजित करने के फैसले पर विरोध जताते हुए पाकिस्तान ने 27 अगस्त से इस सेवा पर रोक लगा दी थी।

पाक के फैसले पर भारत ने आश्चर्य जताया

पाकिस्तान के इस फैसले पर सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रविशंकर प्रसाद ने आश्चर्य जताया था। उन्होंने कहा था कि इस्लामबाद द्वारा लिए गए इस एकतरफा फैसले के बारे में भारत को कोई पूर्व सूचना नहीं दी गई। उन्होंने इसे विश्व डाक संघ के मानदंडों का उल्लंघन भी बताया था।

पाकिस्तान द्वारा डाक सेवा रोकने का कदम आश्चर्यचकित करने वाला था, क्योंकि इससे पहले विभाजन, युद्ध और सीमा पार तनाव के दौरान भी पड़ोसी देश ने इस सेवा पर कभी रोक नहीं लगाई थी।

विशेष अदालत का फैसला सुरक्षित

पाकिस्तान की एक विशेष अदालत ने पूर्व सैन्य शासक परवेज मुशर्रफ के खिलाफ देशद्रोह मामले में मंगलवार को अपना फैसला सुरक्षित रख लिया। इस मामले में अदालत 28 नवंबर को अपना फैसला सुनाएगी। दोषी पाए जाने पर मुशर्रफ को मृत्युदंड की सजा सुनाई जा सकती है। मुशर्रफ देशद्रोह मामले में आरोपित होने वाले पाकिस्तान के पहले पूर्व सेना प्रमुख हैं।

देशद्रोह मामले की गत 24 अक्टूबर से रोजाना सुनवाई हो रही थी। इस अदालत में यह मामला दिसंबर, 2013 से लंबित थी। नवंबर, 2007 में पाकिस्तान पर आपातकाल थोपने के आरोप में 2013 में तत्कालीन नवाज शरीफ सरकार ने मुशर्रफ के खिलाफ देशद्रोह का मुकदमा दर्ज कराया था। मामले में घिरते देख इलाज के बहाने मुशर्रफ 18 मार्च, 2016 को दुबई चले गए थे। तब से वह अपने मुल्क नहीं लौटे।

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